नई दिल्ली:
कोल-गेट पर सीबीआई की स्टेटस रिपोर्ट बदलने के मामले में सरकार और कानून मंत्री अश्विनी कुमार की मुश्किल बढ़ सकती है।
सूत्रों के हवाले से ख़बर आ रही है कि सुप्रीम कोर्ट में दिए जाने वाले एफिडेविट में सीबीआई यह बात मान सकती है कि स्टेटस रिपोर्ट को कानून मंत्री ने पहले देखा था।
सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार कानूनमंत्री अश्विनी कुमार ने कोयला घोटाले पर सीबीआई की स्टेटस रिपोर्ट में कई बदलाव किए जाने के लिए सुझाव दिए थे। वहीं, सीबीआई कोर्ट में यह कह सकती है कि कुमार के तमाम सुझाव में से कुछ को ही शामिल किया गया था।
सूत्र बता रहे हैं कि सीबीआई कोर्ट में यह भी कहने वाली है कि इन सबके बावजूद उसकी रिपोर्ट निष्पक्ष है और सरकारी दबाव के बिना तैयार की गई है।
इससे पहले खबर थी कि अश्विनी कुमार ने रिपोर्ट की भाषा में बदलाव भी किए गए थे। लेकिन सीबीआई साथ ही यह भी कहने वाली है कि भाषा में बदलाव से रिपोर्ट के सार में ज्यादा बदलाव नहीं हुआ है।
सीबीआई निदेशक फिलहाल विदेश गए हैं और उनके लौटने के बाद इसी हफ्ते सुप्रीम कोर्ट में एफिडेविट फाइल किया जा सकता है।
सूत्रों के हवाले से ख़बर आ रही है कि सुप्रीम कोर्ट में दिए जाने वाले एफिडेविट में सीबीआई यह बात मान सकती है कि स्टेटस रिपोर्ट को कानून मंत्री ने पहले देखा था।
सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार कानूनमंत्री अश्विनी कुमार ने कोयला घोटाले पर सीबीआई की स्टेटस रिपोर्ट में कई बदलाव किए जाने के लिए सुझाव दिए थे। वहीं, सीबीआई कोर्ट में यह कह सकती है कि कुमार के तमाम सुझाव में से कुछ को ही शामिल किया गया था।
सूत्र बता रहे हैं कि सीबीआई कोर्ट में यह भी कहने वाली है कि इन सबके बावजूद उसकी रिपोर्ट निष्पक्ष है और सरकारी दबाव के बिना तैयार की गई है।
इससे पहले खबर थी कि अश्विनी कुमार ने रिपोर्ट की भाषा में बदलाव भी किए गए थे। लेकिन सीबीआई साथ ही यह भी कहने वाली है कि भाषा में बदलाव से रिपोर्ट के सार में ज्यादा बदलाव नहीं हुआ है।
सीबीआई निदेशक फिलहाल विदेश गए हैं और उनके लौटने के बाद इसी हफ्ते सुप्रीम कोर्ट में एफिडेविट फाइल किया जा सकता है।
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