याकूब मेमन की फाइल फोटो
मुंबई:
शाम को भाइयों से मुलाकात के बाद याक़ूब मेमन भोजन करने के बाद सो गया। उसे रात में दो बार उठाया गया, एक बार राज्यपाल के फैसले की कॉपी और दूसरी बार राष्ट्रपति के फैसले की कॉपी देने के लिए।
याक़ूब ने सोने के पहले सुबह खाने के लिए शीरा यानी सूजी का हलवा मांगा था। सुबह नहाने के बाद उसे सूजी का हलवा और चाय दी गई। उसके बाद याक़ूब का ब्लड प्रेशर चेक किया गया।
सुबह 6.45 को उसे कोठरी से बाहर निकाले जाने के पहले दोनों हाथों में हथकड़ी पहनाई गई। चेहरे पर नकाब डाला गया और उसे फ़ांसी यार्ड में ले जाया गया। वहां जेल विभाग के 4 बड़े आला अफसर, मजिस्ट्रेट और डॉक्टर सहित 10 जेल कर्मी भी मौजूद थे।
फांसी के बाद वहां मौजूद डॉक्टर ने याक़ूब के शरीर की जांच कर उसे मृत घोषित कर दिया। इसके बाद शव को जेल के अस्पताल में पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया गया।
सुबह 9 बजे के करीब जब सुलेमान मेमन जेल पहुंचे तो उन्हें याक़ूब के पास मौजूद तक़रीबन 3500 रुपये सौंप दिए गए और शव भी सौंप दिया गया।
याक़ूब ने सोने के पहले सुबह खाने के लिए शीरा यानी सूजी का हलवा मांगा था। सुबह नहाने के बाद उसे सूजी का हलवा और चाय दी गई। उसके बाद याक़ूब का ब्लड प्रेशर चेक किया गया।
सुबह 6.45 को उसे कोठरी से बाहर निकाले जाने के पहले दोनों हाथों में हथकड़ी पहनाई गई। चेहरे पर नकाब डाला गया और उसे फ़ांसी यार्ड में ले जाया गया। वहां जेल विभाग के 4 बड़े आला अफसर, मजिस्ट्रेट और डॉक्टर सहित 10 जेल कर्मी भी मौजूद थे।
फांसी के बाद वहां मौजूद डॉक्टर ने याक़ूब के शरीर की जांच कर उसे मृत घोषित कर दिया। इसके बाद शव को जेल के अस्पताल में पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया गया।
सुबह 9 बजे के करीब जब सुलेमान मेमन जेल पहुंचे तो उन्हें याक़ूब के पास मौजूद तक़रीबन 3500 रुपये सौंप दिए गए और शव भी सौंप दिया गया।
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