विज्ञापन
This Article is From Mar 15, 2019

लोकपाल : मल्लिकार्जुन खड़गे ने ठुकराया मोदी सरकार का प्रस्ताव, कहा- ऐसे तो नहीं शामिल हो सकता पैनल में

कांग्रेस के वरिष्ठ नेता मल्लिकार्जुन खड़गे ने शुक्रवार को मोदी सरकार को सातवीं बार लिखकर लोकपाल की सलेक्शन कमेटी में 'विशेष आमंत्रित सदस्य' के तौर पर शामिल होने का ऑफर ठुकरा दिया.

लोकपाल : मल्लिकार्जुन खड़गे ने ठुकराया मोदी सरकार का प्रस्ताव, कहा- ऐसे तो नहीं शामिल हो सकता पैनल में
कांग्रेस नेता मल्लिकार्जुन खड़गे की फाइल फोटो.
नई दिल्ली:

कांग्रेस के वरिष्ठ नेता मल्लिकार्जुन खड़गे ने शुक्रवार को मोदी सरकार को सातवीं बार लिखकर लोकपाल की सलेक्शन कमेटी में 'विशेष आमंत्रित सदस्य' के तौर पर शामिल होने का ऑफर ठुकरा दिया. सरकार ने मल्लिकार्जुन खड़गे को तब इसके लिए संपर्क किया था, जब हाल में सुप्रीम कोर्ट ने लोकपाल की नियुक्ति के लिए सलेक्शन कमेटी की बैठक के लिए सरकार को10 दिन का वक्त दिया था. अब डेडलाइन भी बीत चुकी है. माना जा रहा है कि सलेक्शन कमेटी की आज लोकपाल के चयन के लिए बैठक होगी.मल्लिकार्जुन खड़गे ने पीएम नरेंद्र मोदी को लिखे पत्र में कहा है कि एक विशेष आमंत्रित सदस्य के रूप में लोकपाल के चयन में भागीदारी का कोई अधिकार नहीं होता.इसलिए हम यह ऑफर नहीं स्वीकार कर सकते, जिसमें इतने गंभीर मामले में विपक्ष को 'खामोश' रहना पड़े. 

यह भी पढ़ें- अन्ना हजारे ने सातवें दिन खत्म किया अनशन, CM फडणवीस से मिला लिखित आश्वासन

लोकपाल की नियुक्ति वाले पैनल में बतौर नेता प्रतिपक्ष या फिर विपक्ष की सबसे बड़ी पार्टी के नेता के रूप में जगह न मिलना विवाद का विषय रहा है. नेता ने आरोप लगाया है कि सरकार पिछले पांच वर्षों से लोकपाल नियुक्ति न करने के बहाने चयन समिति की बैठक नहीं कर रही है. 2014 के लोकसभा चुनाव में सिर्फ 44 सीटें जीतने के कारण कांग्रेस को सदन में आधिकारिक रूप से नेता प्रतिपक्ष का भी पद नहीं मिला. क्योंकि कुल 543 में से दस प्रतिशत सीटें लाना इसके लिए जरूरी होता है. इसके चलते उन महत्वपूर्ण पैनल के गठन में तकनीकी समस्या पैदा हो गई, जिसके जरिए लोकपाल और सीबीआई के डायरेक्टर जैसे पदों पर नियुक्तियां होती हैं. 

यह भी पढ़ें- अन्ना हजारे का अल्टीमेटम: 30 जनवरी तक नियुक्त नहीं हुआ लोकपाल तो भूख हड़ताल पर बैठ जाऊंगा

पहले क्या था सुप्रीम कोर्ट ने
लोकपाल की नियुक्ति के मामले में सुप्रीम कोर्ट ने लोकपाल व सदस्यों के लिए नामों की सूची तैयार करने की डेडलाइन तय की है. कोर्ट ने सर्च कमेटी को फरवरी के अंत तक नामों की सूची को अंतिम रूप देने के लिए आग्रह किया है.सुप्रीम कोर्ट ने लोकपाल पर खोजबीन समिति के लिए देश के पहले लोकपाल की नियुक्ति के लिए नामों के पैनल की अनुशंसा करने की समय सीमा फरवरी के अंत तक निर्धारित की है. खोजबीन समिति के प्रमुख सुप्रीम कोर्ट के पूर्व न्यायाधीश (सेवानिवृत्त) रंजन प्रकाश देसाई हैं.

चीफ जस्टिस रंजन गोगोई की अध्यक्षता वाली पीठ ने केंद्र को निर्देश दिया कि खोजबीन समिति को आवश्यक सुविधाएं और श्रम बल मुहैया कराया जाए ताकि वह अपना काम पूरा कर सके. पीठ में न्यायमूर्ति एलएन राव और न्यायमूर्ति एसके कौल भी शामिल थे. मामले की अगली सुनवाई सात मार्च को होगी. केंद्र की तरफ से पेश हुए अटॉर्नी जनरल के के वेणुगोपाल ने पीठ से कहा कि आधारभूत ढांचे की कमी और श्रम बल जैसी कुछ समस्याएं हैं जिस कारण से खोजबीन समिति मुद्दे पर विचार-विमर्श नहीं कर सकी. उच्चतम न्यायालय ने चार जनवरी को केंद्र सरकार को लोकपाल की नियुक्ति के लिए अभी तक उठाए गए कदमों के बारे में हलफनामा देने के निर्देश दिए थे. न्यायालय ने इस बारे में धीमी प्रगति को लेकर नाखुशी जताई थी.

वीडियो- लोकपाल समिति की बैठक में नहीं गए कांग्रेस नेता मल्लिकार्जुन खड़गे 

NDTV.in पर ताज़ातरीन ख़बरों को ट्रैक करें, व देश के कोने-कोने से और दुनियाभर से न्यूज़ अपडेट पाएं

फॉलो करे:
डार्क मोड/लाइट मोड पर जाएं
Previous Article
जम्‍मू-कश्‍मीर विधानसभा चुनाव : पहले चरण में किस पार्टी में कितने करोड़पति उम्‍मीदवार? जानिए कितनी है औसत संपत्ति
लोकपाल : मल्लिकार्जुन खड़गे ने ठुकराया मोदी सरकार का प्रस्ताव, कहा- ऐसे तो नहीं शामिल हो सकता पैनल में
कंगना रनौत को 'इमरजेंसी' पर राहत नहीं, 6 सितंबर को फिल्म नहीं होगी रिलीज
Next Article
कंगना रनौत को 'इमरजेंसी' पर राहत नहीं, 6 सितंबर को फिल्म नहीं होगी रिलीज
Listen to the latest songs, only on JioSaavn.com