विज्ञापन
This Article is From Apr 11, 2018

मध्‍य प्रदेश में वोटिंग लिस्‍ट से हटेंगे 11 लाख मतदाताओं के नाम

भारत के मुख्य निर्वाचन आयुक्त ओ़ पी़ रावत ने कहा कि मध्य प्रदेश के आगामी विधानसभा चुनाव में नई ईवीएम मशीनों का इस्तेमाल किया जा सकता है.

मध्‍य प्रदेश में वोटिंग लिस्‍ट से हटेंगे 11 लाख मतदाताओं के नाम
भारत के मुख्य निर्वाचन आयुक्त ओ पी रावत की फाइल फोटो
  • मप्र विधानसभा चुनाव में नई ईवीएम मशीनों का इस्तेमाल किया जा सकती है
  • सॉफ्टवेयर ईआरओ नेट के जरिए वोटर लिस्ट को सुधारने का कार्य किया जा रहा है
  • प्रदेश की वोटर लिस्ट में फर्जी या बोगस मतदाताओं के नाम से किया इनकार
क्या हमारी AI समरी आपके लिए उपयोगी रही?
हमें बताएं।
भोपाल: भारत के मुख्य निर्वाचन आयुक्त ओ पी रावत ने कहा कि मध्य प्रदेश के आगामी विधानसभा चुनाव में नई ईवीएम मशीनों का इस्तेमाल किया जा सकता है. साथ ही मतदाता सूची में सुधार का भरोसा दिलाते हुए कहा कि लगभग 11 लाख मतदाताओं के नाम हटाए जाएंगे. रावत ने भोपाल में मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी कार्यालय में मंगलवार को मतदाता सूची की शुद्धता के संबंध में निर्वाचक पंजीकरण अधिकारियों की बैठक को संबोधित करते हुए कहा कि राज्य में आयोग द्वारा तैयार सॉफ्टवेयर ईआरओ नेट के जरिए वोटर लिस्ट को सुधारने का कार्य किया जा रहा है. उन्होंने इस बात से इनकार किया कि प्रदेश की वोटर लिस्ट में फर्जी या बोगस मतदाताओं के नाम हैं. 

...तो हमें एक साथ चुनाव कराने में कोई दिक्कत नहीं : मुख्य निर्वाचन आयुक्त

उन्होंने स्पष्ट किया कि ये उन मतदाताओं के नाम हैं, जो पिछले दिनों चले समरी रिवीजन और विशेष अभियान में अनुपस्थित, स्थानांतरित, मृत और दोहरी प्रविष्टि के रूप सामने आए हैं. रावत ने बताया कि प्रदेश में विगत 15 जनवरी तक चले स्पेशल समरी रिवीजन के दौरान 3 लाख 83 हजार 203 नामों को अनुपस्थित, स्थानांतरित, मृत और दोहरी प्रविष्टि के कारण अपात्र बताया गया है. चूंकि वोटर लिस्ट को अपडेट करने की प्रक्रिया सतत चलती है, इसलिए 15 मार्च से 7 अप्रैल तक चले विशेष अभियान के बाद 6 लाख 73 हजार 884 ऐसे मतदाताओं के नाम सामने आए जो अनुपस्थित, स्थानांतरित, मृत या दोहरी प्रविष्टि वाले हैं. इन नामों को भी नियमानुसार हटाया जाएगा.

आधिकारिक विज्ञप्ति के मुताबिक, रावत ने कहा कि ईआरओ नेट के संचालन को लेकर जो तकनीकी कमियां सामने आ रही हैं, उन्हें जल्द ही दूर किया जाएगा. इस संबंध में कठिनाई उत्पन्न होने पर मार्गदर्शन के लिए जिला कलेक्टर सीधे आयोग से भी संपर्क कर सकते हैं. आगामी विधानसभा चुनाव के काफी पहले वोटर लिस्ट को पूरी तरह शुद्ध, निष्पक्ष और पारदर्शी बना लिया जाएगा.

चुनावी कार्यक्रम के लीक होने की जांच एक या दो दिन में पूरी करेगी समिति : सीईसी

रावत ने कहा कि लिंगानुपात (जेंडर रेश्यो) का अंतर और कम होना चाहिए. वोटर लिस्ट में अधिक महिलाओं के नाम जोड़े जाएं. मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी सलीना सिंह के सुझाव पर उन्होंने आगामी चुनाव के पहले अगस्त-सितंबर में मतदाता सूची के विशेष संक्षिप्त पुनरीक्षण कार्यक्रम (समरी रिवीजन) के लिए सहमति दी.

उप निर्वाचन आयुक्त संदीप सक्सेना ने बताया कि आयोग ईआरओ नेट का नया वर्जन 19 अप्रैल को लांच करेगा. इससे ईआरओ नेट की कई कमियां दूर हो सकेंगी. 
 

NDTV.in पर ताज़ातरीन ख़बरों को ट्रैक करें, व देश के कोने-कोने से और दुनियाभर से न्यूज़ अपडेट पाएं

फॉलो करे:
Listen to the latest songs, only on JioSaavn.com