फाइल फोटो
नई दिल्ली:
वित्तीय साल 2017-18 का बजट बहुत खास है क्योंकि 2019 में लोकसभा का चुनाव होना है और सरकार के सामने ढेर सारी चुनौतियां हैं. यही वजह है कि इस बार प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और उनके ऑफिस के अधिकारी भी बजट में रुचि दिखा रहे हैं और नॉर्थ ब्लॉक स्थित वित्त मंत्रालय से लेकर प्रधानमंत्री आवास तक गहमागहमी साफ देखी जा सकती है. बैठकों का दौर लगातार जारी है और तीन-तीन घंटे लगातार चलती रहती हैं. इन बैठकों का दौर दिसंबर में ही शुरू हो गया था. पीएमओ और वित्त मंत्रालय से जुड़े बड़े अधिकारी बजट को लेकर अपनी सलाह दे रहे हैं.
संसद का शीतकालीन सत्र समाप्त, अधर में लटक गया तीन तलाक बिल
वित्त मंत्रालय से जुड़े अधिकारियों का कहना है कि इससे पहले बजट को लेकर प्रधानमंत्री कार्यालय इतना कभी सक्रिय नहीं रहा है. हालांकि प्रधानमंत्रियों और वित्तमंत्रियों के बीच बजट को लेकर बातचीत होती रही है लेकिन उसका दायरा बहुत ही सीमित होता था. लेकिन प्रधानमंत्री मोदी शुरू से ही बजट को लेकर अपनी रुचि दिखाते रहे हैं. लेकिन इस बार बैठकें कुछ ज्यादा ही लंबी चल रही हैं. सूत्रों के मुताबिक प्रधानमंत्री मोदी अधिकारियों के साथ बैठकें कर नौकरी, किसानों के मुद्दे, निजी निवेश मुद्दों जैसे मुद्दों पर चर्चा कर रहे हैं. बताया जा रहा है अगले हफ्ते प्रधानमंत्री मोदी अर्थव्यवस्था से जुड़े मुद्दों पर चर्चा के लिए कई अर्थशास्त्रियों से मुलाकात करेंगे जिनसें आर्थिक सलाहाकार समिति से जुड़े विशेषज्ञ भी हिस्सा लेंगे.
वीडियो : बजट सत्र में क्या पास होगा तीन तलाक बिल
आपको बता दें कि संसद का बजट सत्र 29 जनवरी से शुरू होगा, तथा केंद्रीय वित्तमंत्री अरुण जेटली 1 फरवरी को वित्तवर्ष 2017-18 का आम बजट पेश करेंगे. यह जानकारी संसदीय कार्य मंत्री अनंत कुमार ने शीतकालीन सत्र की समाप्ति के अवसर पर दी. केंद्रीय मंत्री ने बताया कि संसद का बजट सत्र लम्बा होता है, इसलिए दो हिस्सों में हुआ करता है. सत्र का पहला हिस्सा 29 जनवरी से 9 फरवरी तक चलेगा, और फिर अवकाश के बाद संसद 5 मार्च को बैठेगी और सत्र का यह हिस्सा 6 अप्रैल तक जारी रहेगा.
संसद का शीतकालीन सत्र समाप्त, अधर में लटक गया तीन तलाक बिल
वित्त मंत्रालय से जुड़े अधिकारियों का कहना है कि इससे पहले बजट को लेकर प्रधानमंत्री कार्यालय इतना कभी सक्रिय नहीं रहा है. हालांकि प्रधानमंत्रियों और वित्तमंत्रियों के बीच बजट को लेकर बातचीत होती रही है लेकिन उसका दायरा बहुत ही सीमित होता था. लेकिन प्रधानमंत्री मोदी शुरू से ही बजट को लेकर अपनी रुचि दिखाते रहे हैं. लेकिन इस बार बैठकें कुछ ज्यादा ही लंबी चल रही हैं. सूत्रों के मुताबिक प्रधानमंत्री मोदी अधिकारियों के साथ बैठकें कर नौकरी, किसानों के मुद्दे, निजी निवेश मुद्दों जैसे मुद्दों पर चर्चा कर रहे हैं. बताया जा रहा है अगले हफ्ते प्रधानमंत्री मोदी अर्थव्यवस्था से जुड़े मुद्दों पर चर्चा के लिए कई अर्थशास्त्रियों से मुलाकात करेंगे जिनसें आर्थिक सलाहाकार समिति से जुड़े विशेषज्ञ भी हिस्सा लेंगे.
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आपको बता दें कि संसद का बजट सत्र 29 जनवरी से शुरू होगा, तथा केंद्रीय वित्तमंत्री अरुण जेटली 1 फरवरी को वित्तवर्ष 2017-18 का आम बजट पेश करेंगे. यह जानकारी संसदीय कार्य मंत्री अनंत कुमार ने शीतकालीन सत्र की समाप्ति के अवसर पर दी. केंद्रीय मंत्री ने बताया कि संसद का बजट सत्र लम्बा होता है, इसलिए दो हिस्सों में हुआ करता है. सत्र का पहला हिस्सा 29 जनवरी से 9 फरवरी तक चलेगा, और फिर अवकाश के बाद संसद 5 मार्च को बैठेगी और सत्र का यह हिस्सा 6 अप्रैल तक जारी रहेगा.
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