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This Article is From Nov 08, 2021

Chhath Puja 2021: छठ पूजा में इन नियमों का पालन करना है जरूरी, वरना भंग हो जाएगा सच्ची श्रद्धा से रखा व्रत

Chhath Puja Rules: छठ का पर्व आस्था का पर्व है, जिसमें सूर्य देवता और छठी मैया की उपासना की जाती है. छठ में सबसे पहले नहाय-खाय फिर खरना और इसके बाद तीसरे दिन ढलते सूरज को अर्घ्य दिया जाता है.

Chhath Puja 2021: छठ पूजा में इन नियमों का पालन करना है जरूरी, वरना भंग हो जाएगा सच्ची श्रद्धा से रखा व्रत
Chhath Puja 2021: छठ पूजा के दौरान इन नियमों का करें पालन, होगी हर मनोकामना पूरी
नई दिल्ली:

Chhath Puja Date 2021 : छठ पूजा (Chhath Puja) सूर्य देव की आराधना व संतान के सुखी जीवन की कामना के लिए मनाई जाती है. इस त्योहार को हर साल का​र्तिक मास के शुक्ल पक्ष की षष्ठी तिथि को मनाया जाता है. छठ मैया और सूर्य भगवान का यह मुख्य त्योहार करीब चार दिन चलता है. पूजा से पहले घर की अच्छी तरह साफ-सफाई की जाती है. पूजा की शुरुआत से पहले घर में जहां छठ पूजा होनी है, वहां खास तैयारी करनी होती है. इस कमरें में हर किसी को प्रवेश नहीं मिलता है. इस बार छठ पूजा 10 नवंबर, 2021 को है. बता दें कि ये सबसे कठिन व्रतों में से एक माना जाता है. खासकर, बिहार में यह महापर्व बहुत धूमधाम से मनाया जाता है.

छठ व्रत का महत्व (Importance Of Chhath Vrat)

इस दिन छठी मइया (Chhathi Maiya) की पूरे विधि-विधान से पूजा जाता है. छठ पर्व (Chhath Parv) के पहले दिन नहाय-खाए (Nahay Khay), दूसरे दिन खरना (Kharna) मनाया जाता है. वहीं, षष्ठी की शाम ढलते सूर्य को अर्घ्य दिया जाता है और फिर अगली सुबह उगते सूरज को अर्घ्य देने के साथ छठ पर्व का समापन किया जाता है. मान्यता है कि छठ का व्रत (Chhath Vrat) रखने से संतान की प्राप्ति होती है और बच्चों से जुड़े कष्टों का निवारण होता है. माना जाता है कि छठी मइया का व्रत (Chhathi Maiya Vrat) रखने से सूर्य भगवान (Surya Bhagwan) की कृपा बरसती है.

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Chhath Puja 2021: छठ पूजा में याद रखें ये नियम 

छठ पूजा के नियम (Rules Of Chhath Puja)

  • व्रती छठ पर्व के चारों दिन नए कपड़े पहनें. महिलाएं साड़ी और पुरुष धोती पहनें.
  • छठी मैया का प्रसाद शुद्धता से बनाना चाहिए. इसे हमेशा ऐसे चूल्हे पर बनाएं, जिसे ताजा लीपा गया हो. अगर गैस पर बना रहे तो स्टोव अच्छी तरह से धो लें. पहले से बने चूल्हे पर कभी प्रसाद न बनाएं.
  • चार दिनों की छठ पूजा का व्रत रखने वाले व्यक्ति को पलंग या तखत पर सोने की मनाही होती है. वह जमीन पर चटाई बिछाकर सो सकता है और कंबल आदि का प्रयोग कर सकता है.
  • पूजा के लिए बांस से बने सूप और टोकरी का इस्तेमाल करें.
  • छठ पूजा के दौरान कभी स्टील या शीशे के बर्तन प्रयोग नहीं करना चाहिए. इस दौरान घर में सात्विक खाना ही बनना चाहिए. प्रसाद बनाते हुए हाथ से कभी नमक भी नहीं छूना चाहिए.
  • व्रती और घर के सदस्य भी छठ पूजा के दौरान प्याज, लहसुन और मांस-मछली ना खाएं.
  • जो महिलाएं छठ के दौरान व्रत रख रही हैं, आप उनकी सेवा करें. दरअसल, छठ पूजा का व्रत रखने वाली महिला को बहुत पवित्र माना जाता है, इसलिए छठ व्रत करने वाली महिला की सेवा करना फलदायी माना जाता है.

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Chhath Puja 2021: छठ पूजा के दौरान इन नियमों का करें पालन 

  • सूर्य को अर्घ्य से पहले कभी भी भोजन ग्रहण न करें. व्रती लोगों पहले और दूसरे दिन सूर्य को जल देने के बाद ही भोजन करना चाहिए.
  • छठ पूजा में जब सुबह और शाम का अर्घ्य दिया जाता है उस दौरान आपको तांबे के लोटे का प्रयोग करना चाहिए. सूर्य भगवान को जिस बर्तन से अर्घ्य देते हैं, उसका विशेष ध्यान रखें. व्रती महिलाओं को ये अर्घ्य तांबे के लोटे में ही देना चाहिए.
  • व्रत रखने वाले शख्स को मांस, मदिरा, झूठी बातें, काम, क्रोध, लोभ, धूम्रपान आदि का प्रयोग नहीं करना चाहिए.
  • छठ पर्व के तीन दिनों तक पूर्ण ब्रह्मचर्य का पालन करें.
  • जिस जगह प्रसाद बन रहा, वहां साधारण भोजन भी नहीं बनाना चाहिए. साथ ही उस स्थान पर खाना भी वर्जित है.
  • पूजा के दौरान वाणी संयमित रखें. घर में झूठे बर्तन, गंदे कपड़ों का ढेर नहीं लगनें दें.

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