Anganwadi Workers Protest
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दिल्ली सरकार ने आंगनवाड़ी वर्कर और हेल्पर का मानदेय बढ़ाया
- Thursday February 24, 2022
- Reported by: शरद शर्मा
गौतम ने जानकारी देते हुए कहा कि हरियाणा ने एक सप्ताह पहले वर्कर्स का मानदेय बढाकर 12661 किया था, लेकिन हमने 12,720 कर दिया है. वहीं, वे हेल्पर्स को 6781 दे रहे हैं. हमने 6810 कर दिया है. अब हमारी अपील है कि वे स्ट्राइक खत्म करें और पोषाहार वितरण का काम शुरू करें.
- ndtv.in
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ख़बरों के घमासान में ग़रीब, मज़दूर की जगह कहां?
- Monday March 4, 2019
- रवीश कुमार
न्यूज़ चैनलों के बनाए हुए दर्शकों की दुनिया में जब लोगों को समस्या होती है तो उन लोगों का नाम दर्शकों के बहीखाते से काट दिया जाता है. आप देखेंगे कि सारी बहस दो दलों के नेताओं के आस-पास घूम रही है और लोगों की आवाज़ किसी के आस-पास नहीं पहुंच रही है.
- ndtv.in
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धरना-प्रदर्शन...आम जन कुछ इस तरह भी जिंदा रखे हैं लोकतंत्र
- Friday May 6, 2016
- Ravish Kumar
कई प्रदर्शन इस आस में समाप्त हो जाते हैं कि काश कोई पत्रकार आएगा और हमारी तस्वीर दिखाएगा। कई प्रदर्शन इस बात की चिन्ता ही नहीं करते हैं। उन्हें पता है कि जब वे प्रदर्शन करेंगे तो कैमरे वाले आएंगे ही आएंगे। कांग्रेस और बीजेपी के प्रदर्शनों को बाकी प्रदर्शनों से ज्यादा सौभाग्य प्राप्त है।
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दिल्ली सरकार ने आंगनवाड़ी वर्कर और हेल्पर का मानदेय बढ़ाया
- Thursday February 24, 2022
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गौतम ने जानकारी देते हुए कहा कि हरियाणा ने एक सप्ताह पहले वर्कर्स का मानदेय बढाकर 12661 किया था, लेकिन हमने 12,720 कर दिया है. वहीं, वे हेल्पर्स को 6781 दे रहे हैं. हमने 6810 कर दिया है. अब हमारी अपील है कि वे स्ट्राइक खत्म करें और पोषाहार वितरण का काम शुरू करें.
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ख़बरों के घमासान में ग़रीब, मज़दूर की जगह कहां?
- Monday March 4, 2019
- रवीश कुमार
न्यूज़ चैनलों के बनाए हुए दर्शकों की दुनिया में जब लोगों को समस्या होती है तो उन लोगों का नाम दर्शकों के बहीखाते से काट दिया जाता है. आप देखेंगे कि सारी बहस दो दलों के नेताओं के आस-पास घूम रही है और लोगों की आवाज़ किसी के आस-पास नहीं पहुंच रही है.
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धरना-प्रदर्शन...आम जन कुछ इस तरह भी जिंदा रखे हैं लोकतंत्र
- Friday May 6, 2016
- Ravish Kumar
कई प्रदर्शन इस आस में समाप्त हो जाते हैं कि काश कोई पत्रकार आएगा और हमारी तस्वीर दिखाएगा। कई प्रदर्शन इस बात की चिन्ता ही नहीं करते हैं। उन्हें पता है कि जब वे प्रदर्शन करेंगे तो कैमरे वाले आएंगे ही आएंगे। कांग्रेस और बीजेपी के प्रदर्शनों को बाकी प्रदर्शनों से ज्यादा सौभाग्य प्राप्त है।
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