आप नेता आशुतोष का फाइल फोटो...
नई दिल्ली:
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर जोरदार हमला करते हुए आम आदमी पार्टी (आप) ने मंगलवार को कहा कि देश को एक 'कमजोर' प्रधानमंत्री मिला है, जो हर दूसरे दिन अपना फैसला बदल लेता है. आप नेता आशुतोष ने यहां कहा कि बीते आठ नवंबर को की गई नोटबंदी के बाद से लेकर अब तक पुराने नोटों को जमा करने या बदलने के मामले में सरकार कुल 59 अधिसूचनाएं जारी कर चुकी हैं.
आशुतोष ने कहा, "मुझे लगता है कि किसी और प्रधानमंत्री के कार्यकाल में सरकार ने अपना फैसला इतनी जल्दी-जल्दी नहीं बदला है." उन्होंने कहा, "देश को एक मजबूत प्रधानमंत्री की जरूरत थी, लेकिन हमें एक ऐसा कमजोर प्रधानमंत्री मिला, जो हर दिन अपना फैसला बदल देता है."
आप नेता ने कहा, "इससे यही साबित होता है कि या तो प्रधानमंत्री देशवासियों से झूठ बोलते हैं या उनकी बातों का कोई अर्थ नहीं होता है."
भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) ने सोमवार को एक नई अधिसूचना जारी करते हुए कहा कि लोग 500 रुपये तथा 1,000 रुपये के नोटों के रूप में 5,000 से अधिक की रकम केवल एक बार ही बैंक में जमा करा सकते हैं. अधिक बार रकम जमा करने पर उनसे पूछताछ होगी.
बीते 12 नवंबर को सरकार के एक बयान का हवाला देते हुए आप नेता ने कहा कि केंद्रीय वित्त मंत्री अरुण जेटली ने लोगों से पुराने नोटों को जमा कराने को लेकर बैंकों में भीड़ लगाने के लिए नहीं कहा था.
आप नेता ने कहा, "उन्होंने कहा था कि लोगों के पास अपने पैसे जमा कराने के लिए 30 दिसंबर तक का समय है. क्या वित्त मंत्री ने देशवासियों से झूठ बोला था?"
आशुतोष ने कहा, "क्या यह उन लोगों से विश्वासघात है, जिन्होंने जेटली और मोदी पर विश्वास किया और अपने पैसे जमा कराने के लिए इंतजार किया?"
आप नेता दिलीप पांडे ने कहा कि प्रधानमंत्री को स्पष्ट करना चाहिए कि कब बिना किसी पाबंदी के लोग अपना पैसा बैंकों से निकालने में सक्षम होंगे, क्योंकि मोदी द्वारा दी गई 50 दिनों की समय सीमा अब खत्म होने वाली है.
(इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)
आशुतोष ने कहा, "मुझे लगता है कि किसी और प्रधानमंत्री के कार्यकाल में सरकार ने अपना फैसला इतनी जल्दी-जल्दी नहीं बदला है." उन्होंने कहा, "देश को एक मजबूत प्रधानमंत्री की जरूरत थी, लेकिन हमें एक ऐसा कमजोर प्रधानमंत्री मिला, जो हर दिन अपना फैसला बदल देता है."
आप नेता ने कहा, "इससे यही साबित होता है कि या तो प्रधानमंत्री देशवासियों से झूठ बोलते हैं या उनकी बातों का कोई अर्थ नहीं होता है."
भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) ने सोमवार को एक नई अधिसूचना जारी करते हुए कहा कि लोग 500 रुपये तथा 1,000 रुपये के नोटों के रूप में 5,000 से अधिक की रकम केवल एक बार ही बैंक में जमा करा सकते हैं. अधिक बार रकम जमा करने पर उनसे पूछताछ होगी.
बीते 12 नवंबर को सरकार के एक बयान का हवाला देते हुए आप नेता ने कहा कि केंद्रीय वित्त मंत्री अरुण जेटली ने लोगों से पुराने नोटों को जमा कराने को लेकर बैंकों में भीड़ लगाने के लिए नहीं कहा था.
आप नेता ने कहा, "उन्होंने कहा था कि लोगों के पास अपने पैसे जमा कराने के लिए 30 दिसंबर तक का समय है. क्या वित्त मंत्री ने देशवासियों से झूठ बोला था?"
आशुतोष ने कहा, "क्या यह उन लोगों से विश्वासघात है, जिन्होंने जेटली और मोदी पर विश्वास किया और अपने पैसे जमा कराने के लिए इंतजार किया?"
आप नेता दिलीप पांडे ने कहा कि प्रधानमंत्री को स्पष्ट करना चाहिए कि कब बिना किसी पाबंदी के लोग अपना पैसा बैंकों से निकालने में सक्षम होंगे, क्योंकि मोदी द्वारा दी गई 50 दिनों की समय सीमा अब खत्म होने वाली है.
(इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)
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