शिवसेना अपने मुखपत्र सामना के माध्यम से उत्तेजक लेख लिखता रहा है (फाइल फोटो)
मुंबई:
सीमा पर दो भारतीय जवानों के सिर काटे जाने की घटना के बाद बढ़े हुए तनाव के बीच शिवसेना ने कहा कि पाकिस्तान के खिलाफ केवल आक्रोश में बयान देना काफी नहीं है और उसे अब कुचलने की जरूरत है.
शिवसेना के मुखपत्र ‘सामना’ में तीखे संपादकीय में पार्टी ने लिखा कि भारत ने 26-11 के आतंकी हमले, पठानकोट एयरबेस हमले, उड़ी हमले और हाल ही में दो जवानों के सिर काटे जाने की घटना में आतंकी हाफिज सईद की संलिप्तता को लेकर पाकिस्तान को पुख्ता सबूत दिए हैं लेकिन पड़ोसी देश ने अपनी सभी जिम्मेदारियों से कन्नी काटी है.
पत्र में कहा गया कि पाकिस्तान कार्रवाई करने की बजाए भारत की खिल्ली उड़ा रहा है और कह रहा है कि यहां होने वाली हर बात के लिए भारत की पाकिस्तान को जिम्मेदार ठहराने की आदत है.
शिवसेना के मुखपत्र के अनुसार, ‘कई साल से यह सब चल रहा है. सब जानते हैं कि आईएसआई, पाकिस्तानी सेना और वहां के आतंकी संगठन भारत में आतंकवादी हमलों के पीछे हैं. जब अब्दुल बासित को विदेश मंत्रालय में तलब किया गया तब यदि शहीद जवानों के परिवारों को बुलाया जाता तो वे उनकी खाल उधेड़ देते.’
इसमें लिखा है, ‘‘अब पाकिस्तान के लिए बेशर्मी जैसे शब्दों का लगातार इस्तेमाल ही काफी नहीं होगा. उसे कुचलने की जरूरत है. देश एक भारतीय जवान की शहादत के लिए 50 पाकिस्तानी जवानों के सिर की अपेक्षा रखता है लेकिन, यहां ऐसा लगता है कि केवल बासित को बुलाकर और उन्हें चेतावनी देकर बदला लिया जाता है.’
(इनपुट भाषा से भी)
शिवसेना के मुखपत्र ‘सामना’ में तीखे संपादकीय में पार्टी ने लिखा कि भारत ने 26-11 के आतंकी हमले, पठानकोट एयरबेस हमले, उड़ी हमले और हाल ही में दो जवानों के सिर काटे जाने की घटना में आतंकी हाफिज सईद की संलिप्तता को लेकर पाकिस्तान को पुख्ता सबूत दिए हैं लेकिन पड़ोसी देश ने अपनी सभी जिम्मेदारियों से कन्नी काटी है.
पत्र में कहा गया कि पाकिस्तान कार्रवाई करने की बजाए भारत की खिल्ली उड़ा रहा है और कह रहा है कि यहां होने वाली हर बात के लिए भारत की पाकिस्तान को जिम्मेदार ठहराने की आदत है.
शिवसेना के मुखपत्र के अनुसार, ‘कई साल से यह सब चल रहा है. सब जानते हैं कि आईएसआई, पाकिस्तानी सेना और वहां के आतंकी संगठन भारत में आतंकवादी हमलों के पीछे हैं. जब अब्दुल बासित को विदेश मंत्रालय में तलब किया गया तब यदि शहीद जवानों के परिवारों को बुलाया जाता तो वे उनकी खाल उधेड़ देते.’
इसमें लिखा है, ‘‘अब पाकिस्तान के लिए बेशर्मी जैसे शब्दों का लगातार इस्तेमाल ही काफी नहीं होगा. उसे कुचलने की जरूरत है. देश एक भारतीय जवान की शहादत के लिए 50 पाकिस्तानी जवानों के सिर की अपेक्षा रखता है लेकिन, यहां ऐसा लगता है कि केवल बासित को बुलाकर और उन्हें चेतावनी देकर बदला लिया जाता है.’
(इनपुट भाषा से भी)
NDTV.in पर ताज़ातरीन ख़बरों को ट्रैक करें, व देश के कोने-कोने से और दुनियाभर से न्यूज़ अपडेट पाएं