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Akshaya Tritiya aarti 2025 : आज है अक्षय तृतीया, देवी लक्ष्मी की करें आरती और मंत्र, मां की आप पर बरसेगी कृपा

Devi Lakshmi Puja : आपको बता दें कि इस साल अक्षय तृतीया पर सर्वार्थ, सिद्धि योग, रोहिणी नक्षत्र, शोभन योग और बुधवार को संयोग बन रहा है. ऐसे में देवी लक्ष्मी की सच्चे मन से पूजा करते हैं तो उनका आशीर्वाद आप पर सदैव बना रहेगा.

Akshaya Tritiya aarti 2025 : आज है अक्षय तृतीया, देवी लक्ष्मी की करें आरती और मंत्र, मां की आप पर बरसेगी कृपा
ऊँ महालक्ष्म्यै नमो नमः । ऊँ विष्णुप्रियायै नमो नमः ।। ऊँ धनप्रदायै नमो नमः । ऊँ विश्वजन्नयै नमो नमः ।।

Akshaya Tritiya Devi Lakshmi aarti and mantra's 2025 :  वैशाख महीने में पड़ने वाली अक्षय तृतीया के दिन कोई भी काम करना बहुत शुभ माना जाता है. इस दिन मुख्य रूप से देवी लक्ष्मी, भगवान विष्णु और कुबेर महाराज की पूजा होती है. मान्यता है इस दिन सच्चे मन से इन देवी देवताओं की पूजा अर्चना करने से जीवन में सुख-समृद्धि आती है. साथ ही सफलता और ऐश्वर्य मिलता है. मान्यता है इस पर्व की शुरूआत त्रेता युग में हुई थी. इस दिन नए काम, शादी विवाह करने के लिए किसी तरह के शुभ मुहूर्त देखने के जरूरत नहीं पड़ती है. साथ ही इस दिन आप देवी लक्ष्मी की सच्चे मन से पूजा,आरती और मंत्र का जाप करते हैं, तो आप पर उनकी कृपा बरसती है. 

अक्षय तृतीया पर क्या खरीदें और क्या नहीं? बन रहा है शुभ योग, जानिए यहां

आपको बता दें कि इस साल अक्षय तृतीया पर सर्वार्थ, सिद्धि योग, रोहिणी नक्षत्र, शोभन योग और बुधवार को संयोग बन रहा है. ऐसे में देवी लक्ष्मी की सच्चे मन से आराधना करने से उनका सदैव आप पर आशीर्वाद बना रहेगा.

मां लक्ष्मी की आरती - Maa Lakshmi aarti 

ऊं जय लक्ष्मी माता, मैया जय लक्ष्मी माता।। 
तुमको निशदिन सेवत, हरि विष्णु विधाता। 
ऊं जय लक्ष्मी माता।।

उमा, रमा, ब्रह्माणी, तुम ही जग-माता। 
मैया तुम ही जग-माता।।
सूर्य-चंद्रमा ध्यावत, नारद ऋषि गाता। 
ऊं जय लक्ष्मी माता।।

दुर्गा रूप निरंजनी, सुख सम्पत्ति दाता। 
मैया सुख संपत्ति दाता। 
जो कोई तुमको ध्यावत, ऋद्धि-सिद्धि धन पाता। 
ऊं जय लक्ष्मी माता।।

तुम पाताल-निवासिनि,तुम ही शुभदाता। 
मैया तुम ही शुभदाता। 
कर्म-प्रभाव-प्रकाशिनी,भवनिधि की त्राता। 
ऊं जय लक्ष्मी माता।।

जिस घर में तुम रहतीं, सब सद्गुण आता। 
मैया सब सद्गुण आता।
सब संभव हो जाता, मन नहीं घबराता। 
ऊं जय लक्ष्मी माता।।

तुम बिन यज्ञ न होते, वस्त्र न कोई पाता। 
मैया वस्त्र न कोई पाता।
खान-पान का वैभव,सब तुमसे आता। 
ऊं जय लक्ष्मी माता।।

शुभ-गुण मंदिर सुंदर, क्षीरोदधि-जाता। 
मैया क्षीरोदधि-जाता।
रत्न चतुर्दश तुम बिन, कोई नहीं पाता। 
ऊं जय लक्ष्मी माता।।

महालक्ष्मी जी की आरती,जो कोई नर गाता। 
मैया जो कोई नर गाता।
उर आनन्द समाता, पाप उतर जाता। 
ऊं जय लक्ष्मी माता।।

ऊं  जय लक्ष्मी माता, मैया जय लक्ष्मी माता। 
तुमको निशदिन सेवत, हरि विष्णु विधाता। 
ऊं जय लक्ष्मी माता।।

लक्ष्मी जी का मंत्र - Devi Lakshmi Mantra's

1- ऊँ महालक्ष्म्यै नमो नमः । ऊँ विष्णुप्रियायै नमो नमः ।।
ऊँ धनप्रदायै नमो नमः । ऊँ विश्वजन्नयै नमो नमः ।।

2- ऊँ श्रींह्रीं श्रीं कमले कमलालये प्रसीद प्रसीद श्रीं ह्रीं श्रीं ऊँ महालक्ष्मी नम:।।

3- ऊँ श्रीं ल्कीं महालक्ष्मी महालक्ष्मी एह्येहि सर्व सौभाग्यं देहि मे स्वाहा।।

(Disclaimer: यहां दी गई जानकारी सामान्य मान्यताओं और जानकारियों पर आधारित है. एनडीटीवी इसकी पुष्टि नहीं करता है.)

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