राहुल गांधी ने पाकिस्तान को लिया आड़े हाथ, कहा- कश्मीर में पाक फैला रहा है हिंसा

राहुल गांधी ने कहा कि जम्मू-कश्मीर में जो हिंसा हो रही है, उसका पाकिस्तान समर्थन कर रहा है.

खास बातें

  • जम्मू-कश्मीर पर राहुल गांधी का बयान
  • कश्मीर को बताया भारत का आंतरिक मामला
  • बोले- किसी की दखल की जरूरत नहीं
नई दिल्ली:

कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी ने जम्मू-कश्मीर को भारत का आंतरिक मामला करार दिया है. इसके साथ ही उन्होंने पाकिस्तान को आड़े हाथ भी लिया है. उन्होंने कहा कि जम्मू-कश्मीर (Jammu Kashmir) में जो हिंसा हो रही है, उसका पाकिस्तान समर्थन कर रहा है. राहुल गांधी (Rahul Gandhi) ने बुधवार को ट्वीट करते हुए लिखा, 'मैं कई मुद्दों पर सरकार से असहमत हूं. लेकिन मैं यह स्पष्ट कर देना चाहता हूं कि कश्मीर भारत का आंतरिक मामला है. इस मामले में पाकिस्तान और अन्य किसी भी देश के हस्तक्षेप की कोई जगह नहीं है. जम्मू-कश्मीर में हिंसा हो रही है. इस हिंसा का पाकिस्तान समर्थन कर रहा है. पाकिस्तान पूरी दुनिया में आंतकवाद का पोषक है.'

बता दें, जम्मू कश्मीर कांग्रेस ने नियंत्रण रेखा पर लगातार संघर्ष विराम उल्लंघनों के लिए मंगलवार को पाकिस्तान की निंदा की और मांग की कि पड़ोसी देश को मुंहतोड़ जवाब दिया जाए. पुंछ और राजौरी सीमावर्ती जिलों में नियंत्रण रेखा (एलओसी) के पास 17 अगस्त से सीमापार गोलीबारी और गोलाबारी में तीन सैनिक और एक आम नागरिक की मौत हो गयी तथा चार जवान घायल हो गये.

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जम्मू कश्मीर प्रदेश कांग्रेस कमेटी के मुख्य प्रवक्ता रवींद्र शर्मा ने एक बयान में कहा, ‘राजौरी और पुंछ के अलग-अलग इलाकों में पाकिस्तान से लगातार सीमापार गोलाबारी की घटनाएं बड़ी चिंता का विषय हैं.' उन्होंने कहा, ‘पिछले कुछ सप्ताह में सीमापार गोलाबारी तेज हो गयी है.' शर्मा ने पाकिस्तान की करतूत पर प्रभावी तथा मुंहतोड़ जवाब देने तथा सीमापार से घुसपैठ की सभी कोशिशों को नाकाम करने की मांग की.

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वहीं, जम्मू कश्मीर को विशेष दर्जा देने वाले संविधान के अनुच्छेद 370 के ज्यादातर प्रावधानों को रद्द करने के केंद्र के फैसले को चुनौती देने वाली कई सारी याचिकाओं पर उच्चतम न्यायालय द्वारा बुधवार को सुनवाई करने का कार्यक्रम है. जम्मू कश्मीर में संचार पर पाबंदियों सहित अन्य प्रतिबंधों को हटाने की मांग करते हुए ये याचिकाएं दायर की गई हैं. दरअसल, संचार पर पाबंदियां पत्रकारों के पेशेवर कर्तव्यों को पूरा करने की राह में बाधक बन रही हैं. 

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अनुच्छेद 370 रद्द करने के फैसले के खिलाफ याचिका अधिवक्ता एमएल शर्मा ने दायर की है, जबकि नेशनल कांफ्रेंस सांसद मोहम्मद अकबर लोन और न्यायमूर्ति (सेवानिवृत्त) हसनैन मसूदी ने जम्मू कश्मीर के संवैधानिक दर्जे में केंद्र द्वारा किये गए बदलावों को चुनौती दी है. पूर्व आईएएस अधिकारी शाह फैसल, जेएनयू की पूर्व छात्रा शेहला रशीद और राधा कुमार जैसे प्रख्यात हस्तियों सहित अन्य भी इसमें शामिल हैं. माकपा नेता सीताराम येचुरी ने भी एक याचिका दायर कर अपनी पार्टी के नेता मोहम्मद तारिगामी को पेश करने की मांग की है, जिन्हें अधिकारियों ने हिरासत में ले लिया है. अनुच्छेद 370 से जुड़े सभी विषय और इसके बाद के घटनाक्रम प्रधान न्यायाधीश रंजन गोगोई की अध्यक्षता वाली पीठ के समक्ष सुनवाई के लिए सूचीबद्ध हैं.

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