लखनऊ:
उत्तर प्रदेश विधानसभा के पांचवें चरण में जिन क्षेत्रों में गुरुवार को मतदान होना है, उसमें मुख्यमंत्री एवं बहुजन समाज पार्टी (बसपा) प्रमुख मायावती और कांग्रेस महासचिव राहुल गांधी की सियासी प्रतिष्ठा से जुड़े बुंदेलखण्ड के अलावा समाजवादी पार्टी (सपा) प्रमुख मुलायम सिंह यादव और पूर्व मुख्यमंत्री कल्याण सिंह के प्रभाव वाले क्षेत्र शामिल हैं। इस चरण में 13 जिलों की 49 सीटों पर कुल 829 उम्मीदवारों की किस्मत दांव पर है। इन उम्मीदवारों में भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) की वरिष्ठ नेता उमा भारती के भी भाग्य का फैसला मतदाता करेंगे। ये जिलें हैं एटा, कांशीराम नगर, कानपुर, रमाबाई नगर, महोबा, जालौन, झांसी, हमीरपुर, औरैया, इटावा, ललितपुर, मैनपुरी और फिरोजाबाद।
फिरोजाबाद, औरैया, मैनपुरी, रमाबाई नगर और इटावा जहां सपा प्रमुख मुलायम सिंह का गढ़ माना जाता है, वहीं एटा और कांशीरामनगर जनक्रांति पार्टी (राष्ट्रवादी) के संरक्षक कल्याण सिंह के प्रभाव वाले क्षेत्र माने जाते हैं। मुलायम जहां मैनपुरी से सांसद हैं, वहीं कल्याण सिंह एटा से सांसद हैं। इस चरण में दोनों नेताओं की अपने-अपने क्षेत्र में सियासी परीक्षा है। पिछले विधानसभा चुनाव में बुंदेलखण्ड के झ्झांसी, हमीरपुर, ललितपुर, जालौन और महोबा में बसपा का दबदबा था। लेकिन पिछले लोकसभा चुनाव में कांग्रेस द्वारा झांसी सीट जीतने के बाद बुंदेलखण्ड क्षेत्र पर कब्जा राहुल गांधी के एजेंडे में शामिल हो गया। इसीलिए वह पिछले कुछ सालों से इस क्षेत्र में काफी सक्रिय थे। ऐसे में इस बार बसपा प्रमुख मायावती के सामने पिछला प्रदर्शन दोहराने की चुनौती होगी। इस चरण में जिन दिग्गजों की किस्मत दांव पर लगी है, उसमें भाजपा नेता उमा भारती भी हैं, जो बुंदेलखण्ड के चरखारी सीट से चुनाव लड़कर उत्तर प्रदेश में अपना सियासी सफर शुरू करने जा रही हैं।
इसके अलावा इटावा जिले के जसवंतनगर सीट से सपा के वरिष्ठ नेता शिवपाल सिंह यादव, महोबा सदर से पूर्व मंत्री एवं भाजपा उम्मीदवार बादशाह सिंह, मैनपुरी की भोगांव सीट से भाजपा उम्मीदवार साक्षी महराज, मैनपुरी की करहल सीट से मंत्री जयवीर सिंह और एटा की अलीगंज सीट से बसपा के प्रदेशाध्यक्ष स्वामी प्रसाद मौर्य की पुत्री संघमित्रा इस चरण की चर्चित हस्ती हैं। इस चरण में 17,267 मतदान केंद्र बनाए गए हैं। चुनाव प्रक्रिया में 28,173 इलेक्ट्रॉनिक वोटिंग मशीन (ईवीएम) का प्रयोग होगा। इस चरण में कुल 1.56 करोड़ मतदाता 87 महिलाओं सहित 829 उम्मीदवारों की किस्मत का फैसला करेंगे।
फिरोजाबाद, औरैया, मैनपुरी, रमाबाई नगर और इटावा जहां सपा प्रमुख मुलायम सिंह का गढ़ माना जाता है, वहीं एटा और कांशीरामनगर जनक्रांति पार्टी (राष्ट्रवादी) के संरक्षक कल्याण सिंह के प्रभाव वाले क्षेत्र माने जाते हैं। मुलायम जहां मैनपुरी से सांसद हैं, वहीं कल्याण सिंह एटा से सांसद हैं। इस चरण में दोनों नेताओं की अपने-अपने क्षेत्र में सियासी परीक्षा है। पिछले विधानसभा चुनाव में बुंदेलखण्ड के झ्झांसी, हमीरपुर, ललितपुर, जालौन और महोबा में बसपा का दबदबा था। लेकिन पिछले लोकसभा चुनाव में कांग्रेस द्वारा झांसी सीट जीतने के बाद बुंदेलखण्ड क्षेत्र पर कब्जा राहुल गांधी के एजेंडे में शामिल हो गया। इसीलिए वह पिछले कुछ सालों से इस क्षेत्र में काफी सक्रिय थे। ऐसे में इस बार बसपा प्रमुख मायावती के सामने पिछला प्रदर्शन दोहराने की चुनौती होगी। इस चरण में जिन दिग्गजों की किस्मत दांव पर लगी है, उसमें भाजपा नेता उमा भारती भी हैं, जो बुंदेलखण्ड के चरखारी सीट से चुनाव लड़कर उत्तर प्रदेश में अपना सियासी सफर शुरू करने जा रही हैं।
इसके अलावा इटावा जिले के जसवंतनगर सीट से सपा के वरिष्ठ नेता शिवपाल सिंह यादव, महोबा सदर से पूर्व मंत्री एवं भाजपा उम्मीदवार बादशाह सिंह, मैनपुरी की भोगांव सीट से भाजपा उम्मीदवार साक्षी महराज, मैनपुरी की करहल सीट से मंत्री जयवीर सिंह और एटा की अलीगंज सीट से बसपा के प्रदेशाध्यक्ष स्वामी प्रसाद मौर्य की पुत्री संघमित्रा इस चरण की चर्चित हस्ती हैं। इस चरण में 17,267 मतदान केंद्र बनाए गए हैं। चुनाव प्रक्रिया में 28,173 इलेक्ट्रॉनिक वोटिंग मशीन (ईवीएम) का प्रयोग होगा। इस चरण में कुल 1.56 करोड़ मतदाता 87 महिलाओं सहित 829 उम्मीदवारों की किस्मत का फैसला करेंगे।
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