World Thalassaemia Day: विश्व थैलेसीमिया दिवस हर साल 8 मई को मनाया जाता है. वर्ल्ड थैलेसीमिया डे 2020 की थीम (World Thalassaemia Day 2020 Theme) एक खास विषय पर रखा जाती है. यह थीम हर साल बदलती है. यह दिन थैलीसीमिया की बीमारी के लिए दुनिया को जागरुक करने के रूप में मनाया जाता है. थैलेसीमिया एक ऐसा रक्त रोग है, जो रक्त द्वारा माता-पिता से अनुवांशिक तौर पर बच्चों तक पहुंचता है. इस बीमारी में बच्चों में खून की कमी होने लगती है, जो कि सेहत के लिए बहुत हानिकारक होता है. विश्व थैलेसीमिया दिवस (World Thalassaemia Day) पर लोगों को थैलेसीमिया से बचने के उपायों (Remedy To Avoid Thalassemia) और सावधानयों के बारे बताया जाता है.
इस बीमारी के चलते शरीर में हीमोग्लोबिन गड़बड़ा जाता है और रक्तक्षीणता यानी खून की कमी (Anemic)होने लगती है. इसके कारण हीमोग्लोबिन गड़बड़ाता है. ऐसे में अनिमिया का शिकार होने का खतरा भी बढ़ जाता है. थैलेसीमिया के बचाव (Prevention Of Thalassemia) के लिए थैलेसीमिया के लक्षणों (Symptoms Of Thalassemia) पर ध्यान देना काफी जरूरी है और थैलेसीमिया से बचाव के तरीके (Ways To Prevent Thalassemia) आप तभी अपना सकते हैं जब आप थैलेसीमिया के कारणों के बारे में जानते होंगे की यह बीमारी कैसे होती है.
क्या है थैलेसीमिया की बीमारी | What Is Thalassemia Disease
थैलेसीमिया एक ऐसी बीमारी है जिसमें हमारे शरीर में खून की होने लगती है या हीमोग्लोविन के बनने में परेशानी शुरू हो जाती है. थैलेसीमिया एक ऐसा रक्त रोग है, जो रक्त द्वारा माता-पिता से अनुवांशिक तौर पर बच्चों तक पहुंचता है. इस बीमारी में बच्चों में खून की कमी होने लगती है, जो कि सेहत के लिए बहुत हानिकारक होता है. आमतौर पर हर सामान्य व्यक्ति के शरीर में लाल रक्त कणों की उम्र करीब 120 दिनों की होती है, लेकिन थैलेसीमिया से पीड़ित रोगी के शरीर में लाल रक्त कणों की उम्र घटकर मात्र 20 दिन ही रह जाती है. इसका सीधा असर व्यक्ति के हीमोग्लोबिन पर पड़ता है और व्यक्ति के एनिमिया के शिकार होने का खतरा बढ़ जाता है.
क्या है इस साल वर्ल्ड थैलेसीमिया डे की थीम | World Thalassaemia Day 2020 Theme
हर साल इस थैलेसीमिया के बारे में जागरुकता फैलाने के लिए एक खास थीम रखी जाती है. इस साल के वर्ल्ड थैलेसीमिया दिवस की थीम ‘यूनिवर्सल एक्सेस टू क्वालिटी थैलीसीमिया हैल्थकेयर सर्विसेसः बिल्डिंग ब्रिजेस विद एंड फॉर पेशेंट्स' रखी गई है.
थैलेसीमिया के कारण | Causes Of Thalassemia
- महिलाओं एवं पुरुषों के शरीर में मौजूद क्रोमोज़ोम खराब होने से माइनर थैलेसीमिया हो सकता है.
- दोनों क्रोमोजोमम खराब हो जाए तो यह मेजर थैलेसीमिया भी बन सकता है.
- महिला और पुरुष में क्रोमोज़ोम में खराबी होने की वजह से उनके बच्चे के जन्म के छह महीने बाद शरीर में खून बनना बंद हो सकता है.
- हीमोग्लोबीन दो तरह के प्रोटीन से बनता है अल्फा ग्लोबीन और बीटा ग्लोबीन. थैलासीमिया इन दोनों प्रोटीन में ग्लोबीन निर्माण की प्रक्रिया में खराबी होने से होता है.
- इस बीमारी में लाल रक्त कोशिकाएं तेजी से खत्म होने लगती हैं.
थैलेसीमिया के लक्षण | Symptoms Of Thalassemia
- शिशु के विकास में रकावट
- थकान
- कमजोरी
- शिशु के नाखून और जीभ पीले पड़ना
- बच्चे के जबड़े और गाल का असामान्य होना
- अपनी उम्र से छोटा लगना
- चेहरा सूखा हुआ रहना
- वजन का न बढ़ना
- सांस लेने में तकलीफ होना
- पीलिया होने का भम्र होना
थैलेसीमिया से बचाव के तरीके (Ways To Prevent Thalassemia)
- नियमित अपने खून की जांच कराना
- जेनेटिक टेस्ट कराना
- शिशु के जन्म से पहले ही रक्त जांच कराना
- कम वसा, हरी पत्तेदार सब्जियां
- अधिक से अधिक आयरन युक्त खाद्य पदार्थों का सेवन
- नियमित योग और व्यायाम करना
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