गाजा सिटी:
मिस्र के युद्धविराम प्रयासों को और वक्त देने के लिए इस्राइल ने अस्थायी रूप से गाजा पर संभावित जमीनी आक्रमण के निर्णय को टाल दिया है, लेकिन सात दिन से लगातार चल रहे हवाई हमले में मरने वालों की संख्या 111 हो गई है। दूसरी तरफ हमास ने चेतावनी दी है कि वह इस्राइल की शर्तों के सामने नहीं झुकेगा।
हमास के साथ युद्धविराम पर चर्चा के लिए कल रात इस्राइल के कैबिनेट की बैठक हुई। इस्राइल के कई हमलों में 30 से ज्यादा फिलस्तीनी मारे गए।
युद्धविराम के लिए मिस्र के प्रयासों में संयुक्त राष्ट्र प्रमुख बान की मून भी शामिल हो गए हैं। रूस ने इस मुद्दे पर चुप्पी के लिए क्षोभ जाहिर किया है और किसी भी कार्रवाई से रोकने के लिए अमेरिका को जिम्मेदार ठहराया है।
अल-जजीरा ने खबर दी है कि गाजा सिटी के इस्लामिक नेशनल बैंक पर सुबह एफ-16 लड़ाकू विमानों के हमले में कम से चार लोग जख्मी हो गए। यह बैंक आवासीय इलाके में स्थित है।
यरूसलम पोस्ट के मुताबिक, कैबिनेट की देर रात हुई बैठक में इस्राइल की सरकार ने गाजा में सैनिकों को भेजने के प्रस्ताव को थोड़े समय के लिए टाल दिया और वह गौर कर रही हैं कि काहिरा में युद्धविराम का प्रस्ताव क्या रूप लेता है।
इससे काहिरा में आज होने वाली वार्ता काफी महत्वपूर्ण होगी और अगर आज किसी ठोस नतीजे पर नहीं पहुंचा गया तो इस्राइल जमीनी हमले का निर्णय कर सकता है।
कई पश्चिमी देशों ने इस्राइल के सैन्य आक्रमण और ‘‘आत्मरक्षा के उसके अधिकार’’ का समर्थन किया है। साथ ही उन्होंने गाजा क्षेत्र पर जमीनी हमले के खिलाफ चेतावनी दी है। गाजा पर नियंत्रण करने वाले हमास के नेता खालिद मेशाल ने कहा कि हमास इस बात से अवगत है कि इस्राइल आक्रमण में ‘सक्षम’ है, लेकिन प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू को चेतावनी दी कि इस तरह की पहल ‘पिकनिक नहीं बल्कि राजनीतिक आपदा’ साबित होगी ।
काहिरा में एक संवाददाता सम्मेलन में मेशाल ने कहा कि हमास युद्धविराम चाहता है, लेकिन इस्राइल का आक्रमण और गाजा की लगातार जारी आर्थिक नाकेबंदी खत्म होनी चाहिए।
उन्होंने कहा, जिसने भी युद्ध शुरू किया है उसे इसे खत्म करना चाहिए। उन्होंने कहा कि युद्धविराम की इस्राइली शर्त पर हमास नहीं झुकेगा।
संयुक्त राष्ट्र महासचिव वार्ता के लिए सोमवार को काहिरा पहुंचे थे। वह आज यरूशलम जाएंगे जहां तनाव को ‘खत्म’ करने की संभावनाएं तलाशेंगे।
एशिया की कूटनीतिक यात्रा पर गए अमेरिकी राष्ट्रपति बराक ओबामा ने नेतन्याहू और मिस्र के राष्ट्रपति मोहम्मद मुरसी से बात की ताकि हिंसा रोकने के तरीकों पर विचार-विमर्श किया जा सके। वहीं विदेश मंत्री हिलेरी क्लिंटन ने फ्रांस, कतर और तुर्की के विदेश मंत्रियों से बात की।
अल-जजीरा के मुताबिक, गाजा में इस्राइल के हवाई हमले आज सातवें दिन भी जारी रहे और चिकित्साकर्मियों का कहना है कि मरने वालों की संख्या 111 पहुंच गई है।
इस्राइल के राष्ट्रपति शिमोन पेरेज ने ईरान पर आरोप लगाया कि वह युद्धविराम के बजाए इस्राइल पर रॉकेट दागने के लिए फिलस्तीनियों को उकसा रहा है। वहीं संकट में भूमिका निभाने के लिए उन्होंने मिस्र के राष्ट्रपति मोहम्मद मुरसी की प्रशंसा की।
इस्राइल के सोमवार के हमले में पुलिस मुख्यालय ध्वस्त हो गया था और दूसरी बार मीडिया कार्यालयों वाले भवन को निशाना बनाया गया। भवन में फिलस्तीनी और अंतरराष्ट्रीय मीडिया संगठनों के कार्यालय थे, जिसमें ब्रिटेन का स्काई न्यूज, सउदी अरब का अल- अरबिया और हमास का अल अक्सा टीवी शामिल है।
इस्लामिक जिहाद समूह ने कहा कि हमले में इसका एक कमांडर मारा गया था। रविवार को हुए इसी तरह के हमले में आठ पत्रकार घायल हो गए थे, जिसमें एक पत्रकार का पैर कट गया।
बहरहाल, इस्राइली सरकार के प्रवक्ता मार्क रेगेव ने कहा कि इस्राइल पत्रकारों को निशाना नहीं बना रहा है बल्कि ‘हमास के संचार उपकरणों’ को निशाना बना रहा है।
