जयंत यादव ने मुंबई में टेस्ट करियर का पहला शतक बनाया (फाइल फोटो)
नई दिल्ली:
टीम इंडिया में एक और ऑलराउंडर ने मजबूत दस्तक दी है. जी हां बात हो रही है जयंत यादव की. विराट कोहली और आर. अश्विन के वर्चस्व वाली अपनी पहली टेस्ट सीरीज में अगर किसी खिलाड़ी ने अपने जोरदार प्रदर्शन से क्रिकेटप्रेमियों का ध्यान आकर्षित किया है तो वे जयंत ही हैं. इस प्रदर्शन के बीच अगर कोई बात सबसे महत्वपूर्ण है तो वह है जयंत की परिपक्वता. हरियाणा का यह 26 वर्षीय खिलाड़ी मैदान पर चाहे बल्लेबाजी कर रहा हो या गेंदबाजी, हमेशा विश्वास से लबरेज नजर आता है.
यादव भले ही अब तक केवल दो टेस्ट खेले हों, लेकिन परिपक्वता के मामले में इतने अनुभवी दिखाई देते हैं, मानों 50 या इससे ज्यादा इंटरनेशनल मैच खेल चुके हों. मुश्किल परिस्थितियों में दिमाग को स्थिर रखकर सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन देना उनकी सबसे बड़ी खूबी है. कप्तान विराट कोहली भी इसके कायल हो चुके हैं. मुंबई टेस्ट में जयंत ने अपने करियर का पहला शतक जमाया. उनकी 104 रन की बेहतरीन पारी में 15 चौके शामिल रहे. यह नौवें क्रम पर टीम इंडिया की ओर से किसी भी बल्लेबाज का सबसे अधिक स्कोर है.
सुनिश्चित किया कि टीम इंडिया बड़ी बढ़त हासिल करे
मुंबई में अपना तीसरा टेस्ट खेलते हुए जयंत जब विकेट पर आए तो टीम इंडिया का स्कोर सात विकेट पर 364 रन था. सबके दिमाग में सवाल यही था कि मैच में टीम इंडिया, पहली पारी में इंग्लैंड पर बढ़त बना पाएंगी और यदि बना भी पाएगी तो कितनी.. जाहिर है, इस समय एक छोर से जोरदार बल्लेबाजी कर रहे कप्तान विराट कोहली को अच्छे जोड़ीदार की जरूरत थी. जयंत ने बिल्कुल यही किया. उन्होंने सिर नीचे रखकर बल्लेबाजी की और विराट के साथ मिलकर यह सुनिश्चित किया कि टीम इंडिया न सिर्फ बढ़त हासिल करे बल्कि यह अच्छी खासी भी हो. जयंत ने अपने कप्तान के साथ आठवें विकेट के लिए 241 रन की साझेदारी की.
मोहाली टेस्ट में बनाया था अर्धशतक
इससे पहले मोहाली टेस्ट में जयंत ने अपने करियर का पहला अर्धशतक बनाया था और चार विकेट भी हासिल किए थे. विशाखापट्टनम में अपने डेब्यू टेस्ट में भी उनका बल्ले और गेंद से प्रदर्शन शानदार रहा था. इस मैच में जहां उन्होंने 35 और 27 नाबाद रन बनाए थे, वहीं गेंदबाजी में भी कुल चार विकेट (पहली पारी में एक, दूसरी पारी में तीन) लेने में सफल रहे थे. जाहिर है, आर. अश्विन और रवींद्र जडेजा के बाद टीम के तीसरे स्पिन ऑलराउंडर के तौर पर जयंत ने अपनी चमक दिखा दी है.
यादव भले ही अब तक केवल दो टेस्ट खेले हों, लेकिन परिपक्वता के मामले में इतने अनुभवी दिखाई देते हैं, मानों 50 या इससे ज्यादा इंटरनेशनल मैच खेल चुके हों. मुश्किल परिस्थितियों में दिमाग को स्थिर रखकर सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन देना उनकी सबसे बड़ी खूबी है. कप्तान विराट कोहली भी इसके कायल हो चुके हैं. मुंबई टेस्ट में जयंत ने अपने करियर का पहला शतक जमाया. उनकी 104 रन की बेहतरीन पारी में 15 चौके शामिल रहे. यह नौवें क्रम पर टीम इंडिया की ओर से किसी भी बल्लेबाज का सबसे अधिक स्कोर है.
सुनिश्चित किया कि टीम इंडिया बड़ी बढ़त हासिल करे
मुंबई में अपना तीसरा टेस्ट खेलते हुए जयंत जब विकेट पर आए तो टीम इंडिया का स्कोर सात विकेट पर 364 रन था. सबके दिमाग में सवाल यही था कि मैच में टीम इंडिया, पहली पारी में इंग्लैंड पर बढ़त बना पाएंगी और यदि बना भी पाएगी तो कितनी.. जाहिर है, इस समय एक छोर से जोरदार बल्लेबाजी कर रहे कप्तान विराट कोहली को अच्छे जोड़ीदार की जरूरत थी. जयंत ने बिल्कुल यही किया. उन्होंने सिर नीचे रखकर बल्लेबाजी की और विराट के साथ मिलकर यह सुनिश्चित किया कि टीम इंडिया न सिर्फ बढ़त हासिल करे बल्कि यह अच्छी खासी भी हो. जयंत ने अपने कप्तान के साथ आठवें विकेट के लिए 241 रन की साझेदारी की.
मोहाली टेस्ट में बनाया था अर्धशतक
इससे पहले मोहाली टेस्ट में जयंत ने अपने करियर का पहला अर्धशतक बनाया था और चार विकेट भी हासिल किए थे. विशाखापट्टनम में अपने डेब्यू टेस्ट में भी उनका बल्ले और गेंद से प्रदर्शन शानदार रहा था. इस मैच में जहां उन्होंने 35 और 27 नाबाद रन बनाए थे, वहीं गेंदबाजी में भी कुल चार विकेट (पहली पारी में एक, दूसरी पारी में तीन) लेने में सफल रहे थे. जाहिर है, आर. अश्विन और रवींद्र जडेजा के बाद टीम के तीसरे स्पिन ऑलराउंडर के तौर पर जयंत ने अपनी चमक दिखा दी है.
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