पोरबंदर से क़रीब 365 किलोमीटर दूर कराची से आ रही एक नाव में विस्फोट को लेकर हो रही राजनीति और कांग्रेस के सवालों पर रक्षामंत्री मनोहर पर्रिकर ने जवाब दिया है। पर्रिकर ने कहा कि नाव पर सवार लोग संदिग्ध आतंकी थे तभी उन्होंने नाव को उड़ाकर खुदकुशी की। अगर वो आतंकियों के जगह तस्कर होते तो उन्हें खुद को उड़ाने की क्या ज़रूरत थी।
उन्होंने यह भी कहा कि बोट के बारे में जानकारी मिलने के तुरंत बाद कोस्ट कार्ड हरकत में आ गई थी और इस पर निगरानी रखी जा रही थी। दरअसल कराची से आ रही इस बोट का जब कोस्टकार्ड ने पीछा किया तो इसे विस्फोट कर उड़ा दिया गया था। ये नाव कैसे तबाह हो गई। इसको लेकर कांग्रेस ने सवाल उठाए थे। कांग्रेस ने आरोप लगाया है कि सरकार बिना सबूत के घटना को बड़े आंतकी हमले की आशंका के रूप मं पेश कर रही है।
हालांकि, सुरक्षा एजेंसियों का कहना है कि ये नाव और उसमें सवार आतंकी हमले की नीयत से भारत आ रहे थे।
संदिग्ध नौका पर सियासत
रक्षा मंत्री का जवाब इस मायने में अहमियत रखता है कि कांग्रेस ने सवाल उठाया था कि किस आधार पर ये कहा जा सकता है कि नाव में आतंकी ही थे। इस पर बीजेपी को सफाई देनी चाहिए। इससे तिलमिलाई बीजेपी ने कांग्रेस पर पाकिस्तान का साथ देने का आरोप मढ़ दिया। वैसे राष्ट्रीय सुरक्षा के लिहाज़ से इतने संवेदनशील मसलों पर सियासी बयानबाज़ी पर सुरक्षा मामलों के जानकार ऐतराज़ जता रहे हैं।
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