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This Article is From Dec 23, 2016

बर्थडे स्पेशल : सचिन तेंदुलकर को गुगली पर बोल्ड कर इस गेंदबाज ने दिखाई थी चमक, लेकिन जल्द ही राह भटके...

बर्थडे स्पेशल : सचिन तेंदुलकर को गुगली पर बोल्ड कर इस गेंदबाज ने दिखाई थी चमक, लेकिन जल्द ही राह भटके...
पीयूष चावला ने टीम इंडिया के लिए 3 टेस्ट मैच खेले हैं, जिनमें 7 विकेट लिए हैं (फाइल फोटो)
नई दिल्ली: यूपी के दाएं हाथ के लेग स्पिनर पीयूष चावला (Piyush Chawla) ने जूनियर स्तर पर क्रिकेट में चमक दिखाई थी, लेकिन जल्द ही वे अपनी राह से भटक गए. शनिवार, 24 दिसंबर को 28 वर्ष पूरे करने वाले पीयूष ने अब तक तीन टेस्ट, 25 वनडे और सात टी20 मैच खेले हैं. टेस्ट में सात, वनडे में 32 और टी20 मैचों में चार विकेट उनके नाम पर दर्ज हैं. आईपीएल में जरूर पीयूष ने  प्रतिभा की झलक दिखाते हुए गेंदबाजी और बल्लेबाजी के दम पर अपनी टीम कोलकाता नाइटराइडर्स को जीत दिलाई है. पीयूष के क्रिकेट करियर और जीवन से जुड़ी खास बातें..

पीयूष चावला का जन्म यूपी के अलीगढ़ शहर में हुआ. कम उम्र में ही दाएं हाथ की लेग स्पिन गेंदबाजी से उन्होंने अपनी पहचान बनानी शुरू कर दी. उन्होंने 15 वर्ष की ही उम्र में भारत की अंडर-19 टीम और यूपी की अंडर-21 टीम में जगह बनाई.

पीयूष का नाम सबसे अधिक तब मीडिया जगत की सुर्खियां बना जब उन्होंने वर्ष 2005-06 में मास्टर ब्लास्टर सचिन तेंदुलकर को गुगली पर बोल्ड किया. सचिन जैसे क्रिकेटर को बोल्ड करने के बाद जाहिर है हर किसी की नजर आप पर होती है. ठीक यही पीयूष के साथ हुआ. वैसे इस टूर्नामेंट में यूपी के इस स्पिनर ने दो अन्य दिग्गज क्रिकेटरों महेंद्र सिंह धोनी और युवराज सिंह का विकेट भी झटका था.

महज 18 साल की उम्र में पीयूष ने इंटरनेशनल क्रिकेट में अपना करियर शुरू किया. मार्च 2006 में इंग्लैंड के खिलाफ मोहाली में पहला टेस्ट खेला. हालांकि पहले मैच में वे कोई खास असर नहीं छोड़ पाए. पहली पारी में नौ ओवर की गेंदबाजी में उन्होंने 45 रन दिए लेकिन कोई विकेट नहीं मिला. हालांकि इंग्लैंड की दूसरी पारी में एंड्रयू फ्लिंटाफ को आउट कर उन्होंने विकेट का खाता खोला.

पीयूष ने अपने वनडे करियर का आगाज मई 2007 में बांग्लादेश के खिलाफ ढाका में किया. यह मैच उनके लिए खासी सफलता वाला साबित हुआ और उन्होंने 37 रन देकर तीन विकेट लिए. अपना पहला टी20 मैच उन्होंने मई 2010 में दक्षिण अफ्रीका के खिलाफ ग्रास आइसलेट (वेस्टइंडीज ) में खेला. इस मैच में पीयूष ने तीन ओवर में 27 रन देकर एक विकेट हासिल किया था.

आईपीएल में पीयूष चावला 2008 से 2013 तक किंग्स इलेवन पंजाब और फिर कोलकाता नाइट राइडर्स की ओर से खेले. आईपीएल-7 में कोलकाता को चैंपियन बनाने में उन्होंने अहम योगदान दिया था. कोलकाता टीम का विजयी रन पीयूष के बल्ले से ही निकला था.

पीयूष चावला 2011 के वर्ल्डकप की चैंपियन रही भारतीय टीम के सदस्य थे. हालांकि इस टूर्नामेंट में उन्हें केवल तीन मैच (नीदरलैंड, आयरलैंड और इंग्लैंड के खिलाफ) खेलने का ही मौका मिल पाया था.

टीम इंडिया में फिर से स्थान बनाने के लिए पीयूष इस समय बल्लेबाजी में भी कड़ी मेहनत कर रहे हैं. कुछ समय पहले उन्होंने कहा था कि आज क्रिकेट इतना प्रतिस्पर्धात्मक हो गया है कि निचले क्रम के खिलाड़ियों के लिए भी बल्लेबाजी अहम बनती जा रही है. गेंदबाजी में बेहतर प्रदर्शन के साथ मेरा ध्यान बल्लेबाजी में सुधार पर भी है.

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