दिल्ली संवाद और विकास आयोग (DDCD) के उपाध्यक्ष जैस्मीन शाह (Jasmine Shah) ने उनके ऑफिस को सील करने के उप राज्यपाल विनय कुमार सक्सेना (Vinai Kumar Saxena) के आदेश पर सवाल उठाया गया. जैस्मीन ने शुक्रवार को कहा, "एलजी साहब ने मेरे दफ्तर को इसलिए सील किया है, क्योंकि मैं आम आदमी पार्टी (AAP)का प्रवक्ता हूं. लेकिन मेरा सवाल है कि संबित पात्रा भाजपा के राष्ट्रीय प्रवक्ता हैं और वे ITDC के चेयरमैन भी हैं. उनका दफ्तर सील क्यों नहीं किया जा रहा है? देश में एक न्याय व्यवस्था है, तो फिर कानून दो लागू क्यों होंगे, एक आम आदमी पार्टी के लिए और एक भाजपा के लिए."
शाह ने आगे कहा, "दूसरी बात यह कि पिछले महीने ही दिल्ली हाईकोर्ट में एक PIL फाइल हुआ था, जिसमें कहा गया था पॉलिटिकल प्रवक्ता जो सरकार में किसी पोस्ट में हैं, उन्हें हटाया जाए. इसमें मेरा और संबित पात्रा का भी नाम था. हाईकोर्ट ने इसमें कोई डिसिज़न नहीं लिया, लेकिन सवाल पूछा कि ये बताइए कि यह किस क़ानून की किस धारा का उल्लंघन है. इस पर केंद्र और भाजपा की तरफ़ से कोई जवाब नहीं दिया गया. उन्होंने कहा, "तीसरी बात यह है कि मेरा पद दिल्ली में मंत्री के समान है, दिल्ली सरकार में जो भी मंत्री हैं, वे अपनी पार्टी की भी बात करते हैं और सरकार में काम भी करते हैं. तो अब एलजी क्या संदेश देना चाहते हैं. क्या वे अब CM को भी कहेंगे कि वे अपने पद से हट जाएं. हमें कुछ घंटे पहले ही ऑर्डर मिला है, हम उसकी स्टडी कर रहे हैं, हम सभी ऑप्शन को एक्सप्लोर कर रहे हैं."
गौरतलब है कि दिल्ली के उपराज्यपाल विनय कुमार सक्सेना के आदेश पर दिल्ली संवाद एवं विकास आयोग के उपाध्यक्ष जैस्मीन शाह के कार्यालय को सील कर दिया गया है और उन्हें दी गई सुविधाओं को वापस ले लिया गया है. यह शिकायत की गई थी कि डीडीसीडी के उपाध्यक्ष होने के बावजूद जैस्मीन शाह, आम आदमी पार्टी के प्रवक्ता के रूप में काम कर रहे हैं. शिकायत मिलने के बाद यह कार्रवाई की गई.
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