डोकलाम विवाद को लेकर चीन ने फैक्टशीट जारी की है.
नई दिल्ली:
डोकलाम विवाद पर अब चीन ने एक फैक्टशीट जारी की है. इसमें उसने कहा है कि इस मामले में उसने बहुत संयम दिखाया है लेकिन चीन की संप्रभुता की रक्षा के लिए हम हर जरूरी कदम उठाएंगे और इसे कम नहीं आंकना चाहिए. उसने कहा कि जुलाई के अंत तक वहां भारत के चालीस सैनिक और एक बुलडोजर मौजूद हैं. भारत फौरन पीछे हटे तभी मामला सुलझेगा.
चीन ने कहा है कि सन 1890 के चीन-ब्रिटेन के बीच हुए समझौते के मुताबिक डोकलाम चीन का इलाका है. वहां उसकी सेना गश्त लगाती रही है, चरवाहे मवेशी चराते रहे हैं. जब चीन वहां रोड बना रहा था तब 18 जून को 270 सशस्त्र भारतीय सैनिक दो बुलडोजर लेकर चीनी सीमा के 100 मीटर अंदर तक घुस गए. वहां तीन टेंट गाड़ लिए. अब भी 40 सैनिक और एक बुलडोज़र वहां मौजूद हैं.
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चीन का कहना है कि ये गंभीर मामला है और पहले से अलग है. भारत के पास ऐसा करने के लिए कोई तथ्यात्मक और कानूनी आधार नहीं है. उसने जमीन पर यथास्थिति बदलने की कोशिश की है.
यह भी पढ़ें - चीन के राष्ट्रपति शी चिनफिंग का सभी को संदेश - हम हर प्रकार के हमले को नाकाम कर देंगे
उसने कहा है कि पिछले कुछ वर्षों में भारत लगातार सीमा पर रोड और मिलिट्री स्ट्रक्चर बना रहा है. हमारे गश्ती दलों को रोकता रहा है. हमने ऐसा कुछ नहीं बनाया है. डोकलाम मामले में ट्राई जंक्शन की कोई बात नहीं है. चीन-भूटान सीमा मामले में भारत कैसे दखल दे सकता है.
VIDEO : दुनिया भारत के पक्ष में
चीन ने कहा है कि हमने इस विवाद में शुरू से संयम दिखाया है. कूटनीतिक तरीकों से बात करने की कोशिश की है. पर हम हर प्रकार से अपनी संप्रभुता की रक्षा करेंगे.
चीन ने कहा है कि सन 1890 के चीन-ब्रिटेन के बीच हुए समझौते के मुताबिक डोकलाम चीन का इलाका है. वहां उसकी सेना गश्त लगाती रही है, चरवाहे मवेशी चराते रहे हैं. जब चीन वहां रोड बना रहा था तब 18 जून को 270 सशस्त्र भारतीय सैनिक दो बुलडोजर लेकर चीनी सीमा के 100 मीटर अंदर तक घुस गए. वहां तीन टेंट गाड़ लिए. अब भी 40 सैनिक और एक बुलडोज़र वहां मौजूद हैं.
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चीन का कहना है कि ये गंभीर मामला है और पहले से अलग है. भारत के पास ऐसा करने के लिए कोई तथ्यात्मक और कानूनी आधार नहीं है. उसने जमीन पर यथास्थिति बदलने की कोशिश की है.
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उसने कहा है कि पिछले कुछ वर्षों में भारत लगातार सीमा पर रोड और मिलिट्री स्ट्रक्चर बना रहा है. हमारे गश्ती दलों को रोकता रहा है. हमने ऐसा कुछ नहीं बनाया है. डोकलाम मामले में ट्राई जंक्शन की कोई बात नहीं है. चीन-भूटान सीमा मामले में भारत कैसे दखल दे सकता है.
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चीन ने कहा है कि हमने इस विवाद में शुरू से संयम दिखाया है. कूटनीतिक तरीकों से बात करने की कोशिश की है. पर हम हर प्रकार से अपनी संप्रभुता की रक्षा करेंगे.
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