
Yuzvendra Chahal-Dhanashree Verma divorce: युजवेंद्र चहल को अपनी अलग हो चुकी पत्नी धनश्री वर्मा को गुजारा भत्ता के तौर पर 4.75 करोड़ रुपये देने का आदेश दिया गया है. बार एंड बेंच की खबर के मुताबिक, बॉम्बे हाई कोर्ट ने फैमिली कोर्ट को दोनों पक्षों के बीच कूलिंग पीरियड को माफ करने और उनके तलाक को मंजूर कर दिया है. न्यायालय ने क्रिकेटर युजवेंद्र चहल और उनकी अलग रह रही पत्नी धनश्री वर्मा की तलाक याचिका पर 20 मार्च तक फ़ैसला करने के लिए फ़ैमिली कोर्ट को निर्देश दिया है. बार एंड बेंच ने X (पूर्व में ट्विटर) पर पोस्ट किया, "बॉम्बे हाई कोर्ट ने फ़ैमिली कोर्ट के उस फ़ैसले को पलट दिया है जिसमें हिंदू विवाह अधिनियम के तहत क्रिकेटर युजवेंद्र चहल और धनश्री वर्मा के तलाक के लिए वैधानिक कूलिंग-ऑफ़ अवधि को माफ़ करने के अनुरोध को अस्वीकार कर दिया गया था. न्यायमूर्ति माधव जामदार की पीठ ने फ़ैमिली कोर्ट को आगामी आईपीएल में चहल की भागीदारी को ध्यान में रखते हुए कल तक यानी 20 मार्च तक तलाक याचिका पर फ़ैसला करने का भी निर्देश दिया है."
#Breaking Bombay High Court has overturned a Family Court decision that denied the request to waive the statutory cooling-off period for the divorce of cricketer Yuzvendra Chahal and Dhanashree Verma under the Hindu Marriage Act.#BombayHC #YuzvendraChahal pic.twitter.com/5hdwLFEtIM
— Bar and Bench (@barandbench) March 19, 2025
2 साल से अलग रहे हैं चहल और धनश्री
बार एंड बेंच के अनुसार, दिसंबर 2020 में शादी करने वाला यह जोड़ा जून 2022 से अलग रह रहा था. इसके बाद, 5 फरवरी, 2025 को फैमिली कोर्ट, बांद्रा में तलाक की याचिका दायर की गई. याचिका के साथ कूलिंग पीरियड को माफ करने के लिए भी आवेदन किया गया था. हिंदू विवाह अधिनियम की धारा 13बी के तहत आपसी सहमति से तलाक के लिए याचिका दायर की गई थी. हालांकि, कोर्ट ने 20 फरवरी को चहल और वर्मा के बीच सहमति की अवधि के आंशिक अनुपालन का हवाला देते हुए 6 महीने की वैधानिक कूलिंग पीरियड को माफ करने से इनकार कर दिया. सहमति की अवधि के अनुसार, चहल ने वर्मा को 4 करोड़ 75 लाख रुपये का स्थायी गुजारा भत्ता देने पर सहमति व्यक्त की थी, जिसमें से 2 करोड़ 37 लाख और 55 हजार पहले ही चुकाए जा चुके हैं, शेष राशि का भुगतान न करने को फैमिली कोर्ट ने इसे गैर-अनुपालन माना.
चहल को देने होंगे इतने करोड़
सहमति की शर्तों के अनुसार, चहल वर्मा को अपनी अलग हो चुकी पत्नी को 4 करोड़ 75 लाख रुपये का स्थायी गुजारा भत्ता देने के लिए सहमत हुए थे. हालांकि, क्रिकेटर ने अब तक केवल 2 करोड़ 37 लाख और 55 हजार रुपये का भुगतान किया है. बाकी राशि का भुगतान न करने को अदालत ने गैर-अनुपालन का मामला माना, इसलिए कूलिंग ऑफ याचिका खारिज कर दी गई. इसके बाद फैमिली काउंसलर की रिपोर्ट की जांच करने के बाद फैमिली कोर्ट ने फैसला सुनाया, जिसमें गैर-अनुपालन के मामले को उजागर किया गया था. बुधवार को, बॉम्बे हाई कोर्ट ने पाया कि दंपति पहले ही ढाई साल से अलग रह रहे हैं, फैमिली कोर्ट को गुरुवार यानी 20 मार्च तक तलाक की याचिका पर फैसला करने के लिए कहा गया है, जिसमें चहल की आईपीएल 2025 सीज़न में भागीदारी पर विचार किया गया है.
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