
जगदीश भील का फाइल फोटो
Quick Take
Summary is AI generated, newsroom reviewed.
जगदीश भील के पास 250 रुपये थे और शमशान घाट का चार्ज 2,500 रुपये था
पत्नी के अंतिम संस्कार की कोशिशों के बीच स्थानीय लोग मदद के लिए पहुंचे
1500 रुपये की मदद मिलने के बाद भी उन्होंने कूड़े के ढेर का सहारा लिया
शमशान घाट के स्टाफ ने जगदीश को नदी में बॉडी को प्रवाहित करने की सलाह दी. यह बेहद गरीबों द्वारा अपनाई जाने वाली सदियों पुरानी परंपरा है. लेकिन जगदीश अपनी पत्नी को सम्मानजनक तरीके से विदाई देने के लिए अडिग थे.
कुछ घंटे बाद स्थानीय लोगों ने उनको शमशान घाट के निकट एक गढ्ढा खोदने की तैयारी करते पाया. उन्होंने प्रशासन को सूचित किया. उसके बाद क्षेत्र के सीएमओ ने अपनी जेब से 1500 रुपये निकालकर जगदीश को ऑफर किए.
अंत में जगदीश ने अपनी पत्नी का अंतिम संस्कार किया. पर्याप्त लकड़ी के अभाव में, बेकार कागज, कार के टायर और अन्य कूड़े के सामान का इस्तेमाल किया.

इस संदर्भ में स्थानीय प्रशासनिक अधिकारी शंकर लाल चौहान ने कहा, ''हमें लोगों के माध्यम से घटना की जानकारी मिली और फिर जगदीश की मदद के लिए लकड़ी का इंतजाम किया गया. इसके साथ ही हमने शमशान घाट के स्टाफ को कारण बताओ नोटिस भी जारी किया है.''
उल्लेखनीय है कि हाल में ओडिशा के दाना मांझी केस के बाद ग्रामीण क्षेत्रों में बेहद गरीब तबके के समक्ष आने वाली इस तरह की परेशानियां चर्चा के केंद्र में आई हैं. दाना मांझी के अपनी पत्नी की बॉडी को लेकर पैदल अपने गांव की तरफ जाने की हृदयविदारक तस्वीर ने देश-दुनिया में लोगों को झकझोर दिया था.
NDTV.in पर ताज़ातरीन ख़बरों को ट्रैक करें, व देश के कोने-कोने से और दुनियाभर से न्यूज़ अपडेट पाएं
जगदीश भील, दाना मांझी मामला, मध्य प्रदेश, नीमच, Jagdish Bhil, Dana Majhi Case, Madhya Pradesh, Neemach