दलित के घर बाहर का खाना
नोएडा:
एक ओर जहां मोदी सरकार दलितों के मन में अपनी सरकार की छवि को बेहतर बनाने की पूरजोर कोशिश कर रही है, वहीं दूसरी ओर उनकी पार्टी के नेता, विधायक और मंत्री अपने बयानों और गतिविधियों से सरकार की फजीहत करा रहे हैं. सत्तारूढ़ बीजेपी जहां दलितों तक अपनी पहुंच बनाने पर काम कर रही है, वहीं उनके नेता गलतियां कर न सिर्फ विवादों में घिर रहे हैं, बल्कि जाति के पुर्वाग्रह को भी मजबूत करते दिख रहे हं. उत्तर प्रदेश में योगी सरकार के मंत्री राजेंद्र प्रताप सिंह ने खुद को शामिल करते हुए बीजेपी नेताओं की तुलना भगवान राम से कर दी है, जो दलितों के घऱ जाते हैं और उनके साथ बैठकर खाना खाते हैं. वहीं, योगी सरकार में एक और मंत्री सुरेश राणा ने अलीगढ़ में दलित के घर बाहर से लाए गये शाही भोजन और मिनरल वाटर के साथ खाना खाकर इसे एक और नई परिभाषा दे दी है.
हालांकि, बीजेपी के दलित सांसद उदित राज ने कहा कि ऐसी घटनाएं दलित समुदाय के लिए अपनामजनक हैं. उन्होंने कहा कि आज के नए दलितों का मानना है कि यह उन्हें नीचा दिखाता है. मैं बीजेपी के प्रवक्ता के रूप में नहीं बोल रहा हूं बल्कि एक दलित के रूप में बोल रहा हूं. मैं इसका समर्थन नहीं करता हूं कि एक सवर्ण दलित के घर यह बोलने जाता है कि देखो वे नीच हैं और दूसरे ऊंचे हैं.
योगी के मंत्री ने दलित के घर खाया बाहर का खाना, घरवालों ने कहा- वह रात में अचानक आ गये
योगी सरकार में मंत्री राजेंद्र प्रताप सिंह ने कहा कि दलित घर में खाना खाकर उन्होंने वही किया जो राम ने शबरी के बेर खाकर किया था. दलित के घर भोजन करने के बाद राजेंद्र प्रताप सिंह ने कहा कि 'रामायण में राम और शबरी बातचीत का वर्णन किया गया है. आज जब मैं यहां आया, तब ज्ञान की मां ने मुझे भोजन दिया. उन्होंने कहा कि मुझे भोजन करा कर उन्हें आशीर्वाद मिला... उन्होंने कहा कि मैं क्षत्रिय हूं, धर्म, समाज की रक्षा करना मेरा कर्तव्य है.'
इतना ही नहीं, उत्तर प्रदेश में योगी सरकार के मंत्री सुरेश राणा अलीगढ़ के लोहागढ़ में एक दलित के घर खाना खाने पहुंचे. वहां खाना खाया भी. लेकिन मंत्रीजी के लिए खाना, पानी और बर्तन का इंतजाम बाहर से हुआ. उनके रात रुकने के लिए गद्दों और कूलर का इंतजाम भी किया गया. हालांकि, इस पर मंत्री सुरेश राणा का कहना है कि बाहर से भोजन की व्यवस्था इसलिए कराई गई, क्योंकि वहां लोग काफी अधिक थे.
उमा भारती बोलीं, 'जब दलित हमारे घर आकर साथ बैठकर भोजन करेंगे तब हम पवित्र हो जाएंगे'
हालांकि, घर के मालिक रजनीश ने कहा कि उसने कभी नहीं सोचा था कि उसके घर कभी मंत्री रात के ग्यारह बजे अचानक आ सकते हैं. रजनीश ने कहा कि मुझे नहीं पता था कि मंत्री जी रात के खाने पर मेरे घर आ रहे हैं. वह अचानक आ गये. उनके खाने-पीने का सारा इंतजाम बाहर से किया गया.
दरअसल, एससी-एसटी ऐक्ट पर सुप्रीम कोर्ट के फैसले के बाद मोदी सरकार पर दलितों की उपेक्षा के आरोप लगे. इस फैसले के विरोध में भारत बंद के दौरान हुई हिंसा के बाद कुछ बीजेपी शासित राज्यों में दलित युवाओं के खिलाफ कथित ज्यादती को लेकर बीजेपी के भीतर से ही आवाज़ें उठीं. कुछ बीजेपी सांसदों ने पीएम को पत्र लिखा. विपक्ष ने माहौल बनाना शुरू किया कि 2014 के चुनाव में बहुत मुश्किल से जुटाए गए दलित वोट बीजेपी के पाले से खिसकने लगे हैं.
बीजेपी के लिए दलितों के घर रात बिताने का फैसला क्या सिरदर्द बना?
