विज्ञापन
This Article is From Mar 20, 2018

एक इंच जमीन नहीं छोड़ेगा चीन, दुश्मनों से खूनी संघर्ष के लिए भी तैयार : शी चिनफिंग

चीनी राष्ट्रपति शी चिनफिंग ने आज कहा कि चीन अपनी एक भी इंच जमीन नहीं छोड़ेगा तथा वह विश्व में अपना स्थान हासिल करने के लिए खूनी संघर्ष को भी तैयार है.

एक इंच जमीन नहीं छोड़ेगा चीन, दुश्मनों से खूनी संघर्ष के लिए भी तैयार : शी चिनफिंग
चीनी राष्ट्रपति शी चिनफिंग (फाइल फोटो)
बीजिंग: चीनी राष्ट्रपति शी चिनफिंग ने आज कहा कि चीन अपनी एक भी इंच जमीन नहीं छोड़ेगा तथा वह विश्व में अपना स्थान हासिल करने के लिए खूनी संघर्ष को भी तैयार है. संसद के 18 दिन लंबे सत्र के अंतिम दिन अपने आधे घंटे के भाषण में शी ने कहा, ‘‘ चीन के लोग और चीनी राष्ट्र का साझा दृढ़ मत है कि हमारी जमीन का एक इंच भी चीन से अलग नहीं किया जा सकता है.’’ हालांकि शी ने किसी भी देश के साथ सीमा विवाद का जिक्र नहीं किया. चीन भारत के साथ सीमा विवाद के अलावा पूर्वी चीन सागर के उन द्वीपों पर भी अपना हक जमाता है जो फिलहाल जापान के प्रशासनिक क्षेत्र में आते हैं. इनके अलावा दक्षिण चीन सागर में नियंत्रण को लेकर वह वियतनाम, फिलीपीन, मलेशिया, ब्रूनेई और ताइवान के साथ उलझा हुआ है. 

यह भी पढ़ें: चीन को लेकर जनरल बिपिन रावत का बयान, ‘डोकलाम गतिरोध से आई कड़वाहट में अब सुधार'

शी ने कहा कि चीन के पास विश्व में अपना स्थान हासिल करने की क्षमता है. उन्होंने कहा, ‘‘ चीनी लोग दृढ़ एवं निश्चयी हैं. हम अपने दुश्मनों के साथ खूनी संघर्ष के लिए तैयार हैं और आजादी के आधार पर अपने हिस्से को फिर से कब्जा करने को प्रतिबद्ध हैं.’’ उन्होंने कहा, ‘‘ हमारे पास विश्व में अपना स्थान हासिल करने की पूरी क्षमता है. हम पिछले 170 सालों से इसके लिए लड़ रहे हैं. आज चीनी लोग पहले की अपेक्षा इस सपने को सच करने के सर्वाधिक करीब, सर्वाधिक क्षमतावान हैं.’’ इस सत्र के दौरान नेशनल पीपुल्स कांग्रेस( चीन की संसद) ने संविधान में संशोधन कर राष्ट्रपति और उपराष्ट्रपति के लिए अधिकतम दो कार्यकाल की दशकों पुरानी परंपरा को समाप्त कर दिया. इसके साथ ही शी के जीवनपर्यंत राष्ट्रपति पद पर बने रहने का रास्ता साफ हो गया है. 

यह भी पढ़ें: भारत और चीन की सेनाएं वार्षिक अभ्यास बहाल करेंगी : सेना प्रमुख

सत्र के दौरान 2970 सांसदों ने बतौर राष्ट्रपति और सेना प्रमुख के रूप में शी को दूसरे कार्यकाल के लिए चुना. पिछले वर्ष अक्तूबर में शी को लगातार दूसरी बार चीन की कम्युनिस्ट पार्टी( सीपीसी) का महासचिव चुना गया था. पार्टी और सेना प्रमुख होने के साथ- साथ जीवनपर्यंत राष्ट्रपति पद पर बने रहने की संभावनाओं के साथ ही शी सीपीसी के संस्थापक माओ त्से तुंग के बाद देश के सबसे ताकतवर नेता बन गये हैं. अतीत की परंपराओं से अलग हटकर शी ने आज संसद सत्र के अंतिम दिन उसे संबोधित किया जिसका पूरे देश में प्रसारण किया गया. ताइवान के संदर्भ में उन्होंने कहा, ‘‘ हमें अपने देश की सम्प्रभुता और अखंडता की रक्षा करनी चाहिए और मातृभूमि के पूर्ण एकीकरण के लक्ष्य को प्राप्त करना चाहिए.’’ 

यह भी पढ़ें: भारत बना दुनिया में सबसे ज्‍यादा हथियार खरीदने वाला देश, चीन 5 बड़े सप्‍लायर्स देशों में हुआ शामिल

गौरतलब है कि चीन ताइवान को अपने देश का हिस्सा मानता है. उन्होंने देश में अलगाववादियों को भी कड़ा संदेश दिया. उन्होंने कहा कि चीन के लोगों में अलगावादियों के कदमों को विफल बनाने का दृढ़ निश्चय, पूरा विश्वास और पूर्ण क्षमता है. शी ने अपने भाषण में बौद्ध धर्म गुरू दलाई लामा को‘‘ विभाजनकारी’’ बताया. उन्होंने अमेरिका को निशाने पर लेते हुए कहा, ‘‘ चीन कभी दबदबा नहीं बनाएगा या विस्तारवादी नीति नहीं अपनाएगा. 

VIDEO:  सेना प्रमुख ने कहा, चीन को संभाल सकता है भारत
उन्होंने कहा कि  वे लोग जो हर किसी को डराते रहते हैं उन्हें ही हर चीज से डर लगता है.’’

NDTV.in पर ताज़ातरीन ख़बरों को ट्रैक करें, व देश के कोने-कोने से और दुनियाभर से न्यूज़ अपडेट पाएं

फॉलो करे:
Listen to the latest songs, only on JioSaavn.com