नई दिल्ली:
लोकसभा अध्यक्ष मीरा कुमार ने संसद का मॉनसून सत्र शुरू होने के दिन से ही सदन की कार्यवाही में लगातार बाधा डाल रहे आंध्र प्रदेश के 12 सदस्यों के नामों का जिक्र किया, जो वे पांच दिन के लिए सदन से निलंबित माने जाएंगे।
इन सदस्यों की नारेबाजी के चलते दो बार के स्थगन के बाद सदन की बैठक साढ़े 12 बजे शुरू होने पर अध्यक्ष ने नियम 374 (ए) के तहत इन सदस्यों के नामों को उल्लेखित किया। इन सदस्यों में चार तेलुगू देशम पार्टी और आठ कांग्रेस के हैं।
इस नियम के तहत उनके नाम लिए जाने के बाद अध्यक्ष ने कहा, "इसके साथ ही अब आप (जिनके नाम लिए गए) सदन से बाहर जाइए। इसके बाद उन्होंने कार्यवाही दिनभर के लिए स्थगित कर दी। नियम कहता है कि अध्यक्ष द्वारा इस नियम के तहत निलंबन किए जाने की घोषणा के बाद निलंबित सदस्य सभा के परिसर से तुरंत बाहर चला जाएगा।
गौरतलब है कि संसदीय कार्य मंत्री कमलनाथ ने गुरुवार को इनमें से 10 सदस्यों को निलंबित करने का एक प्रस्ताव सदन में पेश किया था, लेकिन समूचे विपक्ष द्वारा घोर विरोध किए जाने पर इसे आगे नहीं बढ़ाया जा सका था।
इन सदस्यों की नारेबाजी के चलते दो बार के स्थगन के बाद सदन की बैठक साढ़े 12 बजे शुरू होने पर अध्यक्ष ने नियम 374 (ए) के तहत इन सदस्यों के नामों को उल्लेखित किया। इन सदस्यों में चार तेलुगू देशम पार्टी और आठ कांग्रेस के हैं।
इस नियम के तहत उनके नाम लिए जाने के बाद अध्यक्ष ने कहा, "इसके साथ ही अब आप (जिनके नाम लिए गए) सदन से बाहर जाइए। इसके बाद उन्होंने कार्यवाही दिनभर के लिए स्थगित कर दी। नियम कहता है कि अध्यक्ष द्वारा इस नियम के तहत निलंबन किए जाने की घोषणा के बाद निलंबित सदस्य सभा के परिसर से तुरंत बाहर चला जाएगा।
गौरतलब है कि संसदीय कार्य मंत्री कमलनाथ ने गुरुवार को इनमें से 10 सदस्यों को निलंबित करने का एक प्रस्ताव सदन में पेश किया था, लेकिन समूचे विपक्ष द्वारा घोर विरोध किए जाने पर इसे आगे नहीं बढ़ाया जा सका था।
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