पूर्व सेना प्रमुख जनरल वेद प्रकाश मलिक
कानाकोना (गोवा):
एक रैंक एक पेंशन (ओआरओपी) पर चल रही बहस के बीच पूर्व सेना प्रमुख जनरल वेद प्रकाश मलिक ने कहा कि अब सेना ‘‘कोई सही विकल्प’’ नहीं रह गई है.
शुक्रवार से शुरू हुए ‘‘इंडिया आइडियाज कॉन्क्लेव’’ में पूर्ण सत्र के दौरान मलिक ने कहा कि अपनी पूरी सेवा के दौरान हमेशा से मेरा यही मानना था कि एक सैनिक बहुत अहम होता है. हमें सैनिकों का ध्यान रखना चाहिए.’’ करगिल युद्ध के दौरान सेना प्रमुख रहे मलिक ने कहा कि यह सेना के पद और फाइल में इसके गुणात्मक तथा मात्रात्मक रूप से कमजोर पड़ने में झलकता है.
उन्होंने कहा कि सेना के गौरव, दर्जे को दूर रखने तथा करियर को अनाकषर्क बनाने से आज यह कोई सही विकल्प नहीं रह गई है. मेरा मानना है कि यह ना तो सेना और ना ही देश के लिए अच्छा है.
शुक्रवार से शुरू हुए ‘‘इंडिया आइडियाज कॉन्क्लेव’’ में पूर्ण सत्र के दौरान मलिक ने कहा कि अपनी पूरी सेवा के दौरान हमेशा से मेरा यही मानना था कि एक सैनिक बहुत अहम होता है. हमें सैनिकों का ध्यान रखना चाहिए.’’ करगिल युद्ध के दौरान सेना प्रमुख रहे मलिक ने कहा कि यह सेना के पद और फाइल में इसके गुणात्मक तथा मात्रात्मक रूप से कमजोर पड़ने में झलकता है.
उन्होंने कहा कि सेना के गौरव, दर्जे को दूर रखने तथा करियर को अनाकषर्क बनाने से आज यह कोई सही विकल्प नहीं रह गई है. मेरा मानना है कि यह ना तो सेना और ना ही देश के लिए अच्छा है.
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