विज्ञापन
This Article is From Sep 18, 2015

डेंगू के इलाज के लिए नुस्खे : पपीते के पेड़ों से पत्ते गायब, बकरी के दूध की मांग

डेंगू के इलाज के लिए नुस्खे : पपीते के पेड़ों से पत्ते गायब, बकरी के दूध की मांग
प्रतीकात्मक फोटो
नई दिल्ली: दिल्ली में डेंगू ने लोगों को इस कदर परेशान कर दिया है कि लोग अब बकरी के दूध और पपीते के पत्तों के रस जैसे देशी नुस्खों पर ज्यादा भरोसा कर रहे हैं। हालात यह होते जा रहे हैं कि कहीं बकरी के दूध का रेट दो हजार रुपये लीटर तक पहुंच गया है तो कहीं पपीते के पेड़ के पत्ते गायब हो रहे हैं।

बीमारी है, पत्ते तोड़ने से इनकार कैसे करें?
महिपालपुर के पास रंगपुरी में रहने वाले नेत्रपाल के यहां पपीते के कई पेड़ हैं। इन पेड़ों से पत्ते करीब-करीब गायब हो चुके हैं। यहां तक कि लोग लगातार उनके पास पपीते के पत्ते लेने पहुंच रहे हैं। पत्ते लेने आए कैलाश नाथ झा ने बताया कि पपीते के पत्ते के रस में बहुत गुण हैं। उनके घर में दो लोग बीमार पड़े थे। उन्होंने अस्पताल ले जाने के बजाए दोनों को रस और गिलोय दिया। यहां तक कि वे आफिस के लोगों के लिए भी पपीते के पत्ते ले जाते हैं।

नेत्रपाल के मुताबिक उनके घर में पपीते के 14 पेड़ हैं लेकिन अब उनमें पत्ते नहीं हैं, सभी पत्ते लोग ले गए। मामला बीमारी का है इसलिए किसी को मना भी नहीं कर सकते।

बकरी के दूध के ऊंचे दामों के बावजूद मुफ्त सेवा की मिसाल
दिल्ली के कई इलाकों में बकरी वालों की चांदी हो गई है। बकरी के दूध के लिए लोग 2 हजार रुपये लीटर तक की कीमत चुका रहे हैं। आम दिनों में शायद ही यह दूध कोई खरीदता हो। एक तरफ जहां दूध के मनमाने दाम वसूले जा रहे हैं वहीं दूसरी तरफ समाज सेवा का जज्बा भी देखने को मिल रहा है। पुरानी दिल्ली के बाडा में अब्दुल वाहिद सभी को बकरी का दूध फ्री में दे रहे हैं।

कटिंग मशीन का काम करने वाले वाहिद के पास कई बकरियां हैं। वह बाजार से छोटी शीशी खरीदकर लाए हैं। जो भी उनसे दूध लेने आता है वह उसेवो फ्री में ताजा दूध देते हैं। वाहिद के मुताबिक यह इंसानियत की बात है। यह संतोष रहता है कि यह दूध किसी के काम आ रहा है। दूध लेने आई रेणू ने बताया कि उनके तीन बच्चों को डेंगू हुआ है और वे सुबह-शाम इन्हीं से बकरी का दूध लेकर जाती हैं।

NDTV.in पर ताज़ातरीन ख़बरों को ट्रैक करें, व देश के कोने-कोने से और दुनियाभर से न्यूज़ अपडेट पाएं

फॉलो करे:
डार्क मोड/लाइट मोड पर जाएं
Previous Article
PM मोदी जन्मदिन विशेष: जब नरेंद्र मोदी ने मां से नजदीकियों और अपने बचपन को याद कर सबको कर दिया था भावुक
डेंगू के इलाज के लिए नुस्खे : पपीते के पेड़ों से पत्ते गायब, बकरी के दूध की मांग
"तरंग शक्ति" मित्र देशों के बीच सहयोग और आपसी विश्वास बनाने का एक माध्यम : राजनाथ सिंह
Next Article
"तरंग शक्ति" मित्र देशों के बीच सहयोग और आपसी विश्वास बनाने का एक माध्यम : राजनाथ सिंह
Listen to the latest songs, only on JioSaavn.com