पहली बार सारंग हेलीकॉप्टर टीम में महिला पायलट स्कावड्रन लीडर दीपिका मिश्रा को शामिल किया गया है। दीपिका के साथ ही पहली बार इंजीनियर फ्लाइट लेफ्टिनेंट संदीप सिंह भी इस टीम का हिस्सा बनी हैं।
2006 में एयरफोर्स अकादमी में पास करने वाली दीपिका कहती है कि मन में कुछ करने की इच्छा हो तो कुछ भी मुश्किल नहीं है। दीपिका को नौ साल का फ्लाइंग का अनुभव है। यहां से पहले वह उधमपुर में चीता और चेतक उड़ाया करती थीं, पर जब 2010 में उन्हें मौका मिला तो पहले वह ध्रुव हेलीकाप्टर में शिफ्ट हुईं फिर पिछले साल सारंग में।
1600 घंटे का फ्लाइंग अनुभव वाली दीपिका को आज किसी भी तरह हिचक नहीं है और न ही डर। आज वह अपने पुरुष पायलट के कंधे से कंधा मिलाकर बखौफ हेलीकॉप्टर पर हैरतअंगेज कारनामे दिखाती हैं।
वहीं हरियाणा की रहने वाली इंजीनियर फ्लाइट लेफ्टिनेंट संदीप सिंह के कंधों पर हेलीकॉप्टर के रखरखाव की जिम्मेवारी है। थोड़ी-सी चूक और पायलट के साथ हेलीकॉप्टर भी हादसे का शिकार हो सकता है। संदीप कहती हैं कि महिलाएं किससे कम हैं, वह तो आज पुरुषों से दो कदम आगे चल रही हैं। एक चुनौती भरा काम है और हम अपने जोश और मोटिवेशन से हेलीकॉप्टर को 24 घंटे तैयार रखते हैं।
दीपिका और संदीप में एक चीज समान्य है, वह यह कि उनके कंधे पर बड़ी जिम्मेदारी है। हो सकता है आऩे वाले सालों में सारंग में पायलट से लेकर इंजीनियर तक सारी महिलाएं ही हों।
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