बहरहाल अमेरिका ने इलाके की और तीन युद्धपोतों को रवाना किया जो जरूरत पड़ने पर इलाके से अमेरिकी नागरिकों को निकालेगा।
हमास के साथ युद्धविराम पर चर्चा के लिए कल रात इस्राइल के कैबिनेट की बैठक हुई। इस्राइल के कई हमलों में 30 से ज्यादा फिलस्तीनी मारे गए।
युद्धविराम के लिए मिस्र के प्रयासों में संयुक्त राष्ट्र प्रमुख बान की मून भी शामिल हो गए हैं। रूस ने इस मुद्दे पर चुप्पी के लिए क्षोभ जाहिर किया है और किसी भी कार्रवाई से रोकने के लिए अमेरिका को जिम्मेदार ठहराया है।
अल-जजीरा ने खबर दी है कि गाजा सिटी के इस्लामिक नेशनल बैंक पर सुबह एफ-16 लड़ाकू विमानों के हमले में कम से चार लोग जख्मी हो गए। यह बैंक आवासीय इलाके में स्थित है।
यरूसलम पोस्ट के मुताबिक, कैबिनेट की देर रात हुई बैठक में इस्राइल की सरकार ने गाजा में सैनिकों को भेजने के प्रस्ताव को थोड़े समय के लिए टाल दिया और वह गौर कर रही हैं कि काहिरा में युद्धविराम का प्रस्ताव क्या रूप लेता है।
इससे काहिरा में आज होने वाली वार्ता काफी महत्वपूर्ण होगी और अगर आज किसी ठोस नतीजे पर नहीं पहुंचा गया तो इस्राइल जमीनी हमले का निर्णय कर सकता है।
कई पश्चिमी देशों ने इस्राइल के सैन्य आक्रमण और ‘‘आत्मरक्षा के उसके अधिकार’’ का समर्थन किया है। साथ ही उन्होंने गाजा क्षेत्र पर जमीनी हमले के खिलाफ चेतावनी दी है। गाजा पर नियंत्रण करने वाले हमास के नेता खालिद मेशाल ने कहा कि हमास इस बात से अवगत है कि इस्राइल आक्रमण में ‘सक्षम’ है, लेकिन प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू को चेतावनी दी कि इस तरह की पहल ‘पिकनिक नहीं बल्कि राजनीतिक आपदा’ साबित होगी ।
काहिरा में एक संवाददाता सम्मेलन में मेशाल ने कहा कि हमास युद्धविराम चाहता है, लेकिन इस्राइल का आक्रमण और गाजा की लगातार जारी आर्थिक नाकेबंदी खत्म होनी चाहिए।
उन्होंने कहा, जिसने भी युद्ध शुरू किया है उसे इसे खत्म करना चाहिए। उन्होंने कहा कि युद्धविराम की इस्राइली शर्त पर हमास नहीं झुकेगा।
संयुक्त राष्ट्र महासचिव वार्ता के लिए सोमवार को काहिरा पहुंचे थे। वह आज यरूशलम जाएंगे जहां तनाव को ‘खत्म’ करने की संभावनाएं तलाशेंगे।
एशिया की कूटनीतिक यात्रा पर गए अमेरिकी राष्ट्रपति बराक ओबामा ने नेतन्याहू और मिस्र के राष्ट्रपति मोहम्मद मुरसी से बात की ताकि हिंसा रोकने के तरीकों पर विचार-विमर्श किया जा सके। वहीं विदेश मंत्री हिलेरी क्लिंटन ने फ्रांस, कतर और तुर्की के विदेश मंत्रियों से बात की।
अल-जजीरा के मुताबिक, गाजा में इस्राइल के हवाई हमले आज सातवें दिन भी जारी रहे और चिकित्साकर्मियों का कहना है कि मरने वालों की संख्या 111 पहुंच गई है।
इस्राइल के राष्ट्रपति शिमोन पेरेज ने ईरान पर आरोप लगाया कि वह युद्धविराम के बजाए इस्राइल पर रॉकेट दागने के लिए फिलस्तीनियों को उकसा रहा है। वहीं संकट में भूमिका निभाने के लिए उन्होंने मिस्र के राष्ट्रपति मोहम्मद मुरसी की प्रशंसा की।
इस्राइल के सोमवार के हमले में पुलिस मुख्यालय ध्वस्त हो गया था और दूसरी बार मीडिया कार्यालयों वाले भवन को निशाना बनाया गया। भवन में फिलस्तीनी और अंतरराष्ट्रीय मीडिया संगठनों के कार्यालय थे, जिसमें ब्रिटेन का स्काई न्यूज, सउदी अरब का अल- अरबिया और हमास का अल अक्सा टीवी शामिल है।
इस्लामिक जिहाद समूह ने कहा कि हमले में इसका एक कमांडर मारा गया था। रविवार को हुए इसी तरह के हमले में आठ पत्रकार घायल हो गए थे, जिसमें एक पत्रकार का पैर कट गया।
बहरहाल, इस्राइली सरकार के प्रवक्ता मार्क रेगेव ने कहा कि इस्राइल पत्रकारों को निशाना नहीं बना रहा है बल्कि ‘हमास के संचार उपकरणों’ को निशाना बना रहा है।
बहरहाल अमेरिका ने इलाके की और तीन युद्धपोतों को रवाना किया जो जरूरत पड़ने पर इलाके से अमेरिकी नागरिकों को निकालेगा।
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