सड़क हादसे की बाद की तस्वीर
रोपड़:
पंजाब के रोपड़ के चंडीगढ़-मनाली राष्ट्रीय राजमार्ग पर गुरुवार को एक तेज़ रफ़्तार लक्ज़री बस पर कथित तौर पर एक स्कूटर सवार को कुचलने का आरोप है। ऐसा कहा जा रहा है कि ये बस बादल परिवार की बस कंपनी की है। गौरतलब है कि इससे पहले भी इसी कंपनी के बस में एक मां-बेटी के साथ हुए दुर्व्यवहार के बाद मामला सुर्खियों में आया था।
वहीं, गुरुवार को इस घटना के बाद स्थानीय लोगों ने मृत व्यक्ति के शव के साथ घटनास्थल पर विरोध प्रदर्शन किया। चश्मदीदों के अनुसार, ‘जिस वक्त़ ये हादसा हुआ उस समय ये बस काफ़ी तेज़ रफ़्तार में थी और उसने एक कार को गलत साइड से ओवरटेक किया था, जिससे दूसरी तरफ़ से आ रहा स्कूटर बस की चपेट में आ गया और स्कूटर सवार की मौके पर ही मौत हो गई।
इस दौरान खुद को टक्कर से बचाने की क्रम में कार डिवाईडर से टकराते हुए नाले में जा गिरी।’ चश्मदीद जगतार सिंह के अनुसार, ‘हादसे के बाद रुकने के बजाय बस का ड्राईवर घटनास्थल से फरार हो गया।’
विपक्ष का आरोप
विपक्षी दल कांग्रेस का आरोप कि ये बस बादल परिवार की एक ट्रांसपोर्ट कंपनी की है और पुलिस आरोपी ड्राईवर को बचा रही है। ये बस कथित तौर पर डाबवाली ट्रांसपोर्ट कंपनी की है जिसके साझा मालिकों में से एक बादल परिवार है।
पुलिस के अनुसार इस एक्सीडेंट में बस का कोई रोल नहीं है और ये एक्सीडेंट कार और स्कूटर के बीच भिड़ंत के कारण हुआ है। पुलिस ने इस मामले में कार के ड्राईवर ब्रह्मप्रकाश शर्मा के ख़िलाफ़ लापरवाही का केस भी दर्ज कर लिया है।
पुलिस पर राजनैतिक दबाव
कार ड्राईवर के भाई पवन शर्मा के अनुसार, ‘पुलिस मेरे भाई पर उस अपराध को स्वीकार करने का दबाव डाल रही है जो उसने किया ही नहीं। ऐसा लगता है कि उनपर राजनैतिक दबाव है।’ कांग्रेस नेता कुलजीत सिंह नागरा ने एनडीटीवी को बताया, ‘स्थानीय प्रशासन और पुलिस को इस हादसे की ख़बर 10 मिनट के भीतर दे दी गई थी, लेकिन ये बस अमृतसर पहुंचने के बाद ही रुकी।
ये साफ़तौर पर हत्या है और प्रशासन की जांच संदिग्ध है।’ इसी साल मई महीने में भी बादल परिवार की दूसरी बस कंपनी ‘ऑरबिट एविएशन’ की बस में एक नाबालिग लड़की के साथ छेड़छाड़ करने के बाद उसे बस से उठा कर बाहर फेंक दिया गया जिसमें उसकी मौत हो गई थी।
वहीं, गुरुवार को इस घटना के बाद स्थानीय लोगों ने मृत व्यक्ति के शव के साथ घटनास्थल पर विरोध प्रदर्शन किया। चश्मदीदों के अनुसार, ‘जिस वक्त़ ये हादसा हुआ उस समय ये बस काफ़ी तेज़ रफ़्तार में थी और उसने एक कार को गलत साइड से ओवरटेक किया था, जिससे दूसरी तरफ़ से आ रहा स्कूटर बस की चपेट में आ गया और स्कूटर सवार की मौके पर ही मौत हो गई।
इस दौरान खुद को टक्कर से बचाने की क्रम में कार डिवाईडर से टकराते हुए नाले में जा गिरी।’ चश्मदीद जगतार सिंह के अनुसार, ‘हादसे के बाद रुकने के बजाय बस का ड्राईवर घटनास्थल से फरार हो गया।’
विपक्ष का आरोप
विपक्षी दल कांग्रेस का आरोप कि ये बस बादल परिवार की एक ट्रांसपोर्ट कंपनी की है और पुलिस आरोपी ड्राईवर को बचा रही है। ये बस कथित तौर पर डाबवाली ट्रांसपोर्ट कंपनी की है जिसके साझा मालिकों में से एक बादल परिवार है।
पुलिस के अनुसार इस एक्सीडेंट में बस का कोई रोल नहीं है और ये एक्सीडेंट कार और स्कूटर के बीच भिड़ंत के कारण हुआ है। पुलिस ने इस मामले में कार के ड्राईवर ब्रह्मप्रकाश शर्मा के ख़िलाफ़ लापरवाही का केस भी दर्ज कर लिया है।
पुलिस पर राजनैतिक दबाव
कार ड्राईवर के भाई पवन शर्मा के अनुसार, ‘पुलिस मेरे भाई पर उस अपराध को स्वीकार करने का दबाव डाल रही है जो उसने किया ही नहीं। ऐसा लगता है कि उनपर राजनैतिक दबाव है।’ कांग्रेस नेता कुलजीत सिंह नागरा ने एनडीटीवी को बताया, ‘स्थानीय प्रशासन और पुलिस को इस हादसे की ख़बर 10 मिनट के भीतर दे दी गई थी, लेकिन ये बस अमृतसर पहुंचने के बाद ही रुकी।
ये साफ़तौर पर हत्या है और प्रशासन की जांच संदिग्ध है।’ इसी साल मई महीने में भी बादल परिवार की दूसरी बस कंपनी ‘ऑरबिट एविएशन’ की बस में एक नाबालिग लड़की के साथ छेड़छाड़ करने के बाद उसे बस से उठा कर बाहर फेंक दिया गया जिसमें उसकी मौत हो गई थी।
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