कपिल देव और लक्ष्मण ने कहा, ऑस्ट्रेलिया में जीतने के लिए टीम इंडिया अपनाए यह तरीका

कपिल देव और लक्ष्मण ने कहा, ऑस्ट्रेलिया में जीतने के लिए टीम इंडिया अपनाए यह तरीका

नई दिल्ली:

अगले साल टीम इंडिया के सामने नई चुनौतियां होंगी। सबसे अहम बात यह कि 2016 के पहले 5 महीने में टीम इंडिया सिर्फ सीमित ओवर का क्रिकेट खेलेगी। इसकी शुरुआत जनवरी में ऑस्ट्रेलिया दौरे पर पांच वनडे और तीन टी-20 मैच से होगी। इस बीच टीम इंडिया के दो पूर्व दिग्गजों ने ऑस्ट्रेलियाई धरती पर भारत की सफलता के लिए कुछ खास सलाह दी है।

ऑस्ट्रेलियाई दौरे के बाद फरवरी में टीम इंडिया को भारत में ही श्रीलंका के साथ तीन टी-20 मैचों की सीरीज खेलनी है। फरवरी में ही बांग्लादेश में एशिया कप टी-20 टूर्नामेंट होगा और मार्च में भारत वर्ल्ड टी-20 की मेजबानी करेगा। इस प्रकार 2016 में टीम इंडिया अपना पहला टेस्ट मैच जून में खेलेगी।

धोनी को कप्तान बनाना सही फैसला
इस प्रकार महेंद्र सिंह धोनी के लिए साल 2016 के पहले कुछ महीने बेहद अहम रहेंगे। पिछले शनिवार को ही राष्ट्रीय चयनकर्ताओं ने धोनी को अगले वर्ल्ड टी-20 तक कप्तान घोषित कर दिया है। वर्ल्ड चैंपियन कप्तान कपिल देव और वेरी-वेरी स्पेशल लक्ष्मण ने दिल्ली में एक समारोह में धोनी के कप्तान घोषित किए जाने के चयनकर्ताओं के फैसले को सही बताया है।

रन बचाकर नहीं जीत सकते, 15 ओवर में चाहिए 3 विकेट
2016 में टीम इंडिया के सामने सबसे पहली और बड़ी चुनौती होगी ऑस्ट्रेलिया दौरे की। ऑस्ट्रेलिया में टीम की क्या रणनीति होनी चाहिए इस पर कपिल देव का कहना है कि कप्तान गेंदबाजों को कह दें कि उन्हें पहले 15 ओवर में तीन विकेट चाहिए।

कपिलदेव कहते हैं, "धोनी को शमी, उमेश या ईशांत से यह कहना चाहिए कि पहले 15 ओवर में भले ही 90 रन बन जाएं, लेकिन तीन विकेट जरूर गिरने चाहिए। 15 ओवर में बगैर विकेट गिरे 40 रन से ज्यादा का स्कोर अच्छा होता है। रन रोककर आप ऑस्ट्रेलिया में नहीं जीत सकते।"

तेज गेंदबाजों पर निर्भर करेगी कामयाबी
ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ शानदार रिकॉर्ड रखने वाले बल्लेबाज वीवीएस लक्ष्मण अपने करियर के दौरान चार बार ऑस्ट्रेलिया दौरे पर जा चुके हैं। लक्ष्मण भी मानते हैं कि ऑस्ट्रेलिया में भारत की कामयाबी तेज गेंदबाजों पर निर्भर करेगी।

2015 वर्ल्ड कप में भारतीय टीम लगातार 7 मैच जीतकर सेमीफाइनल तक पहुंची, तो इसमें गेंदबाजों ने महत्वपूर्ण भूमिका निभाई थी। वर्ल्ड कप टीम में उमेश यादव और मोहम्मद शमी थे। इस बार ईशांत शर्मा के भी होने से आक्रमण में पैनापन रहेगा।

लक्ष्मण ने कहा, "वर्ल्ड कप में भारत ने सेमीफाइनल से पहले हर टीम को ऑलआउट किया। टेस्ट और ट्राई सीरीज में हारने के बाद वर्ल्ड कप में ये प्रदर्शन टीम की प्रतिभा को बयां करता है। यह मानसिक बदलाव का परिणाम था। सोच में बदलाव का नतीजा था।"

"अगर आपको ऑस्ट्रेलिया में अच्छा करना है, तो आपको विकेट लेने होंगे। ऑस्ट्रेलिया में भारत की हर शानदार जीत में गेंदबाजों की भूमिका रही है। अगर आप शुरुआत और बीच के ओवर्स में विकेट नहीं लेते तो ऑस्ट्रेलियाई बल्लेबाज आपकी धुनाई कर देंगे।"

लक्ष्मण की मानें तो माइकल क्लार्क, मिचेल जॉनसन और ब्रैड हैडिन के संन्यास लेने और मिचेल स्टार्क के घायल होने से भारत के लिए वर्ल्ड चैंपियन पर फतह पाना आसान हो सकता है।

'सौरव ने की शुरुआत'
कपिल आक्रामक क्रिकेट के हिमायती हैं। हालांकि वे मानते हैं कि उनके जमाने में भारतीय टीम आक्रामक नहीं हुआ करती थी। कपिल ने चुटकी लेते हुए कहा, "ऑस्ट्रेलिया जैसी टीम के सामने आपको आक्रामक होना चाहिए। आंख में आंख डाल कर जवाब देना चाहिए। पहले की टीमों में ये तेवर नहीं था। सौरव गांगुली ने ये सब शुरू किया। बंगाली होने के बावजूद उन्होने आक्रामक क्रिकेट की शुरुआत की।"

ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ तीन टी-20 की सीरीज में उम्रदराज खिलाड़ियों को शामिल किए जाने पर सवाल खड़े किए जा रहे हैं। आशीष नेहरा 36 साल के हो चुके हैं। उन्होंने चार साल से अंतरराष्ट्रीय टी-20 नहीं खेला है, लेकिन टीम में उन्हें चुना गया है।

कपिलदेव और वीवीएस लक्ष्मण इसे सही ठहरा रहे हैं। दिग्गज ऑलराउंडर कपिलदेव ने कहा, "भले ही नेहरा 36 साल के हैं, लेकिन उनका प्रदर्शन 26 साल जैसा है और ये मेरे लिए ज्यादा मायने रखता है।"

दर्शकों के चहेते खिलाड़ी हैं युवराज
34 साल के युवराज सिंह ने विजय हजारे ट्रॉफी में दमदार प्रदर्शन के बाद करीब डेढ़ साल बाद टी-20 टीम में जगह बनाई है। कपिल के अनुसार युवराज सिंह एक खास खिलाड़ी हैं। "वे जॉन मैकेनरों की तरह दर्शकों के चहेते हैं। लोग उनकी बल्लेबाजी, गेंदबाजी और फील्डिंग के कायल हैं। मेरे लिए सबसे अहम बात है क्या वे उन्हें खुद पर भरोसा है। वे किसी भी जगह बल्लेबाजी कर सकते हैं।"

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हालांकि वीवीएस लक्ष्मण मानते हैं कि सुरेश रैना के वनडे टीम से बाहर किए जाने पर उन्हें हैरानी हुई थी। वहीं कपिल कहते हैं, "कभी-कभी खिलाड़ियों को झटके भी ज़रूरी होते हैं, रैना वापसी के लिए ज़ोर लगाएंगे।"