मुंबई:
1990 के दशक में अभिनेत्री के रूप में काम कर चुकीं ट्विंकल खन्ना ने 'द लेजेंड ऑफ लक्ष्मी प्रसाद' नामक अपनी लघु कहानियों का संग्रह पेश किया है. कहानियां महिला सशक्तिकरण पर केंद्रित हैं. अभिनेत्री से लेखिका बनीं ट्विंकल ने बताया कि उन्होंने अपनी इस किताब के किरदार अपनी उस पहली पांडुलिपि से लिए हैं, जिसे उन्होंने 18 वर्ष की आयु में लिखा था.
ट्विंकल ने एक विशेष बातचीत में कहा, "मैंने 18 वर्ष की आयु में एक किताब आधी लिख ली थी. मेरी नई किताब 'द लेजेंड ऑफ लक्ष्मी प्रसाद' के नोनी आपा और बिन्नी के चरित्र उसी किताब से लिए गए हैं. यह मेरा तीसरा प्रयास है, जो अंतत: प्रिंट हुआ है. मैं हमेशा से शब्दों की दुनिया में खोई रही. पहले एक पाठक की हैसियत से और अब एक पाठक और लेखिका के रूप में."
अगली किताब के बारे में पूछे जाने पर उन्होंने कहा, "मैंने अभी शुरुआत नहीं की है. मेरे पास देश की एक ऐसी अवस्था के बारे में विचार है, जहां उपेक्षा और उत्पीड़न की वजह से जीवन बहुत कड़वा है.. देखते हैं."
(हेडलाइन के अलावा, इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है, यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)
ट्विंकल ने एक विशेष बातचीत में कहा, "मैंने 18 वर्ष की आयु में एक किताब आधी लिख ली थी. मेरी नई किताब 'द लेजेंड ऑफ लक्ष्मी प्रसाद' के नोनी आपा और बिन्नी के चरित्र उसी किताब से लिए गए हैं. यह मेरा तीसरा प्रयास है, जो अंतत: प्रिंट हुआ है. मैं हमेशा से शब्दों की दुनिया में खोई रही. पहले एक पाठक की हैसियत से और अब एक पाठक और लेखिका के रूप में."
अगली किताब के बारे में पूछे जाने पर उन्होंने कहा, "मैंने अभी शुरुआत नहीं की है. मेरे पास देश की एक ऐसी अवस्था के बारे में विचार है, जहां उपेक्षा और उत्पीड़न की वजह से जीवन बहुत कड़वा है.. देखते हैं."
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