नई दिल्ली:
नॉर्वे में अपने माता−पिता से अलग किए गए अभिज्ञान और ऐश्वर्या के मामले में विदेश मंत्रालय ने वहां के भारतीय दूतावास से रिपोर्ट मांगी है। सरकार ने यह कदम इस खबर के बाद उठाया कि नॉर्वे ने दोनों बच्चों को वहीं बसाने के लिए उनकी माता−पिता की सहमति मांगी है।
विदेश मंत्रालय ने नॉर्वे स्थित भारतीय दूतावास से इस खबर की पुष्टि करने और रिपोर्ट देने का कहा है। बच्चों के माता−पिता अनुरूप और सागरिका भट्टाचार्य का कहना है कि वह अपने बच्चों को जल्द से जल्द वापस चाहते हैं और वे उन्हें भारत वापस लाना चाहते हैं। दोनों बच्चों को पिछले साल मई में प्रोटेक्टिव केयर के तहत नॉर्वे के चाइल्ड वेल्फेयर सर्विसेज ने उनके माता−पिता से अलग कर दिया था। बच्चों के माता−पिता पर उनकी सही तरीके से देखभाल नहीं करने का आरोप लगाया गया है।
विदेश मंत्रालय ने नॉर्वे स्थित भारतीय दूतावास से इस खबर की पुष्टि करने और रिपोर्ट देने का कहा है। बच्चों के माता−पिता अनुरूप और सागरिका भट्टाचार्य का कहना है कि वह अपने बच्चों को जल्द से जल्द वापस चाहते हैं और वे उन्हें भारत वापस लाना चाहते हैं। दोनों बच्चों को पिछले साल मई में प्रोटेक्टिव केयर के तहत नॉर्वे के चाइल्ड वेल्फेयर सर्विसेज ने उनके माता−पिता से अलग कर दिया था। बच्चों के माता−पिता पर उनकी सही तरीके से देखभाल नहीं करने का आरोप लगाया गया है।
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