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This Article is From Dec 13, 2023

भजन लाल शर्मा: नए विधायकों के फोटो सेशन में पीछे की कतार में, कुछ ही मिनट बाद राजस्थान की राजनीति के केंद्र में

भरतपुर की एक ग्राम पंचायत के सरपंच रूप में अपना राजनीतिक सफर शुरू करने वाले भजनलाल शर्मा राजस्थान के अगले मुख्यमंत्री होंगे

भजन लाल शर्मा: नए विधायकों के फोटो सेशन में पीछे की कतार में, कुछ ही मिनट बाद राजस्थान की राजनीति के केंद्र में
भजन लाल शर्मा राजस्थान के अगले मुख्यमंत्री होंगे.
जयपुर:

मंगलवार दोपहर तक किसी को अंदाजा नहीं था कि नवनिर्वाचित विधायकों के फोटो सेशन में पीछे की एक कतार में कोने की तरफ खड़ा व्यक्ति कुछ ही मिनट बाद राज्य की राजनीति के केंद्र में होगा. भजनलाल शर्मा की मंगलवार की कहानी कुछ ऐसी ही रही. भरतपुर के एक ग्राम पंचायत के सरपंच रहे शर्मा राजस्थान के आगामी मुख्यमंत्री होंगे.

हाल ही के विधानसभा चुनाव में बहुमत पाने वाली भारतीय जनता पार्टी (BJP) विधायक दल की मंगलवार को यहां पार्टी कार्यालय में बैठक हुई. इसमें पूर्व मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे ने विधायक दल के नेता के रूप में शर्मा के नाम का प्रस्ताव रखा जिसे विधायक दल ने स्वीकार कर लिया. इस तरह से पहली बार विधायक चुने गए भजनलाल शर्मा सामान्य विधायक से राजस्थान के भावी मुख्यमंत्री हो गए.

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पार्टी के प्रदेश महामंत्री शर्मा सुर्खियों से दूर रहकर काम करने के लिए जाने जाते हैं. शर्मा राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) से जुड़े रहे हैं और 1992 में श्रीराम जन्मभूमि भूमि आंदोलन के दौरान जेल भी जा चुके हैं.

शर्मा के आधिकारिक जीवन परिचय के अनुसार 34 साल के सक्रिय राजनीतिक करियर के दौरान उन्होंने भारतीय जनता युवा मोर्चा (भाजयुमो) और पार्टी में संगठनात्मक स्तर पर विभिन्न पदों पर कार्य किया है. 54 वर्षीय शर्मा को समर्पित पार्टी कार्यकर्ता के रूप में देखा जाता है और वह सुर्खियों से दूर रहना पसंद करते हैं.

शर्मा ने अपनी शुरुआती पढ़ाई भरतपुर जिले के अटारी गांव और नदबई कस्बे में पूरी की. इसके बाद वह अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद (एबीवीपी) में शामिल हो गए और नदबई व भरतपुर इलाके में सामाजिक मुद्दों पर काम करते रहे.

शर्मा ने 1990 में एबीवीपी के कश्मीर मार्च में सक्रिय रूप से भाग लिया और 100 अन्य कार्यकर्ताओं के साथ उधमपुर तक मार्च कर गिरफ्तारी दी. इसके अनुसार 1992 में श्रीराम जन्म भूमि आंदोलन के दौरान वे जेल गए.

1991-92 के दौरान उन्हें भाजयुमो में जिम्मेदारी मिली और उनके राजनीतिक करियर ने नई रफ्तार पकड़ी. वह पहली बार 27 साल की उम्र में सरपंच चुने गए थे. वह दो बार सरपंच और एक बार पंचायत समिति सदस्य चुने गए.

वह भाजपा के भरतपुर जिला सचिव और जिला अध्यक्ष बनने से पहले तीन बार भाजयुमो जिला अध्यक्ष रहे. अपने गृह नगर भरतपुर को छोड़कर, शर्मा ने जयपुर मुख्यालय में प्रदेश उपाध्यक्ष के रूप में पार्टी का प्रतिनिधित्व किया और वर्तमान में पार्टी के प्रदेश महामंत्री हैं.

शर्मा के पास राजनीति विज्ञान में स्नातकोत्तर की डिग्री है और उनका व्यवसाय कृषि और खनिज आपूर्ति है.

राज्य में विधानसभा की 200 में 199 सीटों पर हुए चुनाव में भाजपा को 115 सीटों पर जीत मिली है.

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