टाटा संस ने साइरस को दिया जवाब- समूह को बदनाम करने की कोशिश को 'अक्षम्‍य' कहा

टाटा संस ने साइरस को दिया जवाब- समूह को बदनाम करने की कोशिश को 'अक्षम्‍य' कहा

खास बातें

  • टाटा संस ने मिस्‍त्री को दिया जवाब
  • समूह चलाने के लिए 'पूर्ण अधिकार' दिए गए थे
  • साइरस को सोमवार को पद से हटा दिया गया
मुंबई:

साइरस मिस्‍त्री के आरोपों का जवाब देते हुए गुरुवार को टाटा संस ने एक बयान में कहा कि उनको भारत के इस सबसे बड़े समूह को चलाने के लिए 'पूर्ण अधिकार' दिए गए थे. दरअसल इससे पहले बोर्ड सदस्‍यों को लिखे ईमेल में साइरस ने आरोप लगाया था कि रतन टाटा के लगातार हस्‍तक्षेप की वजह से चेयरमैन के रूप में उनकी हैसियत कमजोर हुई.

इसी का जवाब देते हुए टाटा संस ने कहा कि साइरस मिस्‍त्री ने अपनी लंबी ईमेल में जिन समस्‍याओं की तरफ इशारा किया है, उनसे संबंधित निर्णयों में पिछले एक दशक से विभिन्‍न भूमिकाओं में वह खुद भी शामिल रहे हैं.

गौरतलब है कि साइरस मिस्‍त्री को सोमवार को उनके पद से हटा दिया गया. उनका परिवार शपूरजी पलोनजी ग्रुप का मालिक है जो 103 अरब डॉलर के टाटा ग्रुप में सबसे बड़े शेयरधारकों में शामिल है.

इसके जवाब में साइरस मिस्‍त्री ने मंगलवार को बोर्ड मेंबरों को पांच पेज का ईमेल लिखा जोकि बुधवार को सार्वजनिक हो गया. उसमें मिस्‍त्री ने लिखा कि जिस तरह से उनको पद से हटाया गया, उससे वह स्‍तब्‍ध हैं और उन्‍होंने इस कार्रवाई को अवैध करार दिया. साइरस ने 2012 में चेयरमैन के रूप में रतन टाटा का स्‍थान लिया था.

इसके जवाब में टाटा संस ने गुरुवार को अपने बयान में कहा, ''यह बेहद दुखद का विषय है कि टाटा संस बोर्ड मेंबरों को लिखे गोपनीय खत को इस तरह से अमर्यादित ढंग से सार्वजनिक कर दिया गया.''

इसके साथ ही जोड़ा कि साइरस को कंपनी की इमेज को धक्‍का पहुंचाने का प्रयास अक्षम्‍य है. बोर्ड ने कहा कि मिस्‍त्री के निराधार आरोपों का जवाब देने के लिए संबंधित दस्‍तावेजों को ''उपयुक्‍त मंचों'' पर जारी किया जाएगा.


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