नई दिल्ली:
दिल्ली पुलिस की स्पेशल सेल ने द्वारका इलाके से करीब 22 करोड़ की पार्टी ड्रग्स के साथ 2 लोगों को गिरफ्तार किया है.
पुलिस के मुताबिक, कुछ दिन पहले एक सूचना मिली थी कि अशोक नाम का एक शख्स पंजाब के जिरकपुर से एफेड्रिन नाम का नशीला पदार्थ लेकर दिल्ली आने वाला है. इसी सूचना पर द्वारका इलाके में पुलिस ने घेराबंदी कर अशोक और जिम्मी नाम के दो लोगों को गिरफ्तार कर लिया. अशोक की कार से पुलिस ने साढ़े 22 किलो एफेड्रिन भी बरामद की.
अशोक ने पुलिस को पूछताछ में बताया कि वह एक दवा कंपनी में काम करता था और काम के दौरान ही उसे पता चला कि एफेड्रिन ड्रग्स से कितना पैसा कमाया जा सकता है. दरसअल, एफेड्रिन का प्रयोग कफ सीरप बनाने के लिए होता रहा है, लेकिन अब इसका प्रयोग धड़ल्ले से नशे की गोलियां बनाने के लिए होता है. अशोक ने खुलासा किया कि वो ये नशीला पदार्थ जिम्मी को देने आया था.
पुलिस ने जब मिज़ोरम के रहने वाले जिम्मी से पूछताछ की तो पता चला कि जिम्मी इस एफेड्रिन को आगे एक विदेशी को सौंपने वाला था.. जो आगे रेव पार्टी में सप्लाई होनी थी.
पुलिस के मुताबिक, एफेड्रिन से नशे के कैप्सूल बनते हैं, जिसे आमतौर पर 'एक्सटेसी' कहते हैं. नशे के इन कैप्सूलों की डिमांड कॉलेज के छात्रों, युवाओं और रेव पाट्रियों में बहुत ज्यादा है. आरोपी दिल्ली के अलावा मुंबई, चंडीगढ़, मिज़ोरम और देश के बाहर भी इनकी सप्लाई करते हैं.
पुलिस के मुताबिक, कुछ दिन पहले एक सूचना मिली थी कि अशोक नाम का एक शख्स पंजाब के जिरकपुर से एफेड्रिन नाम का नशीला पदार्थ लेकर दिल्ली आने वाला है. इसी सूचना पर द्वारका इलाके में पुलिस ने घेराबंदी कर अशोक और जिम्मी नाम के दो लोगों को गिरफ्तार कर लिया. अशोक की कार से पुलिस ने साढ़े 22 किलो एफेड्रिन भी बरामद की.
अशोक ने पुलिस को पूछताछ में बताया कि वह एक दवा कंपनी में काम करता था और काम के दौरान ही उसे पता चला कि एफेड्रिन ड्रग्स से कितना पैसा कमाया जा सकता है. दरसअल, एफेड्रिन का प्रयोग कफ सीरप बनाने के लिए होता रहा है, लेकिन अब इसका प्रयोग धड़ल्ले से नशे की गोलियां बनाने के लिए होता है. अशोक ने खुलासा किया कि वो ये नशीला पदार्थ जिम्मी को देने आया था.
पुलिस ने जब मिज़ोरम के रहने वाले जिम्मी से पूछताछ की तो पता चला कि जिम्मी इस एफेड्रिन को आगे एक विदेशी को सौंपने वाला था.. जो आगे रेव पार्टी में सप्लाई होनी थी.
पुलिस के मुताबिक, एफेड्रिन से नशे के कैप्सूल बनते हैं, जिसे आमतौर पर 'एक्सटेसी' कहते हैं. नशे के इन कैप्सूलों की डिमांड कॉलेज के छात्रों, युवाओं और रेव पाट्रियों में बहुत ज्यादा है. आरोपी दिल्ली के अलावा मुंबई, चंडीगढ़, मिज़ोरम और देश के बाहर भी इनकी सप्लाई करते हैं.
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