
दिग्विजय सिंह, अरुण जेटली की फाइल तस्वीर
नई दिल्ली:
कांग्रेस नेता दिग्विजय सिंह ने सोशल नेटवर्किंग साइट ट्विटर पर वित्तमंत्री अरुण जेटली पर निशाना साधा है। दिग्विजय का जेटली पर ये हमला, जेटली की उस फेसबुक पोस्ट के जवाब में है जिसमें जेटली ने संसद में जीएसटी बिल पास नहीं होने के लिए कांग्रेस पार्टी को ज़िम्मेदार ठहराया।
अरुण जेटली ने रविवार को लिखे अपने फेसबुक पोस्ट में सिलसिलेवार तरीके से जीएसटी के मुद्दे पर कांग्रेस पार्टी द्वारा संसदीय कमिटी को दिए गए असहमति पत्र का ज़िक्र करते हुए आरोप लगाया कि कांग्रेस की बाधा पैदा करने वाली नीतियों के कारण देश को आर्थिक नुकसान हो रहा है। जेटली ने कांग्रेस पर उन्हीं के शासन के दौरान संसद में पेश किये गए टैक्स सुधार के एक प्रस्ताव में देरी कराने का आरोप लगाया है।
जेटली के अनुसार बीजेपी सरकार ने, 'टैक्स सुधार के उस प्रस्ताव में कोई बदलाव नहीं किया है।'
दिग्विजय का पलटवार
इसके जवाब में सोमवार सुबह कांग्रेस नेता दिग्वजिय सिंह ने ट्वीट कर के पूछा कि, 'अरुण जेटली ने अपने पोस्ट में ये नहीं बताया कि साल 2006 से 2014 तक बीजेपी ने ये बिल संसद में पास होने क्यों नहीं दिया था? क्योंकि तब उन्हें लगता था कि संसद की कार्यवाही में बाधा पैदा करना उनका उचित अधिकार है। ये बीजेपी का एक और यूटर्न और राजनैतिक अवसरवाद का उदाहरण है।'
व्यापमं और ललितगेट मामले में फंसे तीन बड़े बीजेपी के नेताओं के इस्तीफ़े की मांग पर अड़ा कांग्रेस पहले दिन से यह कह रहा है कि बीजेपी ने विरोध का जो परंपारिक तरीका अख़्तियार किया था वो बस उसे फॉलो कर रही है।
संसद के मॉनसून सत्र के सिर्फ़ 9 दिन बाकी हैं और कोई काम नहीं हो पाया है। संसद में कम से कम 11 महत्वपूर्ण बिल विचाराधीन हैं, जिनमें सबसे ज़रुरी जीएसटी बिल में संवैधानिक बदलाव लाने के लिए किया जाने वाला विधायी कार्य है। इस विधेयक के ज़रिए केंद्र और राज्य सरकार द्वारा लागू गुप्त टैक्स का एकीकरण किया जाना है।
जेटली ने अपने पोस्ट में लिखा है, 'चूंकि संसद की कार्यवाही स्थगित है इसलिए इन मुद्दों को सार्वजनिक मंच पर शेयर करने लिए मैं बाध्य हूँ। जेटली की पोस्ट का शीर्षक था, 'असहमति या अवरोध- जीएसटी बिल पर कांग्रेस पार्टी की पोजिशन'
केंद्र सरकार इस बात पर चिंतित है कि अगर वो जीएसटी बिल को इस सेशन में पास नहीं करा पायी तो वो इसे अप्रैल 2016 तक लागू नहीं कर पाएगी। इसके लिए सत्तारूढ़ एनडीए ने आज 15 पार्टियों की बैठक बुलाई है।
अरुण जेटली ने रविवार को लिखे अपने फेसबुक पोस्ट में सिलसिलेवार तरीके से जीएसटी के मुद्दे पर कांग्रेस पार्टी द्वारा संसदीय कमिटी को दिए गए असहमति पत्र का ज़िक्र करते हुए आरोप लगाया कि कांग्रेस की बाधा पैदा करने वाली नीतियों के कारण देश को आर्थिक नुकसान हो रहा है। जेटली ने कांग्रेस पर उन्हीं के शासन के दौरान संसद में पेश किये गए टैक्स सुधार के एक प्रस्ताव में देरी कराने का आरोप लगाया है।
जेटली के अनुसार बीजेपी सरकार ने, 'टैक्स सुधार के उस प्रस्ताव में कोई बदलाव नहीं किया है।'
दिग्विजय का पलटवार
इसके जवाब में सोमवार सुबह कांग्रेस नेता दिग्वजिय सिंह ने ट्वीट कर के पूछा कि, 'अरुण जेटली ने अपने पोस्ट में ये नहीं बताया कि साल 2006 से 2014 तक बीजेपी ने ये बिल संसद में पास होने क्यों नहीं दिया था? क्योंकि तब उन्हें लगता था कि संसद की कार्यवाही में बाधा पैदा करना उनका उचित अधिकार है। ये बीजेपी का एक और यूटर्न और राजनैतिक अवसरवाद का उदाहरण है।'
व्यापमं और ललितगेट मामले में फंसे तीन बड़े बीजेपी के नेताओं के इस्तीफ़े की मांग पर अड़ा कांग्रेस पहले दिन से यह कह रहा है कि बीजेपी ने विरोध का जो परंपारिक तरीका अख़्तियार किया था वो बस उसे फॉलो कर रही है।
संसद के मॉनसून सत्र के सिर्फ़ 9 दिन बाकी हैं और कोई काम नहीं हो पाया है। संसद में कम से कम 11 महत्वपूर्ण बिल विचाराधीन हैं, जिनमें सबसे ज़रुरी जीएसटी बिल में संवैधानिक बदलाव लाने के लिए किया जाने वाला विधायी कार्य है। इस विधेयक के ज़रिए केंद्र और राज्य सरकार द्वारा लागू गुप्त टैक्स का एकीकरण किया जाना है।
जेटली ने अपने पोस्ट में लिखा है, 'चूंकि संसद की कार्यवाही स्थगित है इसलिए इन मुद्दों को सार्वजनिक मंच पर शेयर करने लिए मैं बाध्य हूँ। जेटली की पोस्ट का शीर्षक था, 'असहमति या अवरोध- जीएसटी बिल पर कांग्रेस पार्टी की पोजिशन'
केंद्र सरकार इस बात पर चिंतित है कि अगर वो जीएसटी बिल को इस सेशन में पास नहीं करा पायी तो वो इसे अप्रैल 2016 तक लागू नहीं कर पाएगी। इसके लिए सत्तारूढ़ एनडीए ने आज 15 पार्टियों की बैठक बुलाई है।
NDTV.in पर ताज़ातरीन ख़बरों को ट्रैक करें, व देश के कोने-कोने से और दुनियाभर से न्यूज़ अपडेट पाएं
दिग्विजय सिंह, अरुण जेटली, जीएसटी बिल, संसद, फेसबुक, ट्विटर, Digvijay Singh, Arun Jaitley, GST Bill, Sansad, Facebook, Twitter