बहुजन समाजवादी पार्टी (बसपा) अध्यक्ष मायावती (Mayawati) ने बीजेपी की अगुवाई वाली मोदी सरकार पर दक्षिण एशियाई देशों के संगठन दक्षेस को नजरंदाज करने का आरोप लगाया है. मायावती ने कहा कि यह नीति भारत के हित में नहीं है और पड़ोसी के साथ झगड़ा करके कोई खुश नहीं रह सकता. उन्होंने इस संबंध में ट्वीट भी किया है. मायावती ने शनिवार को ट्विटर पर लिखा, ‘भारत में नेपाल के राजदूत की यह बात समझदारी वाली है कि बिमस्टेक (BIMSTEC) संगठन दक्षिण एशियाई देशों के सार्क (SAARC) का विकल्प नहीं हो सकता.' उन्होंने सरकार को सुझाव देते हुये कहा, ‘पड़ोसी से झगड़ा करके कोई भी खुश नहीं रह सकता. खुद पाकिस्तान इसकी मिसाल है, जिसके रिश्ते उसके पड़ोसी देशों के साथ अच्छे नहीं है और वह गर्त में जा रहा है.'
भारत में नेपाल के राजदूत की यह बात समझदारी वाली है कि 'बिमस्टेक' संगठन दक्षिण ऐशियाई देशों के 'सार्क' का विकल्प नहीं हो सकता। पड़ोसी से झगड़ा करके कोई भी खुश नहीं रह सकता। खुद पाकिस्तान इसकी मिसाल है जिसके रिश्ते उसके पड़ोसी देशों के साथ अच्छे नहीं है और वह गर्क में जा रहा है।
— Mayawati (@Mayawati) June 8, 2019
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मायावती का इशारा 30 मई को प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के शपथ ग्रहण समारोह में दक्षेस (सार्क) देशों के बजाय बिम्सटेक के सदस्य देशों को आमंत्रित करने की ओर है. बता दें तकनीकि और आर्थिक सहयोग के लिए गठित संगठन बिम्सटेक में भारत के अलावा दक्षिण एशिया के छह देश सदस्य है. इनमें बांग्लादेश, भूटान, भारत, म्यांमार, नेपाल, थाईलैंड और श्रीलंका शामिल हैं. वहीं सार्क देशों में भारत, पाकिस्तान, बांग्लादेश, श्रीलंका, नेपाल, भूटान और मालदीव शामिल हैं.
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बता दें पाकिस्तान के प्रधानमंत्री इमरान खान ने एक रोज पहले ही भारत के पीएम नरेंद्र मोदी को दूसरे बार चुने जाने पर पत्र लिखकर बधाई दी है. इस पत्र में उन्होंने भारत और पाकिस्तान के बीच के मसलों को बातचीत से हल करने का आग्रह किया है. उन्होंने कहा कि कश्मीर का मुद्दा दोनों देश बातचीत के साथ हल कर सकते हैं.
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