कोरोना की दूसरी लहर (Corona Second Wave) की चपेट में महाराष्ट्र (Maharashtra) के कई लोगों को जान गंवानी पड़ी. कई लोग अब भी महामारी से संघर्ष कर रहे हैं. इसके बावजूद भी लोगों में वैक्सीन (Corona Vaccination) के प्रति गंभीरता देखने को नहीं मिल रही है. आंकड़ों में महाराष्ट्र कोरोना वैक्सीनेशन की रेस में अन्य राज्यों की तुलना में भले ही आगे चल रहा हो.. लेकिन राज्य में महज 3.69% लोग ही पूरी तरह से वैक्सिनेट हो पाए हैं. हिंगोली, पालघर, नंदुरबार, परभनी, जलगांव, गढ़चिरौली में 3% से भी कम लोगों को दोनो डोज मिली है. ग्रामीण और आदिवासियों में कोविड टीके को लेकर खौफ समाया हुआ है. ऐसे में अब बीमा से लेकर अलग-अलग तरह के ऑफर की घोषणा कर लोगों के टीकाकरण की कोशिश की जा रही है. महाराष्ट्र के ग्रामीण-आदिवासी इलाकों में कोविड के टीके को लेकर अफवाह के साथ-साथ खासा डर देखने को मिला है.
महाराष्ट्र के हिंगोली का ग्रामपंचायत अंजनवाडा टीका लगवाने वाले और कोविड टेस्ट करवाने वालों को अपने फंड से पांच लाख के बीमा का ऑफ़र दे रहा है. हिंगोली जिले में सबसे कम सिर्फ 2.29% लोगों को ही टीके की दोनो डोज लग पाई है. हिंगोली के डीएम रुचेश जयवंशी ने कहा, ''ये बीमा ग्राम पंचायत की तरफ से दिया जाएगा, शासन का पैसा नहीं जाएगा, ग्राम पंचायत की जो खुद की आय होती है, घर-पानी टैक्स उससे ग्राम पंचायत प्रीमियम भरेगी, यह लोगों में डर खत्म करने और टीकाकरण कराने के लिए प्रोत्साहित करने का तरीका है. ये शुरुआत है.. और भी ग्राम पंचायत आगे आए, बेशक इससे मदद मिलेगी.''
हिंगोली के एक ग्रामीण ने बताया कि ऑफर के बाद कुछ लोग कोविड-टेस्ट करवाने पहुंचे, कहते हैं आगे टीका भी लगवा लेंगे. सरपंच ने हमें समझाया है, अभी थोड़ा डर गया है, टेस्ट करवाया है आगे टीका भी ले लेंगे. यह अच्छा फैसला है, लोगों में हिम्मत बन रही है. इसी तरह नाशिक के आदिवासी कलवण इलाके से विधायक नितिन पवार ने घोषणा की है की वो अपने फंड से 15 लाख रुपय राशि उन ग्राम पंचायतों को देंगे जिनकी जागरूकता से उनके इलाके में पूरी तरह से टीकाकरण हुआ हो.
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विधायक नितीन पवार ने कहा, ''लोगों में ऐसा अंधविश्वास है की वैक्सीन लेने से लोग मरते हैं, तो मैंने ग्रामपंचायत को आह्वान किया की आप लोगों को टीके के लिए जागरुक करिए और शासन की तरफ से जो निधि हमें उपलब्ध होती है, मैं उसमें से 15 लाख निधि उनको दूंगा, ताकि लोग प्रोत्साहित हो सकें, लोगों में डर है की वैक्सीन लेने से मर जाएंगे, वो लोग बीमार होते हैं तो जड़ी बूटी का सहारा लेते हैं. ऐसे में सरपंच जो स्थानीय लोग हैं उनको बेहतर ढंग से समझा सकते हैं.''
अब तक के टीकाकरण पर राज्य सरकार का आंकड़ा
-25 मई तक करीब 12 करोड़ जनसंख्या वाले महाराष्ट्र में सिर्फ 44,28,239 यानी की 3.69% लोगों को ही टीके की दोनो डोज़ लग सकी है.
-हिंगोली में सबसे कम 2.29%
-पालघर 2.34%
-परभनी 2.48%
-ओस्मानाबाद 2.58%
-नंदुरबार 2.75%
-जलगांव 2.76%
-गढ़चिरोली में 2.84%
-ठाणे,रायगढ़,अमरावती में साढ़े तीन फीसदी से भी कम वैक्सीनेशन हुआ है
-मुंबई में 6.12% पुणे में 5.86% और नागपुर में सिर्फ 5.71% लोग कोविड टीके की दोनों डोज ले पाए हैं.
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