झूलन गोस्वामी ने फाइनल में इंग्लैंड के खिलाफ तीन विकेट लिए थे (फाइल फोटो)
कोलकाता:
भारतीय टीम की तेज गेंदबाज झूलन गोस्वामी ने बताया है कि महिला वर्ल्डकप के अपने शुरुआती दो मैचों के प्रदर्शन से मैं इतनी निराश थी कि मैंने कोच से मुझे टीम से बाहर करने का आग्रह किया था. झूलन ने मंगलवार को खुलासा किया कि उन्होंने कोच तुषार अरोठे से कहा था कि उन्हें (झूलन को) अंतिम एकादश से बाहर कर दिया जाए. यह अलग बात है कि कोच अरोठे ने इस अनुभवी तेज गेंदबाज का समर्थन किया. उन्हें कप्तान मिताली राज का भी पूरा समर्थन मिला और आखिर में भारत को फाइनल तक पहुंचाने में झूलन ने अहम भूमिका निभाई.
झूलन को यहां नेताजी इंडोर स्टेडियम में बंगाल क्रिकेट संघ के वार्षिक पुरस्कार समोराह में पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने सम्मानित किया. गौरतलब है कि झूलन इस समय महिला क्रिकेट में वनडे में सबसे ज्यादा विकेट लेने वाली गेंदबाज है. इस तेज गेंदबाज ने कहा, ‘वर्ल्डकप के शुरुआती चरण में अपने प्रदर्शन से मैं बेहद निराश थी. वेस्टइंडीज के खिलाफ मैच के बाद मैंने कोच तुषार से कहा कि मैं अच्छी गेंदबाजी नहीं कर रही हूं और आप मुझे अगले मैच से बाहर कर सकते हो.
यह भी पढ़ें : खिताब के करीब पहुंचकर हारी भारतीय टीम, इंग्लैंड बना चैंपियन
झूलन के अनुसार, कोच ने कहा, ‘नहीं, मैं तुम्हें टीम में चाहता हूं और तुम आक्रमण की अगुवाई करोगी.’ झूलन ने कहा कि कोच के प्रेरणादायी शब्दों से उन्हें मजबूती मिली और उन्होंने मिताली की मदद से अपने खेल पर विशेष ध्यान दिया. ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ मैच में झूलन ने बेहतरीन गेंदबाजी करके उसकी कप्तान मेग लैनिंग को शून्य पर आउट किया. भारत ने सेमीफाइनल का यह मैच 36 रन से जीता था. बाद में झूलन में इंग्लैंड के खिलाफ फाइनल में भी बेहतरीन गेंदबाजी की थी. दुर्भाग्यवश भारतीय टीम को इस मैच में हार का सामना कर उपविजेता रहकर ही संतोष करना पड़ा था.
वीडियो : फाइनल हारी लेकिन दिल जीतने में कामयाब रही महिला क्रिकेट टीम
झूलन गोस्वामी ने कहा कि ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ मैच हमारे लिये महत्वपूर्ण था. वह दुनिया की सर्वश्रेष्ठ टीम है. लैनिंग सर्वश्रेष्ठ क्रिकेटरों में से एक है. मैं चाहती थी कि मैं उन्हें सही क्षेत्र में गेंद कराऊं. मैंने कप्तान मिताली राज से कहा कि मैं उन्हें वैसी ही गेंद करना चाहती हूं जैसे कि लैनिंग को करना चाहूंगी और उसने मुझे फीडबैक दिया. सौभाग्य से सब कुछ हमारे हिसाब से हुआ.’ (इनपुट : भाषा)
झूलन को यहां नेताजी इंडोर स्टेडियम में बंगाल क्रिकेट संघ के वार्षिक पुरस्कार समोराह में पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने सम्मानित किया. गौरतलब है कि झूलन इस समय महिला क्रिकेट में वनडे में सबसे ज्यादा विकेट लेने वाली गेंदबाज है. इस तेज गेंदबाज ने कहा, ‘वर्ल्डकप के शुरुआती चरण में अपने प्रदर्शन से मैं बेहद निराश थी. वेस्टइंडीज के खिलाफ मैच के बाद मैंने कोच तुषार से कहा कि मैं अच्छी गेंदबाजी नहीं कर रही हूं और आप मुझे अगले मैच से बाहर कर सकते हो.
यह भी पढ़ें : खिताब के करीब पहुंचकर हारी भारतीय टीम, इंग्लैंड बना चैंपियन
झूलन के अनुसार, कोच ने कहा, ‘नहीं, मैं तुम्हें टीम में चाहता हूं और तुम आक्रमण की अगुवाई करोगी.’ झूलन ने कहा कि कोच के प्रेरणादायी शब्दों से उन्हें मजबूती मिली और उन्होंने मिताली की मदद से अपने खेल पर विशेष ध्यान दिया. ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ मैच में झूलन ने बेहतरीन गेंदबाजी करके उसकी कप्तान मेग लैनिंग को शून्य पर आउट किया. भारत ने सेमीफाइनल का यह मैच 36 रन से जीता था. बाद में झूलन में इंग्लैंड के खिलाफ फाइनल में भी बेहतरीन गेंदबाजी की थी. दुर्भाग्यवश भारतीय टीम को इस मैच में हार का सामना कर उपविजेता रहकर ही संतोष करना पड़ा था.
वीडियो : फाइनल हारी लेकिन दिल जीतने में कामयाब रही महिला क्रिकेट टीम
झूलन गोस्वामी ने कहा कि ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ मैच हमारे लिये महत्वपूर्ण था. वह दुनिया की सर्वश्रेष्ठ टीम है. लैनिंग सर्वश्रेष्ठ क्रिकेटरों में से एक है. मैं चाहती थी कि मैं उन्हें सही क्षेत्र में गेंद कराऊं. मैंने कप्तान मिताली राज से कहा कि मैं उन्हें वैसी ही गेंद करना चाहती हूं जैसे कि लैनिंग को करना चाहूंगी और उसने मुझे फीडबैक दिया. सौभाग्य से सब कुछ हमारे हिसाब से हुआ.’ (इनपुट : भाषा)
NDTV.in पर ताज़ातरीन ख़बरों को ट्रैक करें, व देश के कोने-कोने से और दुनियाभर से न्यूज़ अपडेट पाएं