- विराट कोहली ने एडिलेड में हुए दूसरे वनडे में भी शून्य पर आउट होकर लगातार दो मैचों में खाता खोला नहीं.
- एडिलेड मैदान पर कोहली का रिकॉर्ड शानदार रहा है लेकिन हालिया प्रदर्शन उनके करियर के लिए चिंता का विषय है.
- पूर्व कप्तान सुनील गावस्कर का मानना है कि कोहली 2027 विश्व कप में शानदार वापसी करेंगे और उच्च प्रदर्शन करेंगे.
भारत और ऑस्ट्रेलिया के बीच एडिलेड में हुए सीरीज के दूसरे मुकाबले में विराट कोहली एक बार फिर फ्लॉप हुए. एडिलेड एक ऐसा मैदान है, जहां किसी विदेशी बल्लेबाज की तुलना में किंग कोहली का रिकॉर्ड जबरदस्त हैं, लेकिन इस मैदान पर कोहली खाता भी नहीं खोल पाए. कोहली पर्थ में भी 0 पर गए थे. उनके करियर में ऐसा पहली बार हुआ है जब कोहली लगातार दो वनडे में शून्य पर पवेलियन गए हों. कोहली के लगातार दो बार बिना खाता खोले पवेलियन लौटने पर एक टीवी चैनल से बात करते हुए पूर्व भारतीय कप्तान सुनील गावस्कर ने साफ कर दिया कि विराट कोहली कभी हारकर जाने वालों में से नहीं. उनका मानना है कि दुनिया विराट को 2027 वर्ल्ड कप के दौरान कारनामा करता देखेगी. उससे पहले उन्होंने विराट से सिडनी और द.अफ्रीका के खिलाफ भी शानदार प्रदर्शन की उम्मीद जताई है.
'विराट युग' के अंत की शुरुआत: प्रिंस के लिए कितना भारी पड़ रहा किंग कोहली और रोहित का भार
क्रिकेट से बड़ा कोई नहीं. गेम से बड़ा कोई नहीं. सर डॉन ब्रैडमैन ने अपनी आखिरी टेस्ट की पारी द ओवल पर खेली. अपने 52 टेस्ट के करियर में 99.94 के औसत और 29 शतकों के साथ क्रिकेट की दुनिया में बादशाहत कायम करने वाले तब ऑस्ट्रेलिया के कप्तान डॉन ब्रैडमैन 0 पर आउट हुए और दुनिया टेस्ट में 100 का औसत देखने से मरहूम रह गई.
304 मैच, 18 साल में पहली बार 0,0
पर्थ में 0. फिर एडिलेड में 0. किंग कोहली की ये आखिरी पारियां बेशक ना हों, लेकिन 304 मैचों में 57.41 के औसत से 14181 रन और सबसे ज़्यादा 81 शतकों के किंग कोहली के अंत की शुरुआत इसे ज़रूर माना जा सकता है. 304 मैचों के तकरीबन 18 साल लंबे करियर में 'किंग' का ये हश्र दुनिया ने पहली बार देखा. वो भी एडिलेड के उस मैदान पर जहां कोहली के नाम 4 वनडे मैचों में 2 शतकों के साथ 244 रन थे, 61 के औसत के साथ. टेस्ट में भी कोहली के इस मैदान पर 3 शतक के साथ 527 रन हैं करीब 53 के औसत के साथ.
एडिलेड के 'किंग' ने उठाया हाथ!
विराट वाकई एडिलेड के किंग बने रहे. इसलिए संभवत: एडिलेड और ऑस्ट्रेलिया में जब वो अपनी 'आखिरी सीरीज़' खेल रहे हैं तो उनके दो ज़ीरो के बावजूद एडिलेड के फ़ैन्स ने उनका हीरो जैसा अभिवादन किया. विराट ने भी हाथ उठाकर सबका शुक्रिया अदा किया.
सोशल मीडिया पर शोर
क्या ये सब अंतर्राष्ट्रीय क्रिकेट को विदा-अलविदा! कहने का संकेत है? सोशल मीडिया पर आलोचक और फैंस उनकी विदाई के गीत भी गा रहे हैं.
