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This Article is From Sep 28, 2016

सुप्रीम कोर्ट की फटकार का असर, BCCI दो चयनकर्ताओं खोड़ा और परांजपे को हटा सकता है...

सुप्रीम कोर्ट की फटकार का असर, BCCI दो चयनकर्ताओं खोड़ा और परांजपे को हटा सकता है...
जस्टिस लोढा और बीसीसीआई अध्यक्ष अनुराग ठाकुर (फाइल फोटो)
कोलकाता: उच्चतम न्यायालय द्वारा नियुक्त न्यायमूर्ति आरएम लोढा समिति द्वारा दायर स्थिति रिपोर्ट के कारण आलोचनाओं में घिरा बीसीसीआई शुक्रवार को होने वाली विशेष आम बैठक में सीनियर राष्ट्रीय चयनकर्ता गगन खोड़ा और जतिन परांजपे को हटा सकता है. लोढा पैनल ने सिफारिश की है कि बीसीसीआई के मौजूदा शीर्ष अधिकारियों को हटा दिया जाए, और वह चाहता है कि उच्चतम न्यायालय के 18 जुलाई को लिए गए फैसले के बाद बीसीसीआई ने जो भी फैसले किए हैं उन्हें खारिज कर दिया जाए. (...तो इसलिए BCCI के शीर्ष अधिकारियों से नाराज है जस्टिस लोढा कमेटी)

सुप्रीम कोर्ट की नाराजगी के बाद यह भी संभावना है कि पूरी चयन समिति को भंग कर दिया जाए, लेकिन गगन खोड़ा और जतिन परांजपे को बाहर किया जाना तय है, क्योंकि उनकी नियुक्तियां लोढा पैनल की सिफारिशों का सीधा उल्लघंन थीं. खोड़ा (दो वनडे) और परांजपे (चार वनडे) ने कभी भी टेस्ट क्रिकेट नहीं खेला, जबकि लोढा पैनल ने सीनियर चयन पैनल की नियुक्ति के लिए इसे अनिवार्य किया था और पैनल को वह तीन सदस्यों तक ही सीमित रखना चाहते थे.

खोड़ा पहले के पैनल में से थे, जबकि मुंबई के बल्लेबाज परांजपे 21 सितंबर को हुई बीसीसीआई की आम सालाना बैठक के दौरान इसमें शामिल होने वाले नये सदस्य थे. पैनल के अन्य तीन सदस्य एमएसके प्रसाद, देवांग गांधी और सरनदीप सिंह हैं, इन सभी ने टेस्ट मैच खेले हैं, लेकिन लंबे प्रारूपों में कुल मिलाकर इनका 13 मैचों का अनुभव है. (लोढा कमेटी ने सुप्रीम कोर्ट से कहा, BCCI के शीर्ष पदाधिकारियों को हटा दिया जाए...)

बीसीसीआई के एक सीनियर अधिकारी ने बुधवार को पीटीआई से कहा, ‘‘यह असंभव है कि गगन और जतिन को चयन पैनल में बरकरार रखा जाए. मुझे नहीं लगता कि बीसीसीआई अब सर्वोच्च अदालत और उसके नियुक्त पैनल के साथ और भिड़ने की हालत में है.’’

उन्होंने कहा, ‘अगर हम गगन और जतिन को हटा देते हैं तो इससे पैनल के दिशानिर्देशों का तीन पूर्व टेस्ट क्रिकेटरों को सीनियर चयनकर्ताओं में शामिल करने का पालन हो जाएगा.‘’ उन्होंने कहा, ‘‘हमारा लंबा घरेलू सत्र है और आप ऐसी हालत में नहीं जाना चाहते, जिसमें आपके पास वनडे के लिए टीम चयन करने के लिये चयनकर्ता ही नहीं हों, जिसके बाद आपको इंग्लैंड और ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ टेस्ट सीरीज खेलनी है.’’ उच्चतम न्यायालय की बीसीसीआई के लिए अंतिम समयसीमा छह अक्टूबर है, इसलिये शुक्रवार को होने वाली विशेष आम बैठक काफी अहमियत रखती है.

हालांकि पैनल ने ‘टैलेंट स्काउट’ रखने की सिफारिश की थी जो राष्ट्रीय चयनकर्ताओं की मदद करेंगे, इसलिए ऐसी संभावना हो सकती है कि खोड़ा और पराजंपे को ‘स्काउट’ के पद की पेशकश की जाए, जिनका काम घरेलू मैच देखना होगा.

(इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)

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