अमेरिकी स्पेस एजेंसी नासा (NASA) ने चेतावनी दी है कि एक विशालकाय उपग्रह धरती के बेहद नजदीक से गुजरेगा. नासा के फार नियर अर्थ स्टडीज सेंटर की ओर से दी गई जानकारी के अनुसार, 7482 (1994 PC1) नाम का ये एस्टेरॉयड पृथ्वी की ओर बढ़ रहा है, और 18 जनवरी, 2022 को पृथ्वी के बेहद करीब से गुजरेगा. इस एस्टेरॉयड का आकार करीब 3,450 फीट है जो कि धरती पर मौजूद किसी भी इमारत से कहीं ज्यादा है. विश्व की सबसे ऊंची इमारत बुर्ज खलीफा (Burj Khalifa) की लंबाई सिर्फ 2,722 फीट है. करीब 45,000 मील प्रति घंटे की रफ्तार से बढ़ रहा ये एस्टेरॉयड भारतीय समयानुसार 19 जनवरी की सुबह 2.45 बजे धरती के सबसे करीब से गुजरेगा. हालांकि ये एस्टेरॉयड पृथ्वी से 1.93 मिलियन किमी दूर होगा, जो चंद्रमा और पृथ्वी के बीच की दूरी का पांच गुना है.
नासा ने इसे ट्रैक करने के लिए एक सिस्टम तैयार किया है जिसकी मदद से इसे लाइव देखा जा सकता है. यहां बता दें कि आसमान के पूर्व से धरती की ओर आने वाले संघटक को जब टेलीस्कोप की मदद से देखा जाता है तो उसकी स्पीड काफी कम लगती है. ऐसे में ये पहचान करना बहुत मुश्किल हो जाता है कि कौन सा एस्टेरॉयड धरती की ओर आ रहा है.
Near-Earth #asteroid 1994 PC1 (~1 km wide) is very well known and has been studied for decades by our #PlanetaryDefense experts. Rest assured, 1994 PC1 will safely fly past our planet 1.2 million miles away next Tues., Jan. 18.
— NASA Asteroid Watch (@AsteroidWatch) January 12, 2022
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यही वजह है कि 2019 में एक एस्टेरॉयड पृथ्वी के एकदम पास 43 हजार मील की दूरी से गुजरा तो इसकी जानकारी सिर्फ 24 घंटे पहले चली. नासा ने इस महीने कम से कम 5 एस्टेरॉयड के पृथ्वी के पास से गुजरने की आशंका जताई है. हालांकि नासा ने इनमें से किसी को भी धरती के लिए बड़ा खतरा करार नहीं दिया है.
एस्टेरॉयड को उल्कापिंड या क्षुद्रग्रह भी कहा जाता है. ग्रह बनने की प्रक्रिया के दौरान उसमें से चट्टान के छोटे-छोटे टुकड़े निकल आए और ये टुकड़े सूर्य के चारों ओर चक्कर काटने लगे. कभी-कभी यह अपना रास्ता बदलकर कक्षा से बाहर आ जाते हैं.
आमतौर पर छोटे एस्टेरॉयड ग्रहों की कक्षा में आते ही जलकर राख हो जाते हैं लेकिन बड़े एस्टेरॉयड कभी-कभी ग्रहों से टकरा भी जाते हैं. कई बार पृथ्वी से भी कुछ एस्टेरॉयड टकरा चुके हैं. नासा के पास पृथ्वी के आसपास 140 मीटर या इससे बड़े एस्टेरॉयड को ट्रैक करने की क्षमता है.
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