
कोलकाता:
पश्चिम बंगाल का पांच साल का बच्चा आरिफुल शेख करीब एक साल से बांग्लादेश के कुष्टिया में जेल में बंद है। उसे और उसके दादा-दादी को भारत-बांग्लादेश सीमा को पार करते समय बांग्लादेश के सुरक्षाबलों ने गिरफ्तार कर लिया था।
हाशिमुद्दीन शेख, उनकी पत्नी मफरूजा खातून और उनके पांच साल के पोते आरिफुल को पिछले साल 15 अप्रैल को दौलतपुर जिले में पियारपुर सीमा के रास्ते बांग्लादेश में प्रवेश करते समय पकड़ लिया गया था। ये लोग बांग्लादेश में अपने एक रिश्तेदार के घर जा रहे थे, लेकिन उनके पास आवश्यक कागजात नहीं थे, इसलिए इन पर पांच सौ टका का जुर्माना किया गया।
चूंकि उनके पास पैसे नहीं थे, इसलिए इन्हें दो महीने जेल में काटने का आदेश दिया गया। लेकिन सजा पूरी होने के महीनों बीत जाने के बाद भी ये लोग भारत नहीं लौट सके हैं। जब मानवाधिकार कार्यकर्ताओं और भारत सरकार ने इन लोगों को गलत तरीके से जेल में रोके रखने की आलोचना की और उनकी शीघ्र रिहाई की मांग की, तो बांग्लादेश के गृहमंत्री ने 15 अप्रैल को उन्हें रिहा करने का आदेश जारी किया, लेकिन अभी तक न तो उस बच्चे और न ही उसके दादा-दादी के बारे में कोई खबर मिल सकी है।
हाशिमुद्दीन शेख, उनकी पत्नी मफरूजा खातून और उनके पांच साल के पोते आरिफुल को पिछले साल 15 अप्रैल को दौलतपुर जिले में पियारपुर सीमा के रास्ते बांग्लादेश में प्रवेश करते समय पकड़ लिया गया था। ये लोग बांग्लादेश में अपने एक रिश्तेदार के घर जा रहे थे, लेकिन उनके पास आवश्यक कागजात नहीं थे, इसलिए इन पर पांच सौ टका का जुर्माना किया गया।
चूंकि उनके पास पैसे नहीं थे, इसलिए इन्हें दो महीने जेल में काटने का आदेश दिया गया। लेकिन सजा पूरी होने के महीनों बीत जाने के बाद भी ये लोग भारत नहीं लौट सके हैं। जब मानवाधिकार कार्यकर्ताओं और भारत सरकार ने इन लोगों को गलत तरीके से जेल में रोके रखने की आलोचना की और उनकी शीघ्र रिहाई की मांग की, तो बांग्लादेश के गृहमंत्री ने 15 अप्रैल को उन्हें रिहा करने का आदेश जारी किया, लेकिन अभी तक न तो उस बच्चे और न ही उसके दादा-दादी के बारे में कोई खबर मिल सकी है।
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