बीजेपी ने तुरंत इसकी काट निकाली. पीएम मोदी ने बीजेपी संसदीय दल की बैठक में ऐलान किया कि चौदह अप्रैल को बाबा साहेब आंबेडकर की जयंती से लेकर पांच मई तक दलित बहुल 20 हजार से ज्यादा गांवों में सरकार की योजनाओं के बारे में विस्तार से बताया जाएगा. इसके लिए हर सांसद को गांव में एक रात और मंत्री को दो रातें बिताने को कहा गया. इसके पीछे सोच यह भी है कि पार्टी और दलितों के बीच दूरी बढ़ाने की विपक्ष की कोशिशों को नाकाम किया जाए. यही वजह है कि इस कैंपेन में सीएम योगी से लेकर अमित शाह और वसुंधऱा राजे तक दिख चुके हैं.
VIDEO: योगी के मंत्री ने दलित के घर खाया बाहर का खाना
हालांकि, बीजेपी के दलित सांसद उदित राज ने कहा कि ऐसी घटनाएं दलित समुदाय के लिए अपनामजनक हैं. उन्होंने कहा कि आज के नए दलितों का मानना है कि यह उन्हें नीचा दिखाता है. मैं बीजेपी के प्रवक्ता के रूप में नहीं बोल रहा हूं बल्कि एक दलित के रूप में बोल रहा हूं. मैं इसका समर्थन नहीं करता हूं कि एक सवर्ण दलित के घर यह बोलने जाता है कि देखो वे नीच हैं और दूसरे ऊंचे हैं.
योगी के मंत्री ने दलित के घर खाया बाहर का खाना, घरवालों ने कहा- वह रात में अचानक आ गये
योगी सरकार में मंत्री राजेंद्र प्रताप सिंह ने कहा कि दलित घर में खाना खाकर उन्होंने वही किया जो राम ने शबरी के बेर खाकर किया था. दलित के घर भोजन करने के बाद राजेंद्र प्रताप सिंह ने कहा कि 'रामायण में राम और शबरी बातचीत का वर्णन किया गया है. आज जब मैं यहां आया, तब ज्ञान की मां ने मुझे भोजन दिया. उन्होंने कहा कि मुझे भोजन करा कर उन्हें आशीर्वाद मिला... उन्होंने कहा कि मैं क्षत्रिय हूं, धर्म, समाज की रक्षा करना मेरा कर्तव्य है.'
इतना ही नहीं, उत्तर प्रदेश में योगी सरकार के मंत्री सुरेश राणा अलीगढ़ के लोहागढ़ में एक दलित के घर खाना खाने पहुंचे. वहां खाना खाया भी. लेकिन मंत्रीजी के लिए खाना, पानी और बर्तन का इंतजाम बाहर से हुआ. उनके रात रुकने के लिए गद्दों और कूलर का इंतजाम भी किया गया. हालांकि, इस पर मंत्री सुरेश राणा का कहना है कि बाहर से भोजन की व्यवस्था इसलिए कराई गई, क्योंकि वहां लोग काफी अधिक थे.
दलित के घर बाहर से मंगाया खाना खाते योगी सरकार में मंत्री सुरेश राणा
उमा भारती बोलीं, 'जब दलित हमारे घर आकर साथ बैठकर भोजन करेंगे तब हम पवित्र हो जाएंगे'
हालांकि, घर के मालिक रजनीश ने कहा कि उसने कभी नहीं सोचा था कि उसके घर कभी मंत्री रात के ग्यारह बजे अचानक आ सकते हैं. रजनीश ने कहा कि मुझे नहीं पता था कि मंत्री जी रात के खाने पर मेरे घर आ रहे हैं. वह अचानक आ गये. उनके खाने-पीने का सारा इंतजाम बाहर से किया गया.
दरअसल, एससी-एसटी ऐक्ट पर सुप्रीम कोर्ट के फैसले के बाद मोदी सरकार पर दलितों की उपेक्षा के आरोप लगे. इस फैसले के विरोध में भारत बंद के दौरान हुई हिंसा के बाद कुछ बीजेपी शासित राज्यों में दलित युवाओं के खिलाफ कथित ज्यादती को लेकर बीजेपी के भीतर से ही आवाज़ें उठीं. कुछ बीजेपी सांसदों ने पीएम को पत्र लिखा. विपक्ष ने माहौल बनाना शुरू किया कि 2014 के चुनाव में बहुत मुश्किल से जुटाए गए दलित वोट बीजेपी के पाले से खिसकने लगे हैं.
बीजेपी के लिए दलितों के घर रात बिताने का फैसला क्या सिरदर्द बना?
बीजेपी ने तुरंत इसकी काट निकाली. पीएम मोदी ने बीजेपी संसदीय दल की बैठक में ऐलान किया कि चौदह अप्रैल को बाबा साहेब आंबेडकर की जयंती से लेकर पांच मई तक दलित बहुल 20 हजार से ज्यादा गांवों में सरकार की योजनाओं के बारे में विस्तार से बताया जाएगा. इसके लिए हर सांसद को गांव में एक रात और मंत्री को दो रातें बिताने को कहा गया. इसके पीछे सोच यह भी है कि पार्टी और दलितों के बीच दूरी बढ़ाने की विपक्ष की कोशिशों को नाकाम किया जाए. यही वजह है कि इस कैंपेन में सीएम योगी से लेकर अमित शाह और वसुंधऱा राजे तक दिख चुके हैं.
VIDEO: योगी के मंत्री ने दलित के घर खाया बाहर का खाना
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