अंकित श्वेताभ: हिंदू ज्योतिष शास्त्र में भगवान सूर्य के एक राशि से निकलकर दूसरी राशि में गोचर करने की प्रक्रिया को संक्रांति तिथि (Sankranti Tithi) के रूप में माना जाता है. सूर्य किसी एक राशि में केवल 30 दिनों के लिए ही गोचर करते हैं. इसलिए मेदिनी ज्योतिष में संक्रांति तिथि को बड़े राजनीतिक, सामाजिक, आर्थिक और न्यायिक घटनाओं के लिए जरूरी माना गया है. 16 दिसंबर 2023 को ऐसा ही कुंडली नक्षत्र बन रहा है जहां सूर्य धनु राशि (Dhanu Rashi) में गोचर करना शुरू करेंगे. इससे मौसम के साथ-साथ देश विदेश में भी कई बड़ी घटनाओं के होने के ज्योतिष संकेत है. आइए आपको बताते हैं की ज्योतिष इस तिथि को लेकर क्या सोचते हैं.
मौसम ले सकता है करवट | Dhanu Sankranti Weather Change
ज्योतिषों की माने तो 16 दिसंबर को धनु संक्रांति (Dhanu Sankranti) के बाद मौसम और तापमान बड़ी करवट ले सकती हैं. वर्तमान में तापमान भले ही कम है लेकिन कोहरा कम है. ऐसा इसलिए क्योंकि जल ग्रह गुरु, मेष राशि (Mesh Rashi) में गोचर कर रहे हैं. इस गोचर के प्रभाव से ही ऐसा हो रहा है. साथ ही ठंड के मौसम में वर्षा भी इसी की वजह से हो रही है. कुछ ही दिनों बाद, 27 दिसंबर को मंगल ग्रह के धनु राशि में प्रवेश करने के बाद देश के कई राज्यों में वर्षा होगी. साथ ही हिमालय के कुछ इलाकों में बर्फबारी (Snowfall) भी हो सकती है.
वहीं दूसरी तरफ शनि ग्रह के कुंभ राशि (Kumbh Rashi) में होने के कारण पश्चिमी और पूर्वोत्तर इलाकों में सर्दी का प्रभाव थोड़ा कम रहेगा. 16 दिसंबर को सूर्य के धनु राशि में आने का प्रभाव शेयर बाजार और सोने-चांदी के दामों पर भी देखने को मिल सकता है.
16 दिसंबर 2023 को दोपहर 3 बजकर 59 मिनट के बाद सूर्य धनु राशि में प्रवेश करेंगे. इस गोचर का प्रभाव भारत के राजनीतिक और विदेश संबंधों पर भी देखने को मिल सकता है. इस गोचर के कारण वृषभ लग्न उदय हो रहा है. यही लग्न देश की आजादी के समय भी लगा था.
(Disclaimer: यहां दी गई जानकारी सामान्य मान्यताओं और जानकारियों पर आधारित है. एनडीटीवी इसकी पुष्टि नहीं करता है.)
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