
एनडीए नेता
नई दिल्ली:
बिहार में एनडीए के घटक दलों के बीच सीटों के बंटवारे को लेकर बातचीत अब आखिरी दौर में है। जहां एक तरफ उपेन्द्र कुशवाहा और जीतन राम मांझी ने सीटों को लेकर अन्तिम फैसला बीजेपी पर छोड़ दिया है वहीं बीजेपी ने भी कहा है कि सीटों का बंटवारा सम्मानजनक होगा।
गुरुवार को बिहार चुनावों को लेकर सीटों के बंटवारे पर एनडीए के घटक दाल बीजेपी के चुनाव इंचार्ज और केंद्रीय मंत्री अनंत कुमार से फिर मिले। चुनाव की तारीखों के ऐलान के बाद अब राजनीतिक सुगबुगाहट तेज़ हो गयी है और टिकटों के बंटवारे में हो रही देरी को लेकर तनाव भी बढ़ता जा रहा है।
अनंत कुमार से मुलाकात के बाद राष्ट्रीय लोक समता पार्टी के नेता उपेन्द्र कुशवाहा ने कहा, 'मैंने बीजेपी अध्यक्ष को चिट्ठी लिखकर कहा है की जो भी तय करना है बीजेपी तय करे। हम उनके निर्णय से सहमत होंगे। लेकिन बीजेपी को जल्दी तय करना होगा।'
दरअसल बिहार चुनावों की तारीख के ऐलान के साथ ही एनडीए पर सीटों के बंटवारे की प्रक्रिया को जल्दी पूरा करने को लेकर दबाव बढ़ गया है। बीजेपी घटक दलों को इस बात का एहसास है की वो जितना ज्यादा समय टिकटों के बंटवारे पर लगाएंगे चुनावी अभियान के लिए उनके पास उतना ही कम समय होगा1
राजनीतिक गलियारों में खबर है की बीजेपी 160 से 165 सीटों पर चुनाव लड़ना चाहती है। पार्टी अपने तीन सहयोगियों को बाकी की 80 के आसपास सीटें देने के बारे में सोच रही है। मंशा ज्यादा से ज्यादा सीटों पर चुनाव लड़ने की है जिससे चुनावों के बाद उसकी स्थिति ज्यादा मज़बूत हो। इस रणनीति के तहत वो अपने घटक दलों पर दबाव बढ़ा रही है।
और इस वजह से बीजेपी के घटक दलों की सौदेबाज़ी की ताकत घटती दिखाई दे रही है। अनंत कुमार के साथ सीटों के बंटवारे के बारे में बातचीत के बाद जीतन राम मांझी ने कहा, 'हमने आखिरी फैसला प्रधानमंत्री और बीजेपी अध्यक्ष पर छोड़ दिया है।' ज़ाहिर है, समय बहुत कम है और अब तैयारी जल्दी से जल्दी सीटों के बंटवारे को अंतिम रूप देने की है।
गुरुवार को बिहार चुनावों को लेकर सीटों के बंटवारे पर एनडीए के घटक दाल बीजेपी के चुनाव इंचार्ज और केंद्रीय मंत्री अनंत कुमार से फिर मिले। चुनाव की तारीखों के ऐलान के बाद अब राजनीतिक सुगबुगाहट तेज़ हो गयी है और टिकटों के बंटवारे में हो रही देरी को लेकर तनाव भी बढ़ता जा रहा है।
अनंत कुमार से मुलाकात के बाद राष्ट्रीय लोक समता पार्टी के नेता उपेन्द्र कुशवाहा ने कहा, 'मैंने बीजेपी अध्यक्ष को चिट्ठी लिखकर कहा है की जो भी तय करना है बीजेपी तय करे। हम उनके निर्णय से सहमत होंगे। लेकिन बीजेपी को जल्दी तय करना होगा।'
दरअसल बिहार चुनावों की तारीख के ऐलान के साथ ही एनडीए पर सीटों के बंटवारे की प्रक्रिया को जल्दी पूरा करने को लेकर दबाव बढ़ गया है। बीजेपी घटक दलों को इस बात का एहसास है की वो जितना ज्यादा समय टिकटों के बंटवारे पर लगाएंगे चुनावी अभियान के लिए उनके पास उतना ही कम समय होगा1
राजनीतिक गलियारों में खबर है की बीजेपी 160 से 165 सीटों पर चुनाव लड़ना चाहती है। पार्टी अपने तीन सहयोगियों को बाकी की 80 के आसपास सीटें देने के बारे में सोच रही है। मंशा ज्यादा से ज्यादा सीटों पर चुनाव लड़ने की है जिससे चुनावों के बाद उसकी स्थिति ज्यादा मज़बूत हो। इस रणनीति के तहत वो अपने घटक दलों पर दबाव बढ़ा रही है।
और इस वजह से बीजेपी के घटक दलों की सौदेबाज़ी की ताकत घटती दिखाई दे रही है। अनंत कुमार के साथ सीटों के बंटवारे के बारे में बातचीत के बाद जीतन राम मांझी ने कहा, 'हमने आखिरी फैसला प्रधानमंत्री और बीजेपी अध्यक्ष पर छोड़ दिया है।' ज़ाहिर है, समय बहुत कम है और अब तैयारी जल्दी से जल्दी सीटों के बंटवारे को अंतिम रूप देने की है।
NDTV.in पर ताज़ातरीन ख़बरों को ट्रैक करें, व देश के कोने-कोने से और दुनियाभर से न्यूज़ अपडेट पाएं