केंद्रीय मंत्री अनुप्रिया पटेल.
नई दिल्ली:
सरकार ने बताया कि कन्या भ्रूण हत्या को रोकने के लिए कई कदम उठाए गए हैं और पिछले तीन वर्षों में ऐसे मामलों में लगातार कमी आई है.
लोकसभा में हरीश द्विवेदी के एक प्रश्न के लिखित उत्तर में स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण राज्य मंत्री अनुप्रिया पटेल ने कहा कि इस समस्या पर अंकुश लगाने के लिए डायग्नोस्टिक तकनीकों के दुरूपयोग पर रोक लगाने सहित कई कदम उठाए गए हैं.
उन्होंने एनसीआरबी के आंकड़े का हवाला देते हुए कहा कि साल 2014 में कन्या भ्रूण हत्या के 50 मामले प्रकाश में आए थे. इसके बाद साल 2015 में 45 और साल 2016 में 40 मामले सामने आए.
मंत्री ने कहा कि सरकार ने गर्भाधान पूर्व एवं प्रसव पूर्व डायग्नोस्टिक तकनीक :लिंग चयन निषेध: अधिनियम-1994 को अधिनियमित किया है.
लोकसभा में हरीश द्विवेदी के एक प्रश्न के लिखित उत्तर में स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण राज्य मंत्री अनुप्रिया पटेल ने कहा कि इस समस्या पर अंकुश लगाने के लिए डायग्नोस्टिक तकनीकों के दुरूपयोग पर रोक लगाने सहित कई कदम उठाए गए हैं.
उन्होंने एनसीआरबी के आंकड़े का हवाला देते हुए कहा कि साल 2014 में कन्या भ्रूण हत्या के 50 मामले प्रकाश में आए थे. इसके बाद साल 2015 में 45 और साल 2016 में 40 मामले सामने आए.
मंत्री ने कहा कि सरकार ने गर्भाधान पूर्व एवं प्रसव पूर्व डायग्नोस्टिक तकनीक :लिंग चयन निषेध: अधिनियम-1994 को अधिनियमित किया है.
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