'विराट ऐसे छोड़ने वालों में नहीं, कमबैक करेंगे, हाई नोट पर जायेंगे'
कई एक्सपर्ट्स ज़रूर कोई फ़ैसला सुनाने से बच रहे हैं. लेकिन पूर्व भारतीय कप्तान सुनील गावस्कर कहते हैं,"विराट का एडिलेड के फैन्स ने अभिवादन किया और विराट ने उसे एकनौलेज किया है. उनके हाथ उठाने को लेकर उसमें ज़्यादा कुछ पढ़ने की ज़रूरत नहीं. विराट 2027 का वर्ल्ड कप खेलेंगे और हाई नोट पर जायेंगे."
मशहूर कॉमेन्टेटर हर्षा भोगले 'X' पर ट्वीट करते हैं,"मुझे लगता है हमें रोहित और विराट को लेकर इस सीरीज़ के आख़िर तक अपने विचारों को लगाम देना चाहिए."
I believe we must hold our thoughts on Rohit and Virat till the end of the series.
— Harsha Bhogle (@bhogleharsha) October 23, 2025
फैन्स की राय दो सिरों पर नज़र आती है.
Two ducks don't define a King. Legends rise, always!
— Bhargav Jani (@IndianBhargav) October 23, 2025
Waiting for Virat Kohli's comeback.
#ViratKohli𓃵 || #INDvsAUS pic.twitter.com/0ws8os5BX6
Bye BCCI aap apne Virat Kohli ko team me rahklo#INDvsAUS pic.twitter.com/KOBVdXqmEl
— ARJUN RATHORE (@willeyybanna) October 23, 2025
आखिरी 10 पारियां
विराट की आखिरी 10 पारियों की शक्ल ऐसी कभी नहीं रहीं- 0,0, 1, 84,11, 100*, 22, 52, 5 और 20 रन. यानी कुल 284 रन और औसत 31.5. विराट के अपने वनडे औसत 57.41 से बेहद कम. विराट यकीनन इस नोट पर नहीं जाना चाहेंगे. लेकिन उनको खुद को साबित करने के मौके फिलहाल बहुत कम हैं.
2027 वर्ल्ड कप तक वनडे
विराट और शायद रोहित भी 2027 वर्ल्ड कप के इरादे से वनडे की आखिरी पारियां खेल रहे हैं. 2027 वर्ल्ड कप तक विराट 38 और रोहित 40 के होंगे. उम्र और रिफ्लेक्सेज़ एक बात है. 2027 वर्ल्ड कप तक मौजूदा कार्यक्रम के मुताबिक भारत को खुद आज़माने और कोर ग्रुप बनाने के लिए अंतर्राष्ट्रीय कई वनडे मैच (3 मैच बनाम द.अफ्रीका, 3 बनाम न्यूज़ीलैंड, 3 बनाम अफ़ग़ानिस्तान, 3 बनाम इंग्लैंड, 3 वेस्टइंडीज़, 3 न्यूज़ीलैंड और 3 श्रीलंका से) खेलने के मौके ज़रूर मिलेंगे.
ज़ाहिर तौर पर टीम इंडिया के प्लेइंग में बने रहने के लिए इतना काफी नहीं हो सकता. इन दिग्गजों को घरेलू फॉर्मैट के वनडे मैचों में अपने हाथ आज़मा कर टीम मैनेजमेंट को खुद को साबित करने की ज़रूरत होगी.
यह भी पढ़ें: IND vs AUS: भारत की हार के 5 गुनहगार.. रनों के लिए तरसते रह गए, टीम इंडिया के गंवा दी सीरीज
यह भी पढ़ें: 'भारत को हराना मुश्किल' पाकिस्तान को पीटने के बाद अफ्रीकी खिलाड़ी ने गिल एंड कंपनी को लेकर कही बड़ी बात
NDTV.in पर ताज़ातरीन ख़बरों को ट्रैक करें, व देश के कोने-कोने से और दुनियाभर से न्यूज़ अपडेट पाएं