फाइल फोटो
बीजिंग:
चीन की आधिकारिक मीडिया ने शुक्रवार को कहा कि बीजिंग पाकिस्तान पर ‘आतंकवाद का समर्थक’ ठहराने के किसी प्रयास का कड़ा विरोध करेगा तथा उसने भारत को सुझाव दिया कि वह 46 अरब डॉलर के आर्थिक कॉरिडोर से जुड़ने के एक शीर्ष पाकिस्तानी जनरल की ओर से की गई पेशकश को स्वीकार करे.
सरकारी समाचार पत्र ‘ग्लोबल टाइम्स’ के एक लेख में कहा गया है, ‘‘नई दिल्ली को चीन-पाकिस्तान आर्थिक कॉरिडोर (सीपेक) से जुड़ने के लिए पाकिस्तान की ओर से कई गई पेशकश को स्वीकार करने पर विचार करना चाहिये.’’
पाकिस्तानी सेना के दक्षिणी कमान के कमांडर लेफ्टिनेंट जनरल रियाज ने इस हफ्ते कथित तौर पर कहा था कि भारत को पाकिस्तान के साथ ‘शत्रुता’ त्यागनी चाहिए और सीपेक से जुड़ जाना चाहिए. चीनी समाचार पत्र ने कहा, ‘‘शत्रुता को कम करने का सबसे अच्छा तरीका परस्पर फायदों पर आधारित आर्थिक सहयोग स्थापित करना है. उन चीजों को अलग रखा जाए जिनसे सहमति नहीं बन सकती है.’’
उसने कहा कि भारत सीपेक से खुलने वाले नए व्यापार मार्गों के जरिए अपना निर्यात बढ़ा सकता है और चीन के साथ व्यापार घाटे को कम कर सकता है. अगर भारत इस परियोजना से जुड़ता है तो इससे पाकिस्तान और जम्मू-कश्मीर की सीमा से लगे भारत के उत्तरी इलाके में अधिक आर्थिक प्रगति होगी.
(हेडलाइन के अलावा, इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है, यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)
सरकारी समाचार पत्र ‘ग्लोबल टाइम्स’ के एक लेख में कहा गया है, ‘‘नई दिल्ली को चीन-पाकिस्तान आर्थिक कॉरिडोर (सीपेक) से जुड़ने के लिए पाकिस्तान की ओर से कई गई पेशकश को स्वीकार करने पर विचार करना चाहिये.’’
पाकिस्तानी सेना के दक्षिणी कमान के कमांडर लेफ्टिनेंट जनरल रियाज ने इस हफ्ते कथित तौर पर कहा था कि भारत को पाकिस्तान के साथ ‘शत्रुता’ त्यागनी चाहिए और सीपेक से जुड़ जाना चाहिए. चीनी समाचार पत्र ने कहा, ‘‘शत्रुता को कम करने का सबसे अच्छा तरीका परस्पर फायदों पर आधारित आर्थिक सहयोग स्थापित करना है. उन चीजों को अलग रखा जाए जिनसे सहमति नहीं बन सकती है.’’
उसने कहा कि भारत सीपेक से खुलने वाले नए व्यापार मार्गों के जरिए अपना निर्यात बढ़ा सकता है और चीन के साथ व्यापार घाटे को कम कर सकता है. अगर भारत इस परियोजना से जुड़ता है तो इससे पाकिस्तान और जम्मू-कश्मीर की सीमा से लगे भारत के उत्तरी इलाके में अधिक आर्थिक प्रगति होगी.
(हेडलाइन के अलावा, इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है, यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)
NDTV.in पर ताज़ातरीन ख़बरों को ट्रैक करें, व देश के कोने-कोने से और दुनियाभर से न्यूज़ अपडेट पाएं
चीन-पाकिस्तान आर्थिक कॉरिडोर, सीपेक, भारत सीपेक, भारत पाकिस्तान, भारत चीन, China-Pakistan Economic Corridor, CPEC, India CPEC, India Pakistan, India China