प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (Prime Minister Narendra Modi) ने शनिवार को राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (NDA) की बैठक में कहा कि कोरोना वायरस महामारी (Corona Virus Epidemic) के बाद एक नई विश्व व्यवस्था आकार लेगी और इसमें भारत की प्रमुख भूमिका होगी. केंद्रीय संसदीय कार्यमंत्री प्रह्लाद जोशी (Prahlad Joshi) ने बैठक के बारे में ट्वीट करके बताया कि, "प्रधानमंत्री मोदी ने सांसदों को संबोधित करते हुए कहा है कि महामारी के बाद एक नई विश्व व्यवस्था आकार लेने वाली है और भारत उसमें बड़ी भूमिका निभाएगा." जोशी के मुताबिक, बैठक में पीएम ने कहा कि यह दशक महत्वपूर्ण है, यह उसी तरह का है, जो दूसरे विश्व युद्ध के बाद का था. ऐसे में हम पहले की तरह मूकदर्शक नहीं बने रह सकते हैं. हम इस मौके पर उभरेंगे और वसुधैव कुटुंबकम के आदर्श व परंपरा के आधार पर आगे बढ़ेंगे.
Addressing the meeting of NDA leaders, Prime Minister Shri @NarendraModi ji today said that after the pandemic, a new world order is about to take shape & India has a big role to play in the emerging new world order.
— Pralhad Joshi (@JoshiPralhad) January 30, 2021
He said this decade is a very important one, just like the decade after 2nd world war, unlike earlier, we are not going to be a mute spectator. We will rise to the occasion based on our traditions and ideals of Vasudhaiva Kutumbakam, the Prime Minister added.
— Pralhad Joshi (@JoshiPralhad) January 30, 2021
वहीं, बैठक में किसानों के मुद्दे पर हुई चर्चा की जानकारी देते हुए उन्होंने कहा कि, “प्रधानमंत्री ने विश्वास दिलाया कि केंद्र सरकार किसानों के मुद्दे पर खुले मन से आगे बढ़ रही है.'' जोशी ने कहा, ‘‘प्रधानमंत्री ने बैठक में कहा कि केंद्र का रुख वही है जो 22 जनवरी को किसान नेताओं और केंद्र के बीच हुई आखिरी बैठक में था तथा कृषि मंत्री (नरेंद्र तोमर) की ओर से दिया गया प्रस्ताव आज भी बरकरार है. मोदी जी ने वही बात कही जो तोमर जी ने कहा था कि बातचीत में सिर्फ एक फोन कॉल की दूरी है.'' संसद की कार्यवाही सुचारू रूप से चलने की जरूरत पर जोर देते हुए प्रधानमंत्री ने कहा कि सदनों में व्यवधान पैदा होने से छोटे दलों को सबसे ज्यादा नुकसान झेलना पड़ता है क्योंकि उन्हें अपने मुद्दे उठाने का अवसर नहीं मिलता.
मोदी की टिप्पणियों का हवाला देते हुए जोशी ने कहा, ‘‘यह बड़े दलों को सुनिश्चित करना है कि संसद सुचारू रूप से चले और कोई व्यवधान पैदा न हो तथा छोटे दल संसद में अपने विचार रख सकें.'' संसदीय कार्य मंत्री के मुताबिक, प्रधानमंत्री ने अमेरिका के कैलीफोर्निया में राष्ट्रपिता महात्मा गांधी की प्रतिमा क्षतिग्रस्त किए जाने की भी निंदा की. सरकार ने यह सर्वदलीय बैठक बजट सत्र के दौरान संसद की कार्यवाही सुचारू रूप से चलाने और विधायी कार्यों के संदर्भ में चर्चा के मकसद से बुलाई थी. विभिन्न दलों के नेताओं ने इस बैठक में अलग-अलग मुद्दे उठाए.
बैठक में राज्यसभा में नेता प्रतिपक्ष और कांग्रेस के वरिष्ठ नेता गुलाम नबी आजाद, लोकसभा में तृणमूल कांग्रेस के नेता सुदीप बंदोपाध्याय, शिरोमणि अकाली दल के नेता बलविंदर सिंह भूंदड़, शिवसेना के विनायक राउत और कई अन्य नेता शामिल हुए. सभी प्रमुख विपक्षी दलों ने संसद में किसानों के मुद्दों पर चर्चा की मांग की. तकरीबन सभी दलों ने किसानों की ट्रैक्टर परेड के दौरान हुई हिंसा और लालकिले पर धार्मिक ध्वज फहराए जाने की निंदा की तथा इस बात पर जोर दिया कि दूसरे किसान शांतिपूर्ण ढंग से प्रदर्शन कर रहे हैं और उनको इसके लिए जिम्मेदार नहीं ठहराया जाना चाहिए.
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सूत्रों के मुताबिक, बीजू जनता दल ने इस बजट सत्र के दौरान महिला आरक्षण विधेयक पारित करने की मांग की जिसका वाईएसआर कांग्रेस पार्टी ने समर्थन किया. तृणमूल कांग्रेस के नेता सुदीप बंदोपाध्याय ने कहा कि राष्ट्रपति के अभिभाषण का 20 विपक्षी दलों द्वारा बहिष्कार किए जाने से सरकार को यह कड़ा संदेश गया है कि वह कृषि कानूनों को वापस ले. प्रह्लाद जोशी के अनुसार, बाद में राजग के घटक दलों के सदन के नेताओं की बैठक में प्रधानमंत्री ने कहा कि कोरोना महामारी के बाद नयी वैश्विक व्यवस्था आकार लेने वाली है और भारत को इस उभरती वैश्विक व्यवस्था में बड़ी भूमिका निभानी है. उन्होंने कहा, ‘‘हम मूकदर्शक नहीं रहने वाले. हम अपनी परंपराओं और वसुधैव कुटुम्बकम के आदर्शों के आधार पर उभरेंगे.''
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