यह ख़बर 19 दिसंबर, 2012 को प्रकाशित हुई थी

दिल्ली गैंगरेप का गुनाहगार बोला, मैंने बुरा काम किया, फांसी दे दो

खास बातें

  • दिल्ली गैंगरेप के तीन आरोपियों पवन, विनय और मुकेश को कोर्ट में पेश किया गया। इनमें से पवन और विनय ने अपना जुर्म कबूल किया। आरोपी विनय ने कहा कि उसने बुरा काम किया है, उसे फांसी दे दी जाए।
नई दिल्ली:

दिल्ली गैंगरेप के तीन आरोपियों पवन, विनय और मुकेश को आज साकेत कोर्ट में पेश किया गया। इनमें से पवन और विनय ने कोर्ट में अपना जुर्म कबूल किया। आरोपी विनय ने कहा कि उसने बुरा काम किया है, उसे फांसी दे दी जाए। कोर्ट ने दोनों को (पवन, विनय) चार दिन के पुलिस रिमांड में भेज दिया।

मुकेश ने अपना जुर्म कबूल नहीं किया है इसलिए उसे 14 दिन की न्यायिक हिरासत में तिहाड़ जेल भेज दिया है। गुरुवार को तिहाड़ जेल में उसकी शिनाख्त परेड होगी। अन्य दो आरोपियों ने इनकार किया है।

दरअसल, आरोपी पवन ने शिनाख्त परेड में यह कहते हुए जाने से इनकार किया कि उसने ‘जघन्य कृत्य’ किया है। विनय ने कहा कि मैंने लड़की को नहीं मारा, लड़के को मारा है।

मामले के दो आरोपियों ने भले ही कोर्ट में गलती मान ली हो, लेकिन वारदात के बाद दोनों ने बचने की पूरी कोशिश की थी। घटना को अंजाम देने के बाद जब वे घर लौटे, तो उन्होंने कुछ कपड़े जलाए, बस की सफाई की, लेकिन उन्होंने जूते और फोन को नष्ट नहीं किया। पुलिस ने आरोपियों के जूते और फोन को बरामद कर लिया है। पुलिस बस के मालिक के खिलाफ भी कार्रवाई करने वाली है।

स्थानीय अदालत ने सहायक जिम इंस्ट्रक्टर विनय शर्मा और फल विक्रेता पवन गुप्ता को पुलिस हिरासत में भेजा है, ताकि पुलिस उनसे पूछताछ कर सके। घटना के समय कथित तौर पर बस चला रहे मुकेश को न्यायिक हिरासत में तिहाड़ भेजा गया है। मुकेश ने शिनाख्त परेड (टेस्ट आइडेंटीफिकेशन परेड) के लिए सहमति जताई है।

मुकेश इस मामले के एक अन्य आरोपी राम सिंह का भाई है। मंगलवार को राम सिंह ने शिनाख्त परेड से इनकार किया था, जिसके बाद उसे पांच दिनों की न्यायिक हिरासत में भेज दिया गया था। विनय और पवन ने भी पहचान परेड से इनकार किया। पहचान परेड का मतलब आरोपी को प्रत्यक्षदर्शियों और पीड़ितों के सामने लाया जाता है, ताकि ताकि वे उसे पहचान सकें।

इन तीन आरोपियों को मेट्रोपोलिटन मजिस्ट्रेट नम्रता अग्रवाल के समक्ष पेश किया गया, जिसके बाद उन्हें मेट्रोपोलिटन मजिस्ट्रेट संदीप गर्ग की अदालत में भेजा गया, ताकि पहचान परेड की प्रक्रिया को अपनाया जाए। जज ने जब तीनों आरोपियों से पूछा कि वे शिनाख्त परीक्षण के लिए तैयार हैं और नहीं तो क्यों? इस पर विनय ने कहा कि उसने लड़के (पीड़ित के दोस्त) की पिटाई की है, लेकिन लड़की के साथ कुछ नहीं किया है। इसके आगे उसने कहा, मुझे फांसी दे दो।

पवन ने अदालत से कहा, मैं शिनाख्त परेड के लिए नहीं जाना चाहता, क्योंकि मैंने इस जघन्य अपराध को अंजाम दिया है। शिनाख्त परेड से जुड़ी प्रक्रिया पूरी होने के बाद मजिस्ट्रेट ने कहा, आरोपी मुकेश ने शिनाख्त परेड के लिए जाने की बात की है। पुलिस को आदेश दिया जाता है कि 20 दिसंबर को दिन में तीन बजे तिहाड़ जेल में आरोपी की शिनाख्त परेड की जाए।

पीड़ित छात्रा और उसके साथी रविवार रात करीब दक्षिणी दिल्ली के मुनिरका से पालम के लिए चार्टर्ड बस पर सवार हुए थे। इसके भीतर लड़की के साथ सामूहिक बलात्कार किया गया और फिर दोनों की पिटाई भी की गई। आरोपियों ने इन्हें महिपालपुर के निकट बस से फेंक दिया। मेट्रोपोलिटन मजिस्ट्रेट गर्ग ने पुलिस से यह भी कहा कि वह आरोपियों का इकबालिया बयान लेने के लिए नया आवेदन दे।

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(इनपुट भाषा से भी)