ऑस्ट्रेलियाई कोच व पूर्व क्रिकेटर जस्टिन लैंगर
खास बातें
- धोनी से सीखें ऑस्ट्रेलियाई क्रिकेटर
- 37 साल की उम्र में भी बेजोड़ है फिटनेस
- हर भूमिका में शानदार हैं माही
मेलबर्न: ऑस्ट्रेलियाई कोच जस्टिन लैंगर ने शुक्रवार को भारत से एकदिनी क्रिकेट सीरीज हारने के बाद महेंद्र सिंह धोनी की तारीफ करते हुए उन्हें सुपरस्टार और सर्वकालिक महान क्रिकेटरों में से एक बताया. धोनी ने तीसरे वनडे में 114 गेंद में नाबाद 87 रन बनाए. इसकी मदद से भारत ने सात विकेट से जीत दर्ज करके सीरीज 2-1 से अपने नाम की. धोनी ने तीन मैचों में 193 के औसत से 193 रन बनाए. वह दो पारियों में नाबाद रहे. और इस शानदार औसत के साथ धोनी मैन ऑफ द सीरीज के कड़े मुकाबले में ऑस्ट्रेलिया के शॉन मॉर्श को पछाड़ने में कामयाब रहे.
लैंगर ने मैच के बाद प्रेस कांफ्रेंस में कहा कि धोनी 37 बरस का है लेकिन विकेटों के बीच उसकी दौड़ और फिटनेस गजब की है. लगातार तीन दिन विकेटों के बीच इस तरह दौड़ना और वह भी 40 डिग्री तापमान में और ऐसा खेलना. वह खेल का सुपरस्टार है जो ऑस्ट्रेलियाई क्रिकेटरों को बनने की कोशिश करनी चाहिए. उन्होंने कहा कि एम एस धोनी, विराट कोहली और टेस्ट में चेतेश्वर पुजारा. ये सभी आदर्श हैं. एम एस धोनी का तो रिकार्ड बतौर कप्तान, बल्लेबाज और विकेटकीपर उनकी काबिलियत के बारे में बताता है.
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ऑस्ट्रेलियाई कोच ने कहा कि वह महानतम क्रिकेटर हैं और ऐसे खिलाड़ियों के खिलाफ हारना दुखद है, लेकिन उनके खिलाफ खेलना फख्र की बात है. धोनी को 0 और 74 के स्कोर पर जीवनदान मिला और लैंगर ने इसे हार की वजह बताया. उन्होंने कहा कि दो बार एमएस धोनी का कैच छोड़ने से कोई मैच नहीं जीत सकता.
VIDEO: विराट कोहली ऑस्ट्रेलिया रवाना होने से पहले प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान
हम मैच विनर्स की बात करते हैं जो उसने फिर बनकर बताया. यह हमारे बल्लेबाजों के लिए सबक था. युवाओं को उनसे सीखना चाहिए