
मुंबई:
2008 में मालेगांव धमाकों के सिलसिले मे गिरफ्तार हुई साध्वी प्रज्ञा सिंह की मुश्किलें बढ़ती ही जा रही है। कैंसर जैसी बीमारी से जुझ रही साध्वी प्रज्ञा सिंह ने मेडिकल ग्राउंड पर बांबे हाइकोर्ट से जमानत की गुहार लगायी थी।
लेकिन लंबी सुनवायी के बाद भी प्रज्ञा सिंह को बांबे हाई कोर्ट से कोई राहत नहीं मिली है। हाई कोर्ट ने प्रज्ञा सिंह को जमानत देने से इनकार कर दिया। लेकिन नेशनल इनवेस्टिगेशन एजेंसी (एनआईए) को प्रज्ञा के लिये सबसे बेहतरीन इलाज मुहैया कराने को कहा है।
साध्वी प्रज्ञा सिंह ब्रेस्ट कैंसर जैसी बीमारी से जुझ रही है। अपनी जमानत याचिका में प्रज्ञा ने अदालत से इलाज करवाने के लिए 7 दिनों की जमानत की मांग की थी।
प्रज्ञा के वकिल मिलन देसाई ने अदालत को बताया कि शुरुआती जांच में साध्वी को ब्रेस्ट कैंसर की बात पता चली है और वह अपना इलाज अपने परिवार के साथ करवाना चाहती है। पुलिस की मौजुदगी में प्रज्ञा को इलाज से परहेज है।
लेकिन एनआईए की वकील रोहिनी सालियन ने ना सिर्फ साध्वी की जमानत याचिका का पुरजोर विरोध किया बल्कि अदालत को बताया की जांच एजेंसी साध्वी की सेहत का पुरा ख्याल रख रही है।
एनआईए की जिरह सुनने के बाद हाई कोर्ट ने कहा कि अगर साध्वी का पूरा इलाज एजेंसी करवा रही है तो ऐसे में उसे जमानत किस बिनाह पर दी जाए। हाई कोर्ट का रुख साफ होने के बाद साध्वी के वकिल ने अदालत से प्रज्ञा के परिवार को इलाज के वक्त साथ रहने की अपील की जिस पर हाईकोर्ट ने साध्वी के वकिल को एक हलफनामा दायर करने को कहा जिसमें उन लोगों के नामों का खुलासा करने को कहा गया जो प्रज्ञा के साथ रहेंगे।
हाई कोर्ट इस याचिका पर गुरुवार को फैसला देगा। साध्वी प्रज्ञा सिंह को 2008 में मालेंगाव में हुए धमाकों के सिलसिले मे गिरफ्तार किया गया है। इसी मामले में सेना के ले. कर्नल श्रीकांत पुरोहिक भी गिरफ्तार हुए हैं।
लेकिन लंबी सुनवायी के बाद भी प्रज्ञा सिंह को बांबे हाई कोर्ट से कोई राहत नहीं मिली है। हाई कोर्ट ने प्रज्ञा सिंह को जमानत देने से इनकार कर दिया। लेकिन नेशनल इनवेस्टिगेशन एजेंसी (एनआईए) को प्रज्ञा के लिये सबसे बेहतरीन इलाज मुहैया कराने को कहा है।
साध्वी प्रज्ञा सिंह ब्रेस्ट कैंसर जैसी बीमारी से जुझ रही है। अपनी जमानत याचिका में प्रज्ञा ने अदालत से इलाज करवाने के लिए 7 दिनों की जमानत की मांग की थी।
प्रज्ञा के वकिल मिलन देसाई ने अदालत को बताया कि शुरुआती जांच में साध्वी को ब्रेस्ट कैंसर की बात पता चली है और वह अपना इलाज अपने परिवार के साथ करवाना चाहती है। पुलिस की मौजुदगी में प्रज्ञा को इलाज से परहेज है।
लेकिन एनआईए की वकील रोहिनी सालियन ने ना सिर्फ साध्वी की जमानत याचिका का पुरजोर विरोध किया बल्कि अदालत को बताया की जांच एजेंसी साध्वी की सेहत का पुरा ख्याल रख रही है।
एनआईए की जिरह सुनने के बाद हाई कोर्ट ने कहा कि अगर साध्वी का पूरा इलाज एजेंसी करवा रही है तो ऐसे में उसे जमानत किस बिनाह पर दी जाए। हाई कोर्ट का रुख साफ होने के बाद साध्वी के वकिल ने अदालत से प्रज्ञा के परिवार को इलाज के वक्त साथ रहने की अपील की जिस पर हाईकोर्ट ने साध्वी के वकिल को एक हलफनामा दायर करने को कहा जिसमें उन लोगों के नामों का खुलासा करने को कहा गया जो प्रज्ञा के साथ रहेंगे।
हाई कोर्ट इस याचिका पर गुरुवार को फैसला देगा। साध्वी प्रज्ञा सिंह को 2008 में मालेंगाव में हुए धमाकों के सिलसिले मे गिरफ्तार किया गया है। इसी मामले में सेना के ले. कर्नल श्रीकांत पुरोहिक भी गिरफ्तार हुए हैं